{"_id":"6939555680f0c146050a5289","slug":"india-strengthens-auto-manufacturing-with-pli-scheme-as-incentives-reach-rs-1350-crore-2025-12-10","type":"feature-story","status":"publish","title_hn":"Auto PLI: ऑटो पीएलआई योजना का दायरा बढ़ा, 82 कंपनियों को मंजूरी, अब तक ₹1,350 करोड़ की मदद दी गई","category":{"title":"Automobiles","title_hn":"ऑटो-वर्ल्ड","slug":"automobiles"}}
Auto PLI: ऑटो पीएलआई योजना का दायरा बढ़ा, 82 कंपनियों को मंजूरी, अब तक ₹1,350 करोड़ की मदद दी गई
ऑटो डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: अमर शर्मा
Updated Wed, 10 Dec 2025 04:41 PM IST
सार
भारत की PLI ऑटो स्कीम में अब 82 अप्रूव्ड कंपनियां हैं। जिन्हें अब तक 1,350 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा चुका है और 32,879 करोड़ रुपये की बिक्री हुई है।
विज्ञापन
Car Plant
- फोटो : Freepik
विज्ञापन
विस्तार
भारत सरकार ने ऑटोमोबाइल और ऑटो कंपोनेंट उद्योग के लिए लागू प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (PLI) (पीएलआई) योजना की प्रगति पर ताजा जानकारी साझा की है। आंकड़ों से संकेत मिलता है कि योजना के तहत भागीदारी, स्थानीयकरण और प्रोत्साहन भुगतान तीनों मोर्चों पर निरंतर प्रगति हो रही है।
यह भी पढ़ें - Auto Sales: दिवाली के बाद भी भारतीय वाहन बाजार की बनी हुई है रफ्तार, जानें क्या है वजह
PLI ऑटो योजना का उद्देश्य क्या है
पीएलआई ऑटो योजना को 15 सितंबर 2021 को केंद्रीय मंत्रिमंडल की मंजूरी मिली थी। इसका कुल बजट 25,938 करोड़ रुपये है। इस योजना का मकसद एडवांस्ड ऑटोमोटिव टेक्नोलॉजी (AAT) (एएटी) से जुड़े उत्पादों का घरेलू निर्माण बढ़ाना, आयात पर निर्भरता कम करना और देश में रोजगार के नए अवसर पैदा करना है।
यह भी पढ़ें - Ford-Renault: फोर्ड और रेनो की बड़ी साझेदारी, यूरोप के लिए बनाएंगे दो नई इलेक्ट्रिक कारें और कमर्शियल वाहन
Trending Videos
यह भी पढ़ें - Auto Sales: दिवाली के बाद भी भारतीय वाहन बाजार की बनी हुई है रफ्तार, जानें क्या है वजह
विज्ञापन
विज्ञापन
PLI ऑटो योजना का उद्देश्य क्या है
पीएलआई ऑटो योजना को 15 सितंबर 2021 को केंद्रीय मंत्रिमंडल की मंजूरी मिली थी। इसका कुल बजट 25,938 करोड़ रुपये है। इस योजना का मकसद एडवांस्ड ऑटोमोटिव टेक्नोलॉजी (AAT) (एएटी) से जुड़े उत्पादों का घरेलू निर्माण बढ़ाना, आयात पर निर्भरता कम करना और देश में रोजगार के नए अवसर पैदा करना है।
यह भी पढ़ें - Ford-Renault: फोर्ड और रेनो की बड़ी साझेदारी, यूरोप के लिए बनाएंगे दो नई इलेक्ट्रिक कारें और कमर्शियल वाहन
मौजूदा स्थिति: कितनी कंपनियां और कितनी यूनिट्स
30 नवंबर 2025 तक इस योजना के अंतर्गत कुल 82 कंपनियों को मंजूरी दी जा चुकी है। इनमें वाहन निर्माता (चैंपियन OEM) और ऑटो कंपोनेंट निर्माता (कंपोनेंट चैंपियंस) दोनों शामिल हैं। ये कंपनियां देशभर में 278 स्वीकृत मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स का संचालन कर रही हैं।
राज्यवार देखें तो महाराष्ट्र सबसे बड़ा मैन्युफैक्चरिंग हब बनकर उभरा है, जहां 85 यूनिट्स हैं। इसके बाद तमिलनाडु में 49, हरियाणा में 43 और कर्नाटक में 29 यूनिट्स कार्यरत हैं।
यह भी पढ़ें - Petrol Ban: यूरोपीय पेट्रोल-डीजल प्रतिबंध पर कार कंपनियों की आखिरी कोशिश, क्या 2035 की समयसीमा टल सकती है?
