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Archery: भारतीय रिकर्व पुरुष और कंपाउंड महिला तीरंदाजों का कमाल, एशियाई चैंपियनशिप के फाइनल में
स्पोर्ट्स डेस्क, अमर उजाला, ढाका
Published by: स्वप्निल शशांक
Updated Tue, 11 Nov 2025 09:43 AM IST
सार
गत चैंपियन कंपाउंड महिला टीम भी लगातार दूसरी बार फाइनल में पहुंच गई है जिससे भारत ने इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता में दो पदक पक्के कर लिए हैं।
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अतनु दास
- फोटो : ANI
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विस्तार
भारतीय रिकर्व तीरंदाज एशियाई तीरंदाजी चैंपियनशिप में पदक के लंबे सूखे को खत्म करने की दहलीज पर हैं जिन्होंने सोमवार को सेमीफाइनल में कड़े मुकाबले में जीत के बाद स्वर्ण पदक के मुकाबले में जगह बनाई जहां उनका सामना दक्षिण कोरिया से होगा।
गत चैंपियन कंपाउंड महिला टीम भी लगातार दूसरी बार फाइनल में पहुंच गई है जिससे भारत ने इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता में दो पदक पक्के कर लिए हैं। यशदीप भोगे, अतनु दास और राहुल की पुरुष रिकर्व तिकड़ी ने काजाखस्तान को बेहद कड़े मुकाबले में 5-3 से हरा दिया।
भारतीयों ने पहला सेट 54-52 से जीतकर अपने प्रतिद्वंद्वियों पर दो अंक की बढ़त बनाई। इलफत अब्दुलिन, दास्तान करीमोव और एलेक्जेंडर येरेमेन्को की कजाखस्तान की तिकड़ी ने दूसरे सेट में जोरदार वापसी की और चार 10 अंक बनाकर 58-58 से बराबरी कर ली। तीसरे सेट में भारतीय खिलाड़ी दबाव में दिखे। भारत ने एक निशाना आठ अंक पर लगाया जिससे कजाखस्तान ने 56-54 से सेट जीतकर स्कोर 3-3 कर दिया।
हालांकि भोगे और उनके साथियों ने दबाव में बेहतरीन संयम दिखाया। चौथे सेट में भारत ने 57 अंक जुटाए जबकि कजाखस्तान की टीम 52 अंक ही जुटा सकी जिससे भारत ने 5-3 की जीत से फाइनल में जगह पक्की कर ली। फाइनल में भारत का सामना दक्षिण कोरिया की मजबूत टीम से होगा जिसने उज्बेकिस्तान को 6-2 से हराया।
दक्षिण कोरिया ने कम चर्चित नामों वाली दूसरी श्रेणी की टीम भेजी है और यह देखना बाकी है कि क्या भारत अपनी चिर प्रतिद्वंद्वी टीम को हराकर स्वर्ण पदक जीत पाता है या नहीं। लगातार दो महाद्वीपीय खिताब जीतने की कोशिश में जुटी मजबूत भारतीय कंपाउंड महिला टीम ने शानदार प्रदर्शन जारी रखा।
दीपशिखा, ज्योति सुरेखा वेन्नाम और प्रथिका प्रदीप की तिकड़ी ने मेजबान बांग्लादेश को 234-227 से आसानी से हराकर फाइनल में प्रवेश किया। अब उनका सामना दूसरी वरीयता प्राप्त कोरिया से होगा जिसने दूसरे सेमीफाइनल में ईरान को 237-227 से हराया था।
इस तरह भारत रिकर्व पुरुष और कंपाउंड महिला टीम दोनों के फाइनल में भाग लेगा जिससे इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता में दो स्वर्ण पदक जीतने की उसकी उम्मीद जीवंत रहेंगी। व्यक्तिगत और मिश्रित टीम स्पर्धाएं अभी शुरू होनी बाकी हैं।
दो साल पहले बैंकॉक एशियाई चैंपियनशिप में भारत तीन स्वर्ण, एक रजत और तीन कांस्य पदक के साथ कोरिया के बाद दूसरे स्थान पर रहा था। सात में से छह पदक कंपाउंड स्पर्धाओं में आए थे। महिला टीम ने रिकर्व वर्ग में एकमात्र पदक कांस्य के रूप में जीता था।
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गत चैंपियन कंपाउंड महिला टीम भी लगातार दूसरी बार फाइनल में पहुंच गई है जिससे भारत ने इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता में दो पदक पक्के कर लिए हैं। यशदीप भोगे, अतनु दास और राहुल की पुरुष रिकर्व तिकड़ी ने काजाखस्तान को बेहद कड़े मुकाबले में 5-3 से हरा दिया।
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भारतीयों ने पहला सेट 54-52 से जीतकर अपने प्रतिद्वंद्वियों पर दो अंक की बढ़त बनाई। इलफत अब्दुलिन, दास्तान करीमोव और एलेक्जेंडर येरेमेन्को की कजाखस्तान की तिकड़ी ने दूसरे सेट में जोरदार वापसी की और चार 10 अंक बनाकर 58-58 से बराबरी कर ली। तीसरे सेट में भारतीय खिलाड़ी दबाव में दिखे। भारत ने एक निशाना आठ अंक पर लगाया जिससे कजाखस्तान ने 56-54 से सेट जीतकर स्कोर 3-3 कर दिया।
हालांकि भोगे और उनके साथियों ने दबाव में बेहतरीन संयम दिखाया। चौथे सेट में भारत ने 57 अंक जुटाए जबकि कजाखस्तान की टीम 52 अंक ही जुटा सकी जिससे भारत ने 5-3 की जीत से फाइनल में जगह पक्की कर ली। फाइनल में भारत का सामना दक्षिण कोरिया की मजबूत टीम से होगा जिसने उज्बेकिस्तान को 6-2 से हराया।
दक्षिण कोरिया ने कम चर्चित नामों वाली दूसरी श्रेणी की टीम भेजी है और यह देखना बाकी है कि क्या भारत अपनी चिर प्रतिद्वंद्वी टीम को हराकर स्वर्ण पदक जीत पाता है या नहीं। लगातार दो महाद्वीपीय खिताब जीतने की कोशिश में जुटी मजबूत भारतीय कंपाउंड महिला टीम ने शानदार प्रदर्शन जारी रखा।
दीपशिखा, ज्योति सुरेखा वेन्नाम और प्रथिका प्रदीप की तिकड़ी ने मेजबान बांग्लादेश को 234-227 से आसानी से हराकर फाइनल में प्रवेश किया। अब उनका सामना दूसरी वरीयता प्राप्त कोरिया से होगा जिसने दूसरे सेमीफाइनल में ईरान को 237-227 से हराया था।
इस तरह भारत रिकर्व पुरुष और कंपाउंड महिला टीम दोनों के फाइनल में भाग लेगा जिससे इस महाद्वीपीय प्रतियोगिता में दो स्वर्ण पदक जीतने की उसकी उम्मीद जीवंत रहेंगी। व्यक्तिगत और मिश्रित टीम स्पर्धाएं अभी शुरू होनी बाकी हैं।
दो साल पहले बैंकॉक एशियाई चैंपियनशिप में भारत तीन स्वर्ण, एक रजत और तीन कांस्य पदक के साथ कोरिया के बाद दूसरे स्थान पर रहा था। सात में से छह पदक कंपाउंड स्पर्धाओं में आए थे। महिला टीम ने रिकर्व वर्ग में एकमात्र पदक कांस्य के रूप में जीता था।