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Raipur News: एनएसयूआई ने राज्य गीत 'आरपा पैरी के धार' को सभी सार्वजनिक स्थलों पर बजाने की मांग, सौंपा ज्ञापन
अमर उजाला नेटवर्क, रायपुर
Published by: अमन कोशले
Updated Tue, 28 Oct 2025 07:05 PM IST
सार
छत्तीसगढ़ एनएसयूआई ने राज्य गीत 'आरपा पैरी के धार' को सभी सरकारी और सार्वजनिक स्थलों पर बजाने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा।
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एनएसयूआई ने कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन सौंपा
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
छत्तीसगढ़ एनएसयूआई ने राज्य गीत 'आरपा पैरी के धार' को सभी सरकारी और सार्वजनिक स्थलों पर बजाने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा। मंगलवार को एनएसयूआई के प्रभारी महामंत्री हेमंत पाल के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं ने कलेक्टर के माध्यम से मुख्यमंत्री विष्णु देव साय को ज्ञापन सौंपा। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने कलेक्टोरेट परिसर के बाहर छत्तीसगढ़ महतारी की प्रतिमा के समक्ष नारेबाजी करते हुए जोरदार प्रदर्शन किया।
ज्ञापन में मांग रखी गई कि आगामी 1 नवंबर को छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर, जब प्रदेश अपने 25 वर्ष पूरे करने जा रहा है, उस दिन और आगे भी 'आरपा पैरी के धार' राज्य गीत को राज्य की अस्मिता और संस्कृति के प्रतीक के रूप में सम्मानपूर्वक सभी सरकारी कार्यक्रमों, स्कूलों और सार्वजनिक स्थलों पर अनिवार्य रूप से बजाया जाए। एनएसयूआई महामंत्री हेमंत पाल ने कहा कि राज्य गीत 'आरपा पैरी के धार' केवल एक गीत नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की आत्मा और पहचान है। इसे हर नागरिक के दिल से जोड़ने की जरूरत है ताकि नई पीढ़ी में प्रदेश के प्रति गौरव और सांस्कृतिक चेतना का भाव विकसित हो सके।
उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार इस मांग पर शीघ्र निर्णय नहीं लेती है, तो एनएसयूआई कार्यकर्ता रायपुर रेलवे स्टेशन परिसर में रिक्शा चलाकर और उन पर लाउडस्पीकर लगाकर राज्य गीत बजाते हुए सांस्कृतिक अस्मिता की आवाज़ बुलंद करेंगे। हेमंत पाल ने कहा कि यह आंदोलन किसी राजनीतिक लाभ के लिए नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की संस्कृति, अस्मिता और स्वाभिमान के लिए है।
इस अवसर पर प्रदेश सचिव मोनू तिवारी, जिला महासचिव गावेश साहू, वाइस चेयरमैन पुनेश्वर लहरें, विधानसभा उपाध्यक्ष अंकित बंजारे, असलान शेख, शुभ, अमित शर्मा, साहिल खान सहित अन्य कार्यकर्ता उपस्थित थे।
ज्ञापन में मांग रखी गई कि आगामी 1 नवंबर को छत्तीसगढ़ राज्य स्थापना दिवस के अवसर पर, जब प्रदेश अपने 25 वर्ष पूरे करने जा रहा है, उस दिन और आगे भी 'आरपा पैरी के धार' राज्य गीत को राज्य की अस्मिता और संस्कृति के प्रतीक के रूप में सम्मानपूर्वक सभी सरकारी कार्यक्रमों, स्कूलों और सार्वजनिक स्थलों पर अनिवार्य रूप से बजाया जाए। एनएसयूआई महामंत्री हेमंत पाल ने कहा कि राज्य गीत 'आरपा पैरी के धार' केवल एक गीत नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की आत्मा और पहचान है। इसे हर नागरिक के दिल से जोड़ने की जरूरत है ताकि नई पीढ़ी में प्रदेश के प्रति गौरव और सांस्कृतिक चेतना का भाव विकसित हो सके।
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उन्होंने चेतावनी दी कि यदि सरकार इस मांग पर शीघ्र निर्णय नहीं लेती है, तो एनएसयूआई कार्यकर्ता रायपुर रेलवे स्टेशन परिसर में रिक्शा चलाकर और उन पर लाउडस्पीकर लगाकर राज्य गीत बजाते हुए सांस्कृतिक अस्मिता की आवाज़ बुलंद करेंगे। हेमंत पाल ने कहा कि यह आंदोलन किसी राजनीतिक लाभ के लिए नहीं, बल्कि छत्तीसगढ़ की संस्कृति, अस्मिता और स्वाभिमान के लिए है।
इस अवसर पर प्रदेश सचिव मोनू तिवारी, जिला महासचिव गावेश साहू, वाइस चेयरमैन पुनेश्वर लहरें, विधानसभा उपाध्यक्ष अंकित बंजारे, असलान शेख, शुभ, अमित शर्मा, साहिल खान सहित अन्य कार्यकर्ता उपस्थित थे।