जौनपुर। विधानसभा चुनाव के लिए सियासी बिसात बिछ चुकी है। जिन्ना, हिंदू, मुस्लिम पर बयानबाजी तेज है। ऐसे में गंगा जमुनी तहजीब की मिसाल पेश करने वाले शहर जौनपुर में एक धर्मस्थल ऐसा भी है, जहां नेताओं को जरूर आना चाहिए। क्योंकि, यह स्थल हिंदू-मुस्लिम के लिए समान आस्था का केंद्र है।
जी हां, प्रधान डाकघर के गेट के बगल और समाजवादी पार्टी के समीप स्थित गजानन के प्रांगण में पीर बाबा की मजार मौजूद है। जबकि इस धर्म स्थल के सामने मस्जिद भी है। जहां स्थानीय लोग बराबर श्रद्धा से यहां आते हैं और शीश झुकाते हैं। यहां दोनों ही संप्रदाय के लोग एक साथ पूजा और इबादत भी करते हैं। जनपद में वैसे तो कई ऐसे स्थान हैं, जहां मंदिर-मस्जिद आसपास या आमने-सामने हैं। लेकिन, शहर के अल्फास्टिंनगंज में स्थित यह मंदिर अपने आपमें अनूठा है। सैकड़ों वर्ष पुराने इस धर्म स्थल को मंदिर का रूप दिया गया है। जिस पर संस्कृत में मंत्र लिखे गए हैं। बाहर से दिखने में यह सामान्य मंदिर की तरह नजर आता है। जबकि मंदिर के सामने एक मस्जिद भी है। लेकिन, इस मंदिर के प्रांगण में पहुंचते ही बाहर से आने वाला हर कोई हैरान हो जाता है। दरअसल, मंदिर में ऊपर भगवान गणेश की प्रतिमा स्थापित है तो नीचे एक पुराने पीर बाबा की मजार बनी हुई है। बीच में एक मेज रखी है, जिस पर अगरबत्ती जलाई जाती है। जबकि बगल में चौरा माता का मंदिर है। मंदिर में बने पीर बाबा की मजार पर लोग चादरपोशी करते हैं। वहीं मंदिर के अंदर स्थापित चौरा माता और गणेश भगवान की लोग पूजा करते हैं।
मंदिर के सामने मोहम्मद शकील की दुकान है। वे कहते हैं यह काफी पुराना मंदिर है। साथ यह मस्जिद भी काफी पुरानी है। यहां कभी किसी प्रकार का कोई झगड़ा विवाद नहीं होता है। सभी लोग अपने धर्म के अनुसार यहां आते हैं पूजा करते हैं। शायद पूरे भारत में ऐसा दूसरा स्थान नहीं है। जहां दोनों धर्मों के लोग यहां आते हैं और आपसी प्रेम भाव के साथ पूजा करते हो।
अजय कुमार पाल की मंदिर के बाहर दुकान है। वे कहते हैं यह मंदिर काफी पुराना है। यहां हिंदू मुस्लिम दोनों लोग आते हैं। सभी लोग अपने-अपने तरीके से पूजा करते हैं। कहीं किसी पर कोई विवाद नहीं है। इस मंदिर में गणेश जी की मूर्ति है, चौरा माता का मंदिर है। साथ ही पुरानी मजार भी है यहां सब कुछ सामान्य है कहीं कोई विवाद नहीं होता है।
जौनपुर। विधानसभा चुनाव के लिए सियासी बिसात बिछ चुकी है। जिन्ना, हिंदू, मुस्लिम पर बयानबाजी तेज है। ऐसे में गंगा जमुनी तहजीब की मिसाल पेश करने वाले शहर जौनपुर में एक धर्मस्थल ऐसा भी है, जहां नेताओं को जरूर आना चाहिए। क्योंकि, यह स्थल हिंदू-मुस्लिम के लिए समान आस्था का केंद्र है।
जी हां, प्रधान डाकघर के गेट के बगल और समाजवादी पार्टी के समीप स्थित गजानन के प्रांगण में पीर बाबा की मजार मौजूद है। जबकि इस धर्म स्थल के सामने मस्जिद भी है। जहां स्थानीय लोग बराबर श्रद्धा से यहां आते हैं और शीश झुकाते हैं। यहां दोनों ही संप्रदाय के लोग एक साथ पूजा और इबादत भी करते हैं। जनपद में वैसे तो कई ऐसे स्थान हैं, जहां मंदिर-मस्जिद आसपास या आमने-सामने हैं। लेकिन, शहर के अल्फास्टिंनगंज में स्थित यह मंदिर अपने आपमें अनूठा है। सैकड़ों वर्ष पुराने इस धर्म स्थल को मंदिर का रूप दिया गया है। जिस पर संस्कृत में मंत्र लिखे गए हैं। बाहर से दिखने में यह सामान्य मंदिर की तरह नजर आता है। जबकि मंदिर के सामने एक मस्जिद भी है। लेकिन, इस मंदिर के प्रांगण में पहुंचते ही बाहर से आने वाला हर कोई हैरान हो जाता है। दरअसल, मंदिर में ऊपर भगवान गणेश की प्रतिमा स्थापित है तो नीचे एक पुराने पीर बाबा की मजार बनी हुई है। बीच में एक मेज रखी है, जिस पर अगरबत्ती जलाई जाती है। जबकि बगल में चौरा माता का मंदिर है। मंदिर में बने पीर बाबा की मजार पर लोग चादरपोशी करते हैं। वहीं मंदिर के अंदर स्थापित चौरा माता और गणेश भगवान की लोग पूजा करते हैं।
मंदिर के सामने मोहम्मद शकील की दुकान है। वे कहते हैं यह काफी पुराना मंदिर है। साथ यह मस्जिद भी काफी पुरानी है। यहां कभी किसी प्रकार का कोई झगड़ा विवाद नहीं होता है। सभी लोग अपने धर्म के अनुसार यहां आते हैं पूजा करते हैं। शायद पूरे भारत में ऐसा दूसरा स्थान नहीं है। जहां दोनों धर्मों के लोग यहां आते हैं और आपसी प्रेम भाव के साथ पूजा करते हो।
अजय कुमार पाल की मंदिर के बाहर दुकान है। वे कहते हैं यह मंदिर काफी पुराना है। यहां हिंदू मुस्लिम दोनों लोग आते हैं। सभी लोग अपने-अपने तरीके से पूजा करते हैं। कहीं किसी पर कोई विवाद नहीं है। इस मंदिर में गणेश जी की मूर्ति है, चौरा माता का मंदिर है। साथ ही पुरानी मजार भी है यहां सब कुछ सामान्य है कहीं कोई विवाद नहीं होता है।