सब्सक्राइब करें
Hindi News ›   India News ›   Supreme Court news and updates Bar Council of India Punjab Haryana Bar council Kashmir Separatist Case prison

SC Updates: पंजाब-हरियाणा बार काउंसिल चुनावों को लेकर सुप्रीम कोर्ट का निर्देश- 31 दिसंबर तक पूरी हो प्रक्रिया

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: कीर्तिवर्धन मिश्र Updated Fri, 31 Oct 2025 11:59 AM IST
विज्ञापन
Supreme Court news and updates Bar Council of India Punjab Haryana Bar council Kashmir Separatist Case prison
सुप्रीम कोर्ट। - फोटो : अमर उजाला
विज्ञापन
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) को निर्देश दिया कि वह पंजाब और हरियाणा बार काउंसिलों के चुनावों की अधिसूचना 10 दिनों के अंदर जारी कर दे। इतना ही नहीं कोर्ट ने इन चुनावों के लिए मतदान को 31 दिसंबर 2025 तक संपन्न कराने के लिए भी कहा है।


सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस सूर्यकांत और जस्टिस जॉयमाला बागची की पीठ ने यह भी निर्देश दिया कि उत्तर प्रदेश बार काउंसिल के चुनाव 31 जनवरी 2026 तक कराए जाएं और मतदाताओं की वास्तविक शिकायतों का समाधान किया जाए। शीर्ष अदालत की तरफ से यह निर्देश ऐसे समय में आए हैं, जब कोर्ट को जानकारी दी गई कि पंजाब और हरियाणा बार काउंसिलों के चुनावों की अभी तक अधिसूचना जारी नहीं हुई है और उत्तर प्रदेश में बार काउंसिल चुनाव के लिए मतदाता सूची वेबसाइट पर अपलोड नहीं की गई है।
विज्ञापन
विज्ञापन


वरिष्ठ अधिवक्ता मनन कुमार मिश्रा, जो बीसीआई के अध्यक्ष भी हैं, ने अदालत को बताया कि नियमों के अनुसार अधिसूचना जारी होने और चुनाव कराने के बीच 180 दिन का अंतर आवश्यक होता है, जिससे पंजाब और हरियाणा में कुछ कठिनाई हो सकती है। इस पर जस्टिस सूर्यकांत ने कहा कि अलग-अलग राज्यों के बार काउंसिल चुनावों के लिए एक समिति गठित की जाए, जिसकी अध्यक्षता किसी सेवानिवृत्त उच्च न्यायालय के न्यायाधीश करें। 

अदालत ने निर्देश दिया कि पंजाब और हरियाणा बार काउंसिल के चुनावों के लिए बीसीआई एक अलग समिति गठित करे, जिसकी अध्यक्षता भी किसी सेवानिवृत्त हाईकोर्ट जज को सौंपी जाए। पीठ ने कहा कि चुनाव 31 दिसंबर 2025 तक कराने का प्रयास किया जाए और यदि कोई कठिनाई आती है तो उस पर विचार किया जा सकता है।

जस्टिस सूर्यकांत ने कहा, “बार काउंसिल चुनाव लंबे समय से नहीं हुए हैं, लेकिन अब बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने इन्हें कराने पर सहमति दी है। हमें लोकतांत्रिक संस्थाओं पर भरोसा रखना चाहिए और निष्पक्ष चुनाव के माध्यम से उन्हें मजबूत बनाना चाहिए।”

सुप्रीम कोर्ट ने चैतन्य बघेल याचिका पर केंद्र और ईडी से जवाब मांगा
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल की याचिका पर केंद्र सरकार और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) से जवाब मांगा है। यह याचिका मनी लॉन्ड्रिंग कानून (पीएमएलए) की कुछ धाराओं और उनकी गिरफ्तारी को चुनौती देती है। चैतन्य बघेल को कथित शराब घोटाले में 18 जुलाई को गिरफ्तार किया गया था।

उनके वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि ईडी ने उन्हें बिना समन भेजे गिरफ्तार किया, जो कानून के खिलाफ है। न्यायमूर्ति सूर्यकांत और जॉयमल्या बागची की पीठ ने ईडी को 10 दिनों में जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया। ईडी ने कहा कि उसे जांच पूरी करने के लिए तीन महीने का समय दिया गया है। बघेल पिता-पुत्र पर महादेव बेटिंग ऐप और शराब, कोयला समेत अन्य घोटालों से जुड़ी जांच चल रही है।

सुप्रीम कोर्ट 25 नवंबर को सुनेगा मुस्लिमों को निशाना बनाने वाले वीडियो पर याचिका
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को कहा कि वह 25 नवंबर को उस याचिका पर सुनवाई करेगा, जिसमें सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स और भाजपा असम प्रदेश के आधिकारिक हैंडल से एक वीडियो हटाने की मांग की गई है। यह वीडियो कथित तौर पर मुस्लिम समुदाय को निशाना बनाता है।

याचिकाकर्ता ने कहा कि यह वीडियो 15 सितंबर को भाजपा असम प्रदेश के एक्स हैंडल से जारी किया गया था, जिसमें दिखाया गया है कि अगर बीजेपी सत्ता में नहीं रही तो असम पर मुस्लिमों का कब्जा हो जाएगा। वीडियो में मुस्लिम पहचान वाले लोगों को हवाई अड्डे और चाय बागानों पर कब्जा करते दिखाया गया है। याचिका में कहा गया है कि यह संविधान के धर्मनिरपेक्ष मूल्यों के खिलाफ है और साम्प्रदायिक सौहार्द बिगाड़ सकता है। सुप्रीम कोर्ट ने पहले 7 अक्तूबर को इस मामले में नोटिस जारी किया था और अब इसे 25 नवंबर को सुनवाई के लिए तय किया है।
विज्ञापन
विज्ञापन

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News apps, iOS Hindi News apps और Amarujala Hindi News apps अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

एप में पढ़ें

Followed