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Surya Grahan 2025: साल का अंतिम सूर्य ग्रहण कब है, क्या भारत में पड़ेगा इसका असर?
ज्योतिष डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: श्वेता सिंह
Updated Fri, 27 Jun 2025 11:55 AM IST
सार
Surya Grahan 2025: जल्द ही साल का अंतिम सूर्य ग्रहण लगने वाला है, जिसे लेकर लोगों में इसकी दृश्यता और सूतक को लेकर जिज्ञासा है। जानिए क्या यह ग्रहण भारत में दिखेगा और सूतक काल मान्य होगा या नहीं।
Second Surya Grahan 2025 Date: साल 2025 का दूसरा और अंतिम सूर्य ग्रहण सितंबर में लगने जा रहा है, जिसे लेकर लोगों के बीच उत्सुकता और शंकाएं दोनों हैं। सूर्य ग्रहण न केवल एक महत्वपूर्ण खगोलीय घटना है, बल्कि इसका धार्मिक और ज्योतिषीय दृष्टिकोण से भी विशेष महत्व होता है। परंपरागत मान्यताओं के अनुसार सूर्य ग्रहण को शुभ नहीं माना जाता है, और इसके दौरान कई सावधानियां बरतने की सलाह दी जाती है। जैसेइ, स समय भोजन करने, सोने, पूजा-पाठ करने और अन्य शुभ कार्यों से परहेज किया जाता है। खासकर गर्भवती महिलाओं को इस दौरान विशेष सतर्कता रखनी होती है।
कब लगेगा का आखिरी सूर्य ग्रहण?
साल 2025 का दूसरा और अंतिम सूर्य ग्रहण सितंबर महीने में लगेगा। यह खगोलीय घटना भारतीय समयानुसार 21 सितंबर की रात 11 बजे शुरू होगी और 22 सितंबर की सुबह 3 बजकर 24 मिनट पर समाप्त होगी। इस तरह यह सूर्य ग्रहण कुल 4 घंटे 24 मिनट तक चलेगा।
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Surya Grahan 2025
- फोटो : Freepik
भारत में सूर्य ग्रहण दिखाई देगा या नहीं?
साल 2025 का आखिरी सूर्य ग्रहण भारत में दिखाई नहीं देगा। इसलिए भारत में इसका सूतक काल भी मान्य नहीं होगा। चूंकि यह ग्रहण रात के समय लगेगा और भारत से इसकी दृश्यता नहीं होगी, इसलिए धार्मिक दृष्टिकोण से भी यहां इसका विशेष प्रभाव नहीं माना जाएगा। यह सूर्य ग्रहण मुख्य रूप से अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया, फिजी, न्यूजीलैंड और अटलांटिक महासागर के कुछ हिस्सों में ही नजर आएगा।
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Surya Grahan 2025
- फोटो : adobe stock
सूर्य ग्रहण में क्या नहीं करना चाहिए?
ग्रहण के दौरान पूजा-पाठ, मंत्र जाप या कोई भी धार्मिक अनुष्ठान नहीं करना चाहिए क्योंकि यह समय अशुभ माना जाता है।
सूतक काल शुरू होते ही घर के खाने-पीने की सभी चीजों में तुलसी के पत्ते डालने चाहिए ताकि वे ग्रहण के अशुभ प्रभाव से बच सकें।
ग्रहण काल में मंदिर की मूर्तियों या घर में पूजा की वस्तुओं को छूना वर्जित होता है क्योंकि इस समय अशुद्धता का प्रभाव माना जाता है।
ग्रहण के दौरान भोजन करना और सोना शुभ नहीं माना जाता क्योंकि ग्रहण काल के दौरान ऊर्जा असंतुलित होती है।
प्रेग्नेंट महिलाओं को ग्रहण के दौरान घर के अंदर ही रहना चाहिए और बाहर निकलने से बचना चाहिए, ताकि किसी भी नकारात्मक प्रभाव से सुरक्षा हो।
कैंची, चाकू, सुई या अन्य नुकीले औजार ग्रहण के समय इस्तेमाल करना अशुभ माना जाता है, इसलिए इनका प्रयोग नहीं करना चाहिए।
ग्रहण के दौरान नकारात्मक ऊर्जा के प्रभाव को ध्यान में रखते हुए अनावश्यक गतिविधियों से बचना चाहिए, जैसे यात्रा या नए काम की शुरुआत।
डिस्क्लेमर (अस्वीकरण): यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं, ज्योतिष, पंचांग, धार्मिक ग्रंथों आदि पर आधारित है। यहां दी गई सूचना और तथ्यों की सटीकता, संपूर्णता के लिए अमर उजाला उत्तरदायी नहीं है।
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