कलक्ट्रेट परिसर में बृहस्पतिवार को एंबुलेंसकर्मियों ने निलंबन रद्द करने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन डीएम को सौंपा। उन्होंने सभी कर्मचारियों की तत्काल बहाली की मांग की।
बृहस्पतिवार को सौंपे गए ज्ञापन में निलंबित एंबुलेंसकर्मियां ने कहा पिछले दिनों प्रदेश व्यापी धरना के दौरान उनकी मांगों को लेकर श्रमायुक्त ने सहमति जताई थी। इसके बाद भी उनकी बहाली नहीं की गई। जिससे कर्मचारियों के सामने आर्थिक संकट पैदा हो गया है।
नियुक्ति को लेकर अभी असमंजस की बनी हुई है, जो साफ होनी चाहिए।
निलंबित कर्मचारियों ने कहा कि एंबुलेंस सेवा प्रदाता कंपनी जीवीकेईएमआरआई कर्मचारियों पर केस बढ़ाने और फर्जी रिपोर्टिंग करने का लगातार दबाव बना रही है। जबकि कंपनी की तरफ से किसी भी कर्मी को समय से वेतन भी नहीं मिल रहा था। विगत 23 जुलाई को कर्मचारी लखनऊ में प्रदेश व्यापी धरने पर बैठ गए।
छह अगस्त को श्रमायुक्त बीके राय से वार्ता के दौरान उन्होंने कर्मचारियों की सभी शर्तों को मानने के बाद काम पर लौटने की अपील की। इस पर सभी लोग अपने जनपद को लौट गए। लेकिन अभी तक सेवा प्रदाता कंपनी की तरफ से किसी भी कर्मचारी की बहाली नहीं की गई है।
कहा कि नियुक्ति को लेकर कंपनी पिछले चार माह से कोई स्पष्ट जवाब नहीं दे रही है। जिससे कर्मचारियों के समक्ष संदेह की स्थिति बनी हुई है। ज्ञापन देने वालों में सत्य गुप्ता, अरविंद मिश्रा, विकास सिंह, अभिषेक कुमार, बब्लू कुमार, गंगा प्रसाद, विकास केशरवानी, द्वारिका प्रसाद, सुरेंद्र गुप्ता आदि मौजूद रहे।
कलक्ट्रेट परिसर में बृहस्पतिवार को एंबुलेंसकर्मियों ने निलंबन रद्द करने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री को संबोधित ज्ञापन डीएम को सौंपा। उन्होंने सभी कर्मचारियों की तत्काल बहाली की मांग की।
बृहस्पतिवार को सौंपे गए ज्ञापन में निलंबित एंबुलेंसकर्मियां ने कहा पिछले दिनों प्रदेश व्यापी धरना के दौरान उनकी मांगों को लेकर श्रमायुक्त ने सहमति जताई थी। इसके बाद भी उनकी बहाली नहीं की गई। जिससे कर्मचारियों के सामने आर्थिक संकट पैदा हो गया है।
नियुक्ति को लेकर अभी असमंजस की बनी हुई है, जो साफ होनी चाहिए।
निलंबित कर्मचारियों ने कहा कि एंबुलेंस सेवा प्रदाता कंपनी जीवीकेईएमआरआई कर्मचारियों पर केस बढ़ाने और फर्जी रिपोर्टिंग करने का लगातार दबाव बना रही है। जबकि कंपनी की तरफ से किसी भी कर्मी को समय से वेतन भी नहीं मिल रहा था। विगत 23 जुलाई को कर्मचारी लखनऊ में प्रदेश व्यापी धरने पर बैठ गए।
छह अगस्त को श्रमायुक्त बीके राय से वार्ता के दौरान उन्होंने कर्मचारियों की सभी शर्तों को मानने के बाद काम पर लौटने की अपील की। इस पर सभी लोग अपने जनपद को लौट गए। लेकिन अभी तक सेवा प्रदाता कंपनी की तरफ से किसी भी कर्मचारी की बहाली नहीं की गई है।
कहा कि नियुक्ति को लेकर कंपनी पिछले चार माह से कोई स्पष्ट जवाब नहीं दे रही है। जिससे कर्मचारियों के समक्ष संदेह की स्थिति बनी हुई है। ज्ञापन देने वालों में सत्य गुप्ता, अरविंद मिश्रा, विकास सिंह, अभिषेक कुमार, बब्लू कुमार, गंगा प्रसाद, विकास केशरवानी, द्वारिका प्रसाद, सुरेंद्र गुप्ता आदि मौजूद रहे।