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तुड़ा व्यापारी ने खुद रची थी अपहरण की झूठी साजिश: सीसीटीवी फुटेज से खुली पोल; गोहाना पुलिस ने किया खुलासा
संवाद न्यूज एजेंसी, सोनीपत
Published by: नवीन दलाल
Updated Thu, 25 Dec 2025 05:46 PM IST
सार
सोनीपत पुलिस जांच में सामने आया कि तुड़ी जलाने की यह घटना आपसी कहासुनी के चलते अंजाम दी गई थी। अशोक के इस षड्यंत्र में उसका साथी भी शामिल था, जिसे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।
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आरोपी
- फोटो : संवाद
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विस्तार
गोहाना क्षेत्र में तुड़ा व्यापारी के अपहरण के मामले से पुलिस ने पर्दा उठा दिया है। शुरुआती तौर पर जिस घटना ने पुलिस प्रशासन की नींद उड़ा दी थी, वही मामला अब एक सोची-समझी साजिश के रूप में सामने आया है। जांच में खुलासा हुआ है कि गांव खंदराई निवासी तुड़ा व्यापारी अशोक ने अपने ही अपहरण की झूठी कहानी गढ़ी थी, ताकि वह एक अन्य आपराधिक मामले में पुलिस की गिरफ्त से बच सके।
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डीसीपी गोहाना भारती डबास ने मामले का खुलासा करते हुए बताया कि 23 दिसंबर को पुलिस को सूचना मिली थी कि अशोक का चार-पांच लोगों ने पीछा किया, जिसके बाद वह लापता हो गया। उसकी अंतिम लोकेशन नूरनखेड़ा गांव के पास एक पुलिया के समीप मिली, जहां उसकी बाइक और कोट बरामद हुआ था। घटनाक्रम की गंभीरता को देखते हुए पुलिस ने तत्काल डॉग स्क्वायड और कई टीमों को सर्च ऑपरेशन में लगाया। लगातार प्रयासों के बाद पुलिस ने अशोक को हरियाणा रोडवेज की बस से पानीपत से गोहाना की ओर आते हुए बरामद कर लिया। पूछताछ में जो सच्चाई सामने आई, उसने पूरे मामले की परतें खोल दीं।
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तुड़ी जलाने का आरोपी, बचने को रची साजिश
डीसीपी ने बताया कि 16 दिसंबर को तुड़ी से भरी एक ट्राली में आग लगाने की घटना हुई थी, जिसमें करीब 9 लाख रुपये का नुकसान हुआ था। इस मामले में अशोक मुख्य आरोपी था और पुलिस के पास इस घटना से जुड़ी सीसीटीवी फुटेज भी सामने आ चुकी थी। गिरफ्तारी से बचने के लिए अशोक ने खुद के अपहरण की कहानी गढ़ डाली।
जांच में सामने आया कि अशोक ने अपने साथी अक्षय के साथ मिलकर पंप से पेट्रोल लिया और बड़ौता निवासी व्यक्ति की तुड़ी से भरी ट्राली में आग लगा दी। इसके बाद अपहरण की झूठी पटकथा रचते हुए वह नूरनखेड़ा के पास अपनी बाइक खड़ी कर गया, कोट को कई जगह से फाड़ दिया ताकि संघर्ष का आभास हो और फिर बस से पहले पानीपत तथा बाद में पंजाब के लुधियाना चला गया।
आपसी कहासुनी बनी वारदात की वजह
पुलिस जांच में सामने आया कि तुड़ी जलाने की यह घटना आपसी कहासुनी के चलते अंजाम दी गई थी। अशोक के इस षड्यंत्र में उसका साथी भी शामिल था, जिसे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। डीसीपी गोहाना भारती डबास ने स्पष्ट किया कि पुलिस ने पूरे मामले में तत्परता और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर सच्चाई सामने लाई है। उन्होंने कहा कि कानून से बचने के लिए रची गई कोई भी साजिश ज्यादा देर तक टिक नहीं सकती, और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।