30 नवंबर 2025 तक इस योजना के अंतर्गत कुल 82 कंपनियों को मंजूरी दी जा चुकी है। इनमें वाहन निर्माता (चैंपियन OEM) और ऑटो कंपोनेंट निर्माता (कंपोनेंट चैंपियंस) दोनों शामिल हैं। ये कंपनियां देशभर में 278 स्वीकृत मैन्युफैक्चरिंग यूनिट्स का संचालन कर रही हैं।
राज्यवार देखें तो महाराष्ट्र सबसे बड़ा मैन्युफैक्चरिंग हब बनकर उभरा है, जहां 85 यूनिट्स हैं। इसके बाद तमिलनाडु में 49, हरियाणा में 43 और कर्नाटक में 29 यूनिट्स कार्यरत हैं।
यह भी पढ़ें - Petrol Ban: यूरोपीय पेट्रोल-डीजल प्रतिबंध पर कार कंपनियों की आखिरी कोशिश, क्या 2035 की समयसीमा टल सकती है?
Car Plant
- फोटो : Volkswagen
अब तक कितना प्रोत्साहन दिया गया
इस योजना का कुल आवंटन 25,938 करोड़ रुपये है। अब तक 1,350.83 करोड़ रुपये का प्रोत्साहन वितरित किया जा चुका है और फिलहाल 5 कंपनियों को इसका लाभ मिला है। सरकार का लक्ष्य वित्त वर्ष 2027-28 तक 2019-20 के आधार स्तर की तुलना में 2.31 लाख करोड़ रुपये के पात्र बिक्री मूल्य को हासिल करना है। 30 सितंबर 2025 तक योजना के तहत 32,879 करोड़ रुपये की बिक्री दर्ज की जा चुकी है।
यह भी पढ़ें - EV Sales: नवंबर 2025 में भारत में विनफास्ट की ईवी बिक्री टेस्ला से छह गुना अधिक, फाडा के आंकड़ों से खुलासा
इस योजना का कुल आवंटन 25,938 करोड़ रुपये है। अब तक 1,350.83 करोड़ रुपये का प्रोत्साहन वितरित किया जा चुका है और फिलहाल 5 कंपनियों को इसका लाभ मिला है। सरकार का लक्ष्य वित्त वर्ष 2027-28 तक 2019-20 के आधार स्तर की तुलना में 2.31 लाख करोड़ रुपये के पात्र बिक्री मूल्य को हासिल करना है। 30 सितंबर 2025 तक योजना के तहत 32,879 करोड़ रुपये की बिक्री दर्ज की जा चुकी है।
यह भी पढ़ें - EV Sales: नवंबर 2025 में भारत में विनफास्ट की ईवी बिक्री टेस्ला से छह गुना अधिक, फाडा के आंकड़ों से खुलासा
स्थानीयकरण नियम: निर्माण रणनीति की रीढ़
पीएलआई प्रोत्साहन पाने के लिए कंपनियों को न्यूनतम 50 प्रतिशत घरेलू मूल्य संवर्धन (डोमेस्टिक वैल्यू एडिशन) (DVA) (डीवीए) हासिल करना अनिवार्य है। इसका उद्देश्य देश की लोकल सप्लाई चेन को मजबूत करना और आयात पर निर्भरता घटाना है।
मार्च 2025 तक OEM श्रेणी में 6 कंपनियों को डीवीए प्रमाणन मिला है, जिसके अंतर्गत 66 स्वीकृत वाहन वेरिएंट शामिल हैं।
वहीं, कंपोनेंट श्रेणी में 7 कंपनियों को डीवीए प्रमाणीकरण मिला है और 22 कंपोनेंट वेरिएंट्स को कवर किया गया है। डीवीए की गणना एक मानकीकृत प्रक्रिया के तहत की जाती है, जिसे अधिकृत परीक्षण एजेंसियों ने पारदर्शिता के लिए संयुक्त रूप से तैयार किया है।
