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Earthquake: नेपाल से दिल्ली तक बार-बार क्यों आ रहे भूकंप के झटके? इन राज्यों में बड़े खतरे की आहट, जानें

स्पेशल डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: हिमांशु मिश्रा Updated Tue, 24 Jan 2023 05:07 PM IST
सार

भूकंप के झटके को लेकर आईआईटी कानपुर की रिसर्च में बड़ा दावा किया है। आइए जानते हैं कि आईआईटी की रिसर्च में क्या-क्या मालूम चला है? कौन से वो दो राज्य हैं, जहां भूकंप का केंद्र हो सकता है? नेपाल में आए भूकंप की क्या वजह है? दिल्ली एनसीआर में क्यों बार-बार भूकंप के झटके आ रहे हैं?  

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Why earthquake tremors are coming again and again from Nepal to Delhi, big devastation in these states, know
earthquake - फोटो : अमर उजाला
नेपाल में मंगलवार की दोपहर एक बार फिर से भूकंप के तेज झटकों ने सबको हिलाकर रख दिया। दिल्ली एनसीआर समेत पूरे उत्तर भरत में भी इस भूकंप का असर देखने को मिला। नेशनल सेंटर फॉर सिसमोलॉजी (NCS) के अनुसार, इस भूकंप का केंद्र नेपाल ही था। रेक्टर स्केल पर इसकी तीव्रता 5.8 आकी गई है। 
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उत्तर-भारत और नेपाल में बार-बार भूकंप आने को लेकर आईआईटी कानपुर की रिसर्च में बड़ा दावा किया है। इसके अनुसार, भारत के हिमालयन राज्यों में कभी भी भयावह भूकंप आ सकता है। यह भूकंप 1505 और 1803 में आए भूकंप जैसा हो सकता है। आइए जानते हैं कि आईआईटी की रिसर्च में क्या-क्या मालूम चला है? कौन से वो दो राज्य हैं, जहां भूकंप का केंद्र हो सकता है? नेपाल में आए भूकंप की क्या वजह है? दिल्ली एनसीआर में क्यों बार-बार भूकंप के झटके आ रहे हैं?  आइए जानते हैं... 
 
 
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भूकंप (सांकेतिक फोटो) - फोटो : अमर उजाला
क्यों बार-बार नेपाल और उत्तर-भारत में आ रहे भूकंप के झटके? 
इसे समझने के लिए हमने आईआईटी कानपुर सिविल इंजीनियरिंग विभाग के सीनियर प्रोफेसर और जियोसाइंस इंजीनियरिंग के विशेषज्ञ प्रो. जावेद एन मलिक से बात की। उन्होंने कहा, '2015 में भी नेपाल में 7.8 से 8.1 तीव्रता वाले भूकंप के झटके आए थे। तब आठ हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो गई थी, जबकि 20 हजार से ज्यादा लोग घायल हो गए थे। उस वक्त भूकंप का केंद्र पूर्वी नेपाल था। यही कारण है कि भारत पर इसका असर नहीं पड़ा था। हालांकि, हिमालय रेंज में टेक्टोनिक प्लेट अस्थिर हो गई है। इसके चलते अब लंबे समय तक इस तरह के भूकंप आते रहेंगे। इस बार आए भूकंप का भी यह एक बड़ा कारण है। नेपाल में ये झटके उत्तराखंड से सटे हिमालयन रेंज पर आते हैं। यही कारण है कि इसका असर दिल्ली एनसीआर तक देखने को मिलता है।'

 
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भूकंप - फोटो : अमर उजाला
IIT-K की रिसर्च में क्या सामने आया? 
प्रो. जावेद मलिक ने बताया कि वह और उनकी टीम लंबे समय से भूकंप को लेकर अध्ययन कर रही है। इसमें भारत के लिए एक तरह की चिंताजनक स्थिति बन रही है। अगर लोग सोच रहे हैं कि भारत में नेपाल की तरह बड़े भूकंप नहीं आएंगे तो वह गलत हैं। 

प्रो. मलिक के अनुसार, 'इस बार नेपाल में आए भूकंप का केंद्र पश्चिमी नेपाल है, जो भारत से बिल्कुल सटा हुआ है। यही कारण है कि इस बार नेपाल के भूकंप का असर दिल्ली-एनसीआर तक देखने को मिला।' प्रो. मलिक ने तीन बिंदुओं में बताया कि उनके अध्ययन में क्या बातें सामने आई हैं? 
 
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1. भारत के हिमालयन रेंज में बड़े भूकंप की आशंका: हिमालयन रेंज यानी उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में बड़ा भूकंप आ सकता है। इसकी तीव्रता 7.8 से 8.5 के बीच रह सकती है। यह बड़ा खतरा है। इससे हम मुंह नहीं मोड़ सकते हैं।

 
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2. भूकंप के समय में प्रवेश कर चुका है भारत: अब सवाल उठता है कि भारत में कब तक इस तरह का भूकंप आ सकता है? इसका जवाब देते हुए प्रो. मलिक ने बताया, 'हम लोग (भारत) भूकंप की साइकिल जोन में पहले से ही प्रवेश कर चुके हैं। मतलब हम लोग उस टाइमलाइन में दाखिल हो चुके हैं, जब कभी भी किसी भी वक्त उत्तराखंड और हिमाचल में भयावह भूकंप के झटके आ सकते हैं। हिमालय भी इस ओर इशारा कर रहा है। हिमालय अभी पूरी तरह से शांत बैठा है। ये तूफान के आने से पहले वाली शांति है।  
 
 
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