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Pension: विदेश में बसे पूर्व सैनिकों और गोरखाओं की पेंशन को लेकर नए निर्देश, SPARSH सेवाओं का ऐसे मिलेगा फायदा
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सार
रक्षा मंत्रालय के तहत आने वाले रक्षा लेखा प्रधान नियंत्रक (PCDA-पेंशन), प्रयागराज की तरफ से हाल ही में डिफेंस पेंशनर्स के लिए कुछ दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। इनके तहत विदेश में बसे अप्रवासी भारतीय और नेपाल में रहने वाले गोरखा (नेपाल में बैंकों के माध्यम से) स्पर्श के माध्यम से अपनी रक्षा पेंशन/पारिवारिक पेंशन प्राप्त कर सकते हैं।

पूर्व सैनिकों की पेंशन को लेकर दिशा-निर्देश जारी
- फोटो : अमर उजाला

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विस्तार
रिटायर्ड सैनिकों की पेंशन संबंधी दिक्कतों को दूर करने के लिए ऑनलाइन शुरू की स्पर्श (सिस्टम फॉर पेंशन एडमिनिस्ट्रेशन रक्षा) को लेकर बड़ा अपडेट जारी किया गया है। रक्षा मंत्रालय के वित्त विभाग की तरफ से जारी नए दिशा-निर्देशों के मुताबिक अब एनआरआई और नेपाल में रह रहे गोरखा पेंशनर भी स्पर्श सेवाओं का फायदा उठा सकते हैं। लेकिन इन सेवाओं का फायदा उठाने के लिए उन्हें कुछ शर्तों को पूरा करना होगा। बता दें कि 32 लाख डिफेंस पेंशनभोगियों में से 30 लाख को स्पर्श पोर्टल यानी पेंशन प्रशासन प्रणाली (रक्षा) से सफलतापूर्वक जोड़ा जा चुका है।
डिफेंस पेंशनर्स के लिए दिशा-निर्देश
भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के तहत आने वाले रक्षा लेखा प्रधान नियंत्रक (PCDA-पेंशन), प्रयागराज की तरफ से हाल ही में डिफेंस पेंशनर्स के लिए कुछ दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। इनके तहत विदेश में बसे अप्रवासी भारतीय और नेपाल में रहने वाले गोरखा (नेपाल में बैंकों के माध्यम से) स्पर्श के माध्यम से अपनी रक्षा पेंशन/पारिवारिक पेंशन प्राप्त कर सकते हैं। हालांकि, स्पर्श पेंशनर पोर्टल पर लागू जियो-फेंसिग के चलते, वे भारत के बाहर पोर्टल पर लॉगिन नहीं कर सकेंगे।
सरकार ने बनाई समर्पित ईमेल आईडी
इससे पहले पीसीडीए (पेंशन) प्रयागराज ने पहले एनआरआई पेंशनर्स/फैमिली पेंशनर्स की सर्विस कैटेगरी के मुताबिक सालाना पहचान के लिए जीवन प्रमाण पत्र जमा करने के लिए पांच ईमेल आईडी जारी की थीं। लेकिन नई इस अधिसूचना के जारी होने के बाद पहले वाले निर्देश समाप्त हो गए हैं। एनआरआई और नेपाली गोरखा पेंशनभोगियों (एनडीजी) को स्पर्श की सेवाएं आसान बनाए रखने के लिए एक समर्पित ईमेल आईडी sparshnri.dad@gov.in भी बनाई गई है। एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी इस ईमेल आईडी का उपयोग स्पर्श के माध्यम से पेंशन प्राप्त करने के लिए स्पर्श की निम्नलिखित सेवाओं का लाभ उठाने के लिए कर सकते हैं।
इन सेवाओं में होगा ईमेल आईडी का इस्तेमाल
इस ईमेल आईडी के जरिए एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी अपना जीवन प्रमाणपत्र स्पर्श सेवा में जमा करा सकते हैं। वहीं मौजूदा पेंशनर की मृत्यु के बाद नेक्स्ट ऑफ किन की फैमिली पेंशन शुरू करने के लिए भी इस ईमेल आईडी का प्रयोग कर सकते हैं। भारत से बाहर सरकारी नौकरी में रोजगार/पुनर्नियुक्ति की सूचना देने के लिए, स्पर्श से भुगतान आदि की सूचना प्राप्त करने के लिए ईमेल अपडेट करना, स्पर्श में मौजूदा पेंशनभोगी का आधार-पैन अपडेट करने के लिए, पीपीओ और फॉर्म 16 की कॉपी के अलावा पेंशन के भुगतान को लेकर कोई समस्या आने पर भी इस ईमेल आईडी के जरिए संपर्क किया जा सकता है।
इस अधिसूचना में कहा गया है कि यदि पेंशनभोगी भारत में ही रहता है, तो वह अपने लॉगिन क्रेडेंशियल के जरिए या स्पर्श सेवा केंद्रों के माध्यम से स्पर्श सेवाओं का उपयोग करता रहेगा। वहीं, ईमेल भेजते समय, एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगियों को ईमेल के सब्जेक्ट में बोल्ड अक्षरों में 'सेवा का नाम - रैंक और पेंशनभोगी का नाम - स्पर्श पीपीओ नंबर' का उल्लेख करना होगा। विदेश में रहने वाले स्पर्श पेंशनभोगियों और नेपाल के बैंक खाते में अपनी पेंशन प्राप्त करने वाले एनडीजी पेंशनभोगी ही इस ईमेल का इस्तेमाल कर सकेंगे। वहीं, अन्य पेंशनभोगी स्पर्श सेवाओं का लाभ उठाने के लिए अपने पोर्टल खाते का उपयोग करें।
जीवन प्रमाण पत्र रहे अटैच
एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगियों को अपनी पेंशन जारी रखने के लिए हर साल जीवन प्रमाण पत्र जमा करना होगा। ईमेल पर किसी भी अनुरोध को भेजते वक्त एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी यह सुनिश्चित करेंगे कि जीवन प्रमाण पत्र उनके ईमेल के साथ अटैच रहे। जीवन प्रमाण पत्र पर उस देश में भारतीय दूतावास/भारतीय उच्चायोग/मिशन के अधिकारी/भारतीय वाणिज्य दूतावासों के काउंसिल या फिर उस देश में किसी भारतीय सार्वजनिक क्षेत्र बैंक की शाखा से जुड़े अधिकारी/नोटरी पब्लिक/इंडियन एंबेसी नेपाल की एजेंसियों के तहत कार्यरत पेंशन भुगतान कार्यालयों के अधिकारी के हस्ताक्षर और मुहर होना आवश्यक है। स्पर्श पर पूरे साल में कभी भी जीवन प्रमाण पत्र जमा करा सकते हैं, जो 12 महीने तक वैध रहता है।
30 लाख पेंशनर स्पर्श पोर्टल से जुड़े
इसी महीने की शुरुआत में एक अक्तूबर को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा था कि 32 लाख रक्षा पेंशनभोगियों में से 30 लाख पेंशनर स्पर्श पोर्टल से सफलतापूर्वक जुड़ चुके हैं। स्पर्श सेवा के जरिए डिफेंस पेंशनर्स घर बैठे ही अपना लीविंग सर्टिफिकेट जमा करा सकते हैं। वहीं, उनके मोबाइल पर उनकी पेंशन स्लिप भी आ जाएगी। सरकार ने स्पर्श पोर्टल के अलावा कई शहरों में स्पर्श सेवा केंद्र भी शुरू किए गए हैं, जिनके लिए कई बैंकों के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर भी किए गए हैं। इन केंद्रों के जरिए रक्षा पेंशनभोगी अपना प्रोफाइल अपडेट कर सकते हैं, शिकायत दर्ज़ करा सकते हैं, डिजिटल वार्षिक पहचान, डाटा वेरिफिकेशन और अपनी मासिक पेंशन से संबंधित विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
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डिफेंस पेंशनर्स के लिए दिशा-निर्देश
भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के तहत आने वाले रक्षा लेखा प्रधान नियंत्रक (PCDA-पेंशन), प्रयागराज की तरफ से हाल ही में डिफेंस पेंशनर्स के लिए कुछ दिशा-निर्देश जारी किए गए हैं। इनके तहत विदेश में बसे अप्रवासी भारतीय और नेपाल में रहने वाले गोरखा (नेपाल में बैंकों के माध्यम से) स्पर्श के माध्यम से अपनी रक्षा पेंशन/पारिवारिक पेंशन प्राप्त कर सकते हैं। हालांकि, स्पर्श पेंशनर पोर्टल पर लागू जियो-फेंसिग के चलते, वे भारत के बाहर पोर्टल पर लॉगिन नहीं कर सकेंगे।
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सरकार ने बनाई समर्पित ईमेल आईडी
इससे पहले पीसीडीए (पेंशन) प्रयागराज ने पहले एनआरआई पेंशनर्स/फैमिली पेंशनर्स की सर्विस कैटेगरी के मुताबिक सालाना पहचान के लिए जीवन प्रमाण पत्र जमा करने के लिए पांच ईमेल आईडी जारी की थीं। लेकिन नई इस अधिसूचना के जारी होने के बाद पहले वाले निर्देश समाप्त हो गए हैं। एनआरआई और नेपाली गोरखा पेंशनभोगियों (एनडीजी) को स्पर्श की सेवाएं आसान बनाए रखने के लिए एक समर्पित ईमेल आईडी sparshnri.dad@gov.in भी बनाई गई है। एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी इस ईमेल आईडी का उपयोग स्पर्श के माध्यम से पेंशन प्राप्त करने के लिए स्पर्श की निम्नलिखित सेवाओं का लाभ उठाने के लिए कर सकते हैं।
इन सेवाओं में होगा ईमेल आईडी का इस्तेमाल
इस ईमेल आईडी के जरिए एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी अपना जीवन प्रमाणपत्र स्पर्श सेवा में जमा करा सकते हैं। वहीं मौजूदा पेंशनर की मृत्यु के बाद नेक्स्ट ऑफ किन की फैमिली पेंशन शुरू करने के लिए भी इस ईमेल आईडी का प्रयोग कर सकते हैं। भारत से बाहर सरकारी नौकरी में रोजगार/पुनर्नियुक्ति की सूचना देने के लिए, स्पर्श से भुगतान आदि की सूचना प्राप्त करने के लिए ईमेल अपडेट करना, स्पर्श में मौजूदा पेंशनभोगी का आधार-पैन अपडेट करने के लिए, पीपीओ और फॉर्म 16 की कॉपी के अलावा पेंशन के भुगतान को लेकर कोई समस्या आने पर भी इस ईमेल आईडी के जरिए संपर्क किया जा सकता है।
इस अधिसूचना में कहा गया है कि यदि पेंशनभोगी भारत में ही रहता है, तो वह अपने लॉगिन क्रेडेंशियल के जरिए या स्पर्श सेवा केंद्रों के माध्यम से स्पर्श सेवाओं का उपयोग करता रहेगा। वहीं, ईमेल भेजते समय, एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगियों को ईमेल के सब्जेक्ट में बोल्ड अक्षरों में 'सेवा का नाम - रैंक और पेंशनभोगी का नाम - स्पर्श पीपीओ नंबर' का उल्लेख करना होगा। विदेश में रहने वाले स्पर्श पेंशनभोगियों और नेपाल के बैंक खाते में अपनी पेंशन प्राप्त करने वाले एनडीजी पेंशनभोगी ही इस ईमेल का इस्तेमाल कर सकेंगे। वहीं, अन्य पेंशनभोगी स्पर्श सेवाओं का लाभ उठाने के लिए अपने पोर्टल खाते का उपयोग करें।
जीवन प्रमाण पत्र रहे अटैच
एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगियों को अपनी पेंशन जारी रखने के लिए हर साल जीवन प्रमाण पत्र जमा करना होगा। ईमेल पर किसी भी अनुरोध को भेजते वक्त एनआरआई/एनडीजी पेंशनभोगी यह सुनिश्चित करेंगे कि जीवन प्रमाण पत्र उनके ईमेल के साथ अटैच रहे। जीवन प्रमाण पत्र पर उस देश में भारतीय दूतावास/भारतीय उच्चायोग/मिशन के अधिकारी/भारतीय वाणिज्य दूतावासों के काउंसिल या फिर उस देश में किसी भारतीय सार्वजनिक क्षेत्र बैंक की शाखा से जुड़े अधिकारी/नोटरी पब्लिक/इंडियन एंबेसी नेपाल की एजेंसियों के तहत कार्यरत पेंशन भुगतान कार्यालयों के अधिकारी के हस्ताक्षर और मुहर होना आवश्यक है। स्पर्श पर पूरे साल में कभी भी जीवन प्रमाण पत्र जमा करा सकते हैं, जो 12 महीने तक वैध रहता है।
30 लाख पेंशनर स्पर्श पोर्टल से जुड़े
इसी महीने की शुरुआत में एक अक्तूबर को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा था कि 32 लाख रक्षा पेंशनभोगियों में से 30 लाख पेंशनर स्पर्श पोर्टल से सफलतापूर्वक जुड़ चुके हैं। स्पर्श सेवा के जरिए डिफेंस पेंशनर्स घर बैठे ही अपना लीविंग सर्टिफिकेट जमा करा सकते हैं। वहीं, उनके मोबाइल पर उनकी पेंशन स्लिप भी आ जाएगी। सरकार ने स्पर्श पोर्टल के अलावा कई शहरों में स्पर्श सेवा केंद्र भी शुरू किए गए हैं, जिनके लिए कई बैंकों के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर भी किए गए हैं। इन केंद्रों के जरिए रक्षा पेंशनभोगी अपना प्रोफाइल अपडेट कर सकते हैं, शिकायत दर्ज़ करा सकते हैं, डिजिटल वार्षिक पहचान, डाटा वेरिफिकेशन और अपनी मासिक पेंशन से संबंधित विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।