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आस्था: देश भर के मंदिरों को विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र सिखाएगा मंदिर प्रबंधन, एसओपी और मॉडल तैयार
अमर उजाला नेटवर्क, वाराणसी।
Published by: प्रगति चंद
Updated Tue, 09 Dec 2025 02:33 PM IST
सार
Varanasi News: श्री काशी विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र विकास परिषद ने देश भर के मंदिरों के लिए मॉडल और एसओपी तैयार किया गया है। अब मंदिर देशभर के धार्मिक संस्थानों को मंदिर प्रबंधन सिखाएगा।
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काशी विश्वनाथ धाम
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
श्री काशी विश्वनाथ धाम की स्थापना के चौथे वर्ष में काशी विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र विकास परिषद ने पहल की है। श्री काशी विश्वनाथ धाम में श्रद्धालुओं को सुगम दर्शन की बेहतर व्यवस्था देने के बाद अब मंदिर देशभर के धार्मिक संस्थानों को मंदिर प्रबंधन सिखाएगा। श्री काशी विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र विकास परिषद ने मंदिर प्रबंधन की एसओपी और मॉडल तैयार कर लिया है।
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काशी विश्वनाथ विशिष्ट क्षेत्र विकास परिषद के माध्यम से यह प्रस्ताव पारित किया गया है कि देश की कोई धार्मिक संस्था श्री काशी विश्वनाथ धाम के आधार पर अपने यहां विशिष्ट सुविधाएं प्रदान करना चाहे तो मंदिर उसकी पूरी मदद करेगा। मंदिर कंसल्टेंसी के तौर पर सेवा मुहैया कराएगा। मंदिर के मुख्य कार्यपालक अधिकारी विश्वभूषण मिश्र ने बताया कि श्री काशी विश्वनाथ धाम में चार साल में 26 करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने दर्शन किए हैं।
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महाकुंभ के दौरान डेढ़ महीने में 2.87 करोड़ श्रद्धालुओं ने दर्शन किए थे, जो कि एक रिकॉर्ड है। मंदिर की व्यवस्थाओं, भीड़ प्रबंधन, नवाचार, सांस्कृतिक अनुष्ठान, सामाजिक सहयोग के आधार पर मंदिर की एसओपी व मॉडल तैयार किया गया है। इसके माध्यम से अन्य बड़े मंदिरों के प्रबंधन में मदद की जाएगी।
रोल मॉडल बना श्री काशी विश्वनाथ मंदिर
काशी विश्वनाथ मंदिर देश के अन्य मंदिरों के लिए एक रोल मॉडल बन चुका है। आधुनिक और सुव्यवस्थित प्रबंधन, भीड़ नियंत्रण और पर्यावरण संरक्षण (प्लास्टिक-मुक्त पहल) जैसी पहल के साथ श्रद्धालुओं के अनुभव को बेहतर बनाया जा रहा है। मंदिर के बुनियादी ढांचे को आधुनिक बनाकर देशभर के मंदिरों को प्रबंधन, स्वच्छता और श्रद्धालु-केंद्रित सुविधाओं के जरिये नई सीख मिलेगी।
श्रद्धालुओं का प्रवेश और निकास हुआ आसान
श्री काशी विश्वनाथ मंदिर के आधुनिक बुनियादी ढांचे के साथ कॉरिडोर और भक्त सुविधा केंद्र के निर्माण से श्रद्धालुओं के लिए मंदिर परिसर में प्रवेश और निकास सुगम हुआ है। एकीकृत कमांड और नियंत्रण कक्ष और पर्याप्त जगह के साथ, भीड़ को नियंत्रित करने और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जा रहा है। मंदिर परिसर को प्लास्टिक-मुक्त घोषित किया गया है और अब फूलमाला या प्रसाद के लिए प्लास्टिक का उपयोग प्रतिबंधित है।
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श्रद्धालुओं के लिए शुरू की गईं सुविधाएं
त्योहारों के दौरान भीड़ और व्यवस्था को संभालने के लिए मंदिर प्रशासन ने प्रभावी समन्वय और समाधान पर ध्यान केंद्रित किया है। श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए कई प्रकल्प शुरू किए गए हैं, जैसे ऑनलाइन दर्शन, टिकट बुकिंग और लाइव दर्शन। भीड़ को नियंत्रित करने, दर्शन को सुगम बनाने और शिकायतों के त्वरित निवारण के लिए हेल्प डेस्क है।
श्रद्धालुओं का प्रवेश और निकास हुआ आसान
श्री काशी विश्वनाथ मंदिर के आधुनिक बुनियादी ढांचे के साथ कॉरिडोर और भक्त सुविधा केंद्र के निर्माण से श्रद्धालुओं के लिए मंदिर परिसर में प्रवेश और निकास सुगम हुआ है। एकीकृत कमांड और नियंत्रण कक्ष और पर्याप्त जगह के साथ, भीड़ को नियंत्रित करने और सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जा रहा है। मंदिर परिसर को प्लास्टिक-मुक्त घोषित किया गया है और अब फूलमाला या प्रसाद के लिए प्लास्टिक का उपयोग प्रतिबंधित है।
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