{"_id":"691c65e0b9d8cb72a505df94","slug":"researchers-doing-research-on-folk-culture-will-now-get-material-at-one-place-una-news-c-93-1-ssml1048-172458-2025-11-18","type":"story","status":"publish","title_hn":"Una News: लोक संस्कृति पर शोध करने वाले शोधार्थियों को अब एक जगह मिलेगी सामग्री","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Una News: लोक संस्कृति पर शोध करने वाले शोधार्थियों को अब एक जगह मिलेगी सामग्री
विज्ञापन
विज्ञापन
लता मंगेशकर कला केंद्र समूरकलां में किताब घर स्थापित
हिमाचली साहित्य, शोध एवं लोक संस्कृति के संरक्षण की ओर सराहनीय पहल
संवाद न्यूज एजेंसी
ऊना। हिमाचली लोक संस्कृति पर शोध करने वाले शोधार्थियों के लिए खुशखबरी है। अब शोध से जुड़ी आवश्यक सामग्री एक ही स्थान लता मंगेशकर कला केंद्र, समूरकलां में उपलब्ध होगी। यहां स्थापित किताब घर में हिमाचली लेखकों की रचनाएं, हिमाचल पर आधारित पुस्तकें तथा प्रदेश की संस्कृति-इतिहास से संबंधित शोध सामग्री पढ़ने व खरीदने को मिलेगी। यह पहल भाषा एवं संस्कृति विभाग, हिमाचल प्रदेश द्वारा की गई है। उद्देश्य है पुस्तकों के अध्ययन को बढ़ावा देना और स्थानीय व प्रदेश स्तरीय साहित्यकारों की रचनाएं पाठकों तक सरलता से पहुंचाना। प्रारंभिक चरण में ऊना जिले के साहित्यकारों की कृतियां, विभागीय प्रकाशन और पत्रिकाएं उपलब्ध हैं। जल्द ही अन्य जिलों के साहित्यकारों की किताबें और शोध सामग्री भी जोड़ी जाएगी। किताब घर प्रतिदिन सुबह 10 से शाम 5 बजे तक खुला रहेगा।
इसके अलावा कुछ पांडुलिपियां और जीवाश्म भी संग्रहालय में प्रदर्शित किए गए हैं। विभाग ने जिला वासियों से अनुरोध किया है कि यदि उनके पास कोई प्राचीन महत्व की वस्तु हो और वे उसे संग्रहालय के लिए दान करना चाहें, तो विभाग से संपर्क करें।
Trending Videos
हिमाचली साहित्य, शोध एवं लोक संस्कृति के संरक्षण की ओर सराहनीय पहल
संवाद न्यूज एजेंसी
ऊना। हिमाचली लोक संस्कृति पर शोध करने वाले शोधार्थियों के लिए खुशखबरी है। अब शोध से जुड़ी आवश्यक सामग्री एक ही स्थान लता मंगेशकर कला केंद्र, समूरकलां में उपलब्ध होगी। यहां स्थापित किताब घर में हिमाचली लेखकों की रचनाएं, हिमाचल पर आधारित पुस्तकें तथा प्रदेश की संस्कृति-इतिहास से संबंधित शोध सामग्री पढ़ने व खरीदने को मिलेगी। यह पहल भाषा एवं संस्कृति विभाग, हिमाचल प्रदेश द्वारा की गई है। उद्देश्य है पुस्तकों के अध्ययन को बढ़ावा देना और स्थानीय व प्रदेश स्तरीय साहित्यकारों की रचनाएं पाठकों तक सरलता से पहुंचाना। प्रारंभिक चरण में ऊना जिले के साहित्यकारों की कृतियां, विभागीय प्रकाशन और पत्रिकाएं उपलब्ध हैं। जल्द ही अन्य जिलों के साहित्यकारों की किताबें और शोध सामग्री भी जोड़ी जाएगी। किताब घर प्रतिदिन सुबह 10 से शाम 5 बजे तक खुला रहेगा।
इसके अलावा कुछ पांडुलिपियां और जीवाश्म भी संग्रहालय में प्रदर्शित किए गए हैं। विभाग ने जिला वासियों से अनुरोध किया है कि यदि उनके पास कोई प्राचीन महत्व की वस्तु हो और वे उसे संग्रहालय के लिए दान करना चाहें, तो विभाग से संपर्क करें।
विज्ञापन
विज्ञापन