यह भी पढ़ें - HR88B-8888: हरियाणा के व्यक्ति ने ₹1.17 करोड़ की बोली को अब बताया 'बेकार', परिवार के दबाव में नहीं किया भुगतान
पीएलआई प्रोत्साहन पाने के लिए कंपनियों को न्यूनतम 50 प्रतिशत घरेलू मूल्य संवर्धन (डोमेस्टिक वैल्यू एडिशन) (DVA) (डीवीए) हासिल करना अनिवार्य है। इसका उद्देश्य देश की लोकल सप्लाई चेन को मजबूत करना और आयात पर निर्भरता घटाना है।
मार्च 2025 तक OEM श्रेणी में 6 कंपनियों को डीवीए प्रमाणन मिला है, जिसके अंतर्गत 66 स्वीकृत वाहन वेरिएंट शामिल हैं।
वहीं, कंपोनेंट श्रेणी में 7 कंपनियों को डीवीए प्रमाणीकरण मिला है और 22 कंपोनेंट वेरिएंट्स को कवर किया गया है। डीवीए की गणना एक मानकीकृत प्रक्रिया के तहत की जाती है, जिसे अधिकृत परीक्षण एजेंसियों ने पारदर्शिता के लिए संयुक्त रूप से तैयार किया है।
यह भी पढ़ें - HR88B-8888: हरियाणा के व्यक्ति ने ₹1.17 करोड़ की बोली को अब बताया 'बेकार', परिवार के दबाव में नहीं किया भुगतान
Car Plant
- फोटो : Freepik
कौन-कौन से उत्पाद योजना के दायरे में हैं
पीएलआई ऑटो योजना के अंतर्गत 19 एएटी वाहन श्रेणियां और 103 एएटी कंपोनेंट श्रेणियां शामिल हैं। इसका फोकस बैटरी इलेक्ट्रिक वाहन और हाइड्रोजन फ्यूल-सेल वाहन तकनीक पर है, जो दोपहिया, तीन-पहिया, पैसेंजर व्हीकल, कमर्शियल वाहन, ट्रैक्टर और रक्षा उपयोग के वाहनों तक फैली हुई है। इसके साथ ही उन्नत ईवी सिस्टम और घरेलू स्तर पर बने कंपोनेंट्स को प्राथमिकता दी जा रही है।
यह भी पढ़ें - VIP Number: नोएडा में लगी रिकॉर्ड बोली, वीआईपी नंबर UP16FH 0001 27.5 लाख रुपये में नीलाम
पीएलआई ऑटो योजना के अंतर्गत 19 एएटी वाहन श्रेणियां और 103 एएटी कंपोनेंट श्रेणियां शामिल हैं। इसका फोकस बैटरी इलेक्ट्रिक वाहन और हाइड्रोजन फ्यूल-सेल वाहन तकनीक पर है, जो दोपहिया, तीन-पहिया, पैसेंजर व्हीकल, कमर्शियल वाहन, ट्रैक्टर और रक्षा उपयोग के वाहनों तक फैली हुई है। इसके साथ ही उन्नत ईवी सिस्टम और घरेलू स्तर पर बने कंपोनेंट्स को प्राथमिकता दी जा रही है।
यह भी पढ़ें - VIP Number: नोएडा में लगी रिकॉर्ड बोली, वीआईपी नंबर UP16FH 0001 27.5 लाख रुपये में नीलाम
बड़ी कंपनियां जो योजना का हिस्सा हैं
स्वीकृत वाहन निर्माताओं में टाटा मोटर्स, महिंद्रा एंड महिंद्रा, ह्यूंदै मोटर इंडिया, किआ इंडिया, सुजुकी मोटर गुजरात, अशोक लेलैंड, हीरो मोटोकॉर्प, बजाज ऑटो, ओला इलेक्ट्रिक और पियाजियो शामिल हैं।
ऑटो कंपोनेंट क्षेत्र में बॉश, भारत फोर्ज, सीएट, सुंदरम फास्टनर्स, शैफ्लर इंडिया, मदरसन सुमी, ऊनो मिंडा, वर्रोक इंजीनियरिंग और वैबको इंडिया जैसी कंपनियां योजना में शामिल हैं।
यह भी पढ़ें - Vehicles Ban: हरियाणा में एक जनवरी से एग्रीगेटर फ्लीट में नए पेट्रोल-डीजल वाहन बंद, केवल CNG और EV की अनुमति
स्वीकृत वाहन निर्माताओं में टाटा मोटर्स, महिंद्रा एंड महिंद्रा, ह्यूंदै मोटर इंडिया, किआ इंडिया, सुजुकी मोटर गुजरात, अशोक लेलैंड, हीरो मोटोकॉर्प, बजाज ऑटो, ओला इलेक्ट्रिक और पियाजियो शामिल हैं।
ऑटो कंपोनेंट क्षेत्र में बॉश, भारत फोर्ज, सीएट, सुंदरम फास्टनर्स, शैफ्लर इंडिया, मदरसन सुमी, ऊनो मिंडा, वर्रोक इंजीनियरिंग और वैबको इंडिया जैसी कंपनियां योजना में शामिल हैं।
यह भी पढ़ें - Vehicles Ban: हरियाणा में एक जनवरी से एग्रीगेटर फ्लीट में नए पेट्रोल-डीजल वाहन बंद, केवल CNG और EV की अनुमति
कार प्लांट
- फोटो : एआई
EV और लोकल मैन्युफैक्चरिंग को मिली रफ्तार
सरकार का कहना है कि पीएलआई ऑटो योजना के कारण इलेक्ट्रिक वाहनों को अपनाने की गति बढ़ी है। साथ ही, जैसे-जैसे अधिक कंपनियां प्रोत्साहन की पात्र बन रही हैं, ईवी वैल्यू चेन का स्थानीयकरण भी एएटी उत्पाद श्रेणियों में तेजी से विस्तार पा रहा है।
यह भी पढ़ें - ICE: ईवी को लेकर असमंजस बढ़ा, दुनिया भर में कार खरीदार दोबारा पेट्रोल-डीजल वाहनों की ओर लौट रहे हैं
यह भी पढ़ें - Winter Car Care: सर्दियों में कैसे करें कार की देखभाल? बैटरी, टायर और इंजन को ठंड से बचाने के जरूरी टिप्स
यह भी पढ़ें - EV Battery: सर्दियों में इलेक्ट्रिक कार चार्ज करते समय न करें ये गलती, वरना बैटरी की लाइफ होगी कम
सरकार का कहना है कि पीएलआई ऑटो योजना के कारण इलेक्ट्रिक वाहनों को अपनाने की गति बढ़ी है। साथ ही, जैसे-जैसे अधिक कंपनियां प्रोत्साहन की पात्र बन रही हैं, ईवी वैल्यू चेन का स्थानीयकरण भी एएटी उत्पाद श्रेणियों में तेजी से विस्तार पा रहा है।
यह भी पढ़ें - ICE: ईवी को लेकर असमंजस बढ़ा, दुनिया भर में कार खरीदार दोबारा पेट्रोल-डीजल वाहनों की ओर लौट रहे हैं
यह भी पढ़ें - Winter Car Care: सर्दियों में कैसे करें कार की देखभाल? बैटरी, टायर और इंजन को ठंड से बचाने के जरूरी टिप्स
यह भी पढ़ें - EV Battery: सर्दियों में इलेक्ट्रिक कार चार्ज करते समय न करें ये गलती, वरना बैटरी की लाइफ होगी कम