कॉमन यूनिवर्सिटी एंट्रेंस टेस्ट(सीयूईटी) से दाखिले पर दिल्ली विश्वविद्यालय व सेंट स्टीफंस कॉलेज के बीच एक बार फिर से टकराव की स्थिति बन गई है। सेंट स्टीफंस कॉलेज सामान्य श्रेणी के दाखिले भी 85:15 फॉर्मूले (प्रवेश परीक्षा और साक्षात्कार) से ही करने पर अड़ा है।
सभी श्रेणी के छात्रों को साक्षात्कार से गुजरना होगा। कॉलेज ने डीयू को अपने जवाब से अवगत करा दिया है। उधर, डीयू के कुलपति प्रोफेसर योगेश सिंह का कहना है कि हम चाहते है। कि कॉलेज डीयू की दाखिला गाइडलाइंस का पालन करें।
डीयू की गाइडलाइंस के अनुसार कॉलेज में सामान्य श्रेणी की 50 फीसदी सीटों पर दाखिले केवल सीयूईटी से होने चाहिए। जबकि कॉलेज अपनी 50 फीसदी सीटों पर चाहे तो 85:15 फॉर्मूले से दाखिले कर सकता है।
कुलपति ने कहा कि अब दाखिला समिति कॉलेज के जवाब को देखेगी। प्रो. सिंह ने कहा कि मामले को सुलझाने के लिए बातचीत की गई थी और लग रहा कि कॉलेज मान जाएगा। लेकिन कॉलेज प्रशासन अब तक नहीं माना है।
कॉलेज को सामान्य श्रेणी के लिए 100 फीसदी प्रवेश परीक्षा पर जाना चाहिए। मेरा मानना है कि कॉलेज को ऐसा करना चाहिए। अब जब डीयू दाखिला समिति पूरे मामले को देख लेगी तभी आगेे कुछ किया जा सकेगा।
उधर, कॉलेज की ओर से बयान जारी कर कहा गया है कि डीयू ने सीयूईटी से दाखिले का फैसला किया है। कॉलेज भी इसका पालन करेगा। कॉलेज में दाखिले के लिए यही न्यूनतम योग्यता होगी। कॉलेज सीयूईटी देने वालों छात्रों को शॉर्ट लिस्ट करेगा। सभी श्रेणियों में शार्ट लिस्ट छात्रों को साक्षात्कार की प्रक्रिया से गुजरना होगा। चयनित छात्रों को 85 फीसदी सीयूईटी और 15 फीसदी साक्षात्कार के आधार पर दाखिला दिया जाएगा।
कॉलेज का कहना है कि वह इस बात का ध्यान रखेगा कि अल्पसंख्यक और गैर अल्पसंख्यक छात्रों के बीच 85 प्रतिशत सीयूईटी और 15 प्रतिशत साक्षात्कार के पालन में भेदभाव नहीं हो। मालूम हो कि इस सप्ताह के शुरुआत में कुलपति ने सेंट स्टीफंस के अधिकारियों से बातचीत की थी ताकि मामले को सुलझाया जा सके। लेकिन अभी यह मामला हल होता नहीं दिख रहा है।
विस्तार
कॉमन यूनिवर्सिटी एंट्रेंस टेस्ट(सीयूईटी) से दाखिले पर दिल्ली विश्वविद्यालय व सेंट स्टीफंस कॉलेज के बीच एक बार फिर से टकराव की स्थिति बन गई है। सेंट स्टीफंस कॉलेज सामान्य श्रेणी के दाखिले भी 85:15 फॉर्मूले (प्रवेश परीक्षा और साक्षात्कार) से ही करने पर अड़ा है।
सभी श्रेणी के छात्रों को साक्षात्कार से गुजरना होगा। कॉलेज ने डीयू को अपने जवाब से अवगत करा दिया है। उधर, डीयू के कुलपति प्रोफेसर योगेश सिंह का कहना है कि हम चाहते है। कि कॉलेज डीयू की दाखिला गाइडलाइंस का पालन करें।
डीयू की गाइडलाइंस के अनुसार कॉलेज में सामान्य श्रेणी की 50 फीसदी सीटों पर दाखिले केवल सीयूईटी से होने चाहिए। जबकि कॉलेज अपनी 50 फीसदी सीटों पर चाहे तो 85:15 फॉर्मूले से दाखिले कर सकता है।
कुलपति ने कहा कि अब दाखिला समिति कॉलेज के जवाब को देखेगी। प्रो. सिंह ने कहा कि मामले को सुलझाने के लिए बातचीत की गई थी और लग रहा कि कॉलेज मान जाएगा। लेकिन कॉलेज प्रशासन अब तक नहीं माना है।
कॉलेज को सामान्य श्रेणी के लिए 100 फीसदी प्रवेश परीक्षा पर जाना चाहिए। मेरा मानना है कि कॉलेज को ऐसा करना चाहिए। अब जब डीयू दाखिला समिति पूरे मामले को देख लेगी तभी आगेे कुछ किया जा सकेगा।
उधर, कॉलेज की ओर से बयान जारी कर कहा गया है कि डीयू ने सीयूईटी से दाखिले का फैसला किया है। कॉलेज भी इसका पालन करेगा। कॉलेज में दाखिले के लिए यही न्यूनतम योग्यता होगी। कॉलेज सीयूईटी देने वालों छात्रों को शॉर्ट लिस्ट करेगा। सभी श्रेणियों में शार्ट लिस्ट छात्रों को साक्षात्कार की प्रक्रिया से गुजरना होगा। चयनित छात्रों को 85 फीसदी सीयूईटी और 15 फीसदी साक्षात्कार के आधार पर दाखिला दिया जाएगा।
कॉलेज का कहना है कि वह इस बात का ध्यान रखेगा कि अल्पसंख्यक और गैर अल्पसंख्यक छात्रों के बीच 85 प्रतिशत सीयूईटी और 15 प्रतिशत साक्षात्कार के पालन में भेदभाव नहीं हो। मालूम हो कि इस सप्ताह के शुरुआत में कुलपति ने सेंट स्टीफंस के अधिकारियों से बातचीत की थी ताकि मामले को सुलझाया जा सके। लेकिन अभी यह मामला हल होता नहीं दिख रहा है।