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Jammu-Kashmir: घाटी में इन 82 पाक आतंकियों के सिर पर किसका है हाथ, कौन है विदेशी दहशतगर्दों का मददगार?

Jitendra Bhardwaj जितेंद्र भारद्वाज
Updated Wed, 16 Nov 2022 09:48 PM IST
सार

Jammu-Kashmir: अगर सक्रिय आतंकियों की बात करें तो अभी वहां '135' आतंकी कहीं पर छिपे हैं। इनमें 82 विदेशी आतंकी हैं और बाकी 53 स्थानीय आतंकी हैं। सुरक्षा बलों का दावा है कि सीमा पार के आतंकी संगठनों को घाटी में दहशतगर्दों की नई भर्ती के लिए अनेक दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है...

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Jammu-Kashmir: 82 Pakistani terrorists present in valley remain big concern for security forces
Jammu-Kashmir - फोटो : बासित जरगर
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विस्तार
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जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद-370 खत्म होने के बाद यह माना गया था कि अब खासतौर से घाटी में आतंकियों की संख्या काफी कम हो जाएगी। उनके मददगार भी खत्म हो जाएंगे। जम्मू-कश्मीर में मौजूद आतंकियों की संख्या को देखें, तो उससे पता चलता है कि अभी वहां पर दहशतगर्दों के मददगार हैं। उन्हें छिपने के लिए ठिकाना मुहैया कराने से लेकर कई तरह की मदद मिल रही है। इस साल अक्तूबर तक जम्मू-कश्मीर में 178 आतंकी मारे गए हैं। इनमें 52 विदेशी आतंकी थे, जबकि 126 स्थानीय आतंकी शामिल हैं।

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135 आतंकी छिपे हैं!

अगर सक्रिय आतंकियों की बात करें तो अभी वहां '135' आतंकी कहीं पर छिपे हैं। इनमें 82 विदेशी आतंकी हैं और बाकी 53 स्थानीय आतंकी हैं। सुरक्षा बलों का दावा है कि सीमा पार के आतंकी संगठनों को घाटी में दहशतगर्दों की नई भर्ती के लिए अनेक दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। हालांकि घाटी में मौजूद 82 विदेशी (पाकिस्तानी) आतंकी, सुