खां साहब (उस्ताद नुसरत फतेह अली खान) के बारे में बहुत कुछ है, जो यादगार है। चाहे बात उनकी गायकी की हो या निजी जिंदगी की। मशहूर पाकिस्तानी सूफी गायक नुसरत फतेह अली खान का जन्म 1948 में पाकिस्तान के फैसलाबाद मेें हुआ था। बंटवारे से पहले उनका परिवार भारत के जालंधर में रहता था। नुसरत फ़तेह अली खान की आवाज़ सूफियों की आवाज़ कही जाती है। पेश हैं ऐसे शेर जिन्हें नुसरत साहब की आवाज़ मिली-
ज़ख़्म पे ज़ख़्म खा के जी अपने लहू के घूँट पी
आह न कर लबों को सी इश्क़ है दिल-लगी नहीं
- एहसान दानिश
ये इश्क़ नहीं आसाँ इतना ही समझ लीजे
इक आग का दरिया है और डूब के जाना है
- जिगर मुरादाबादी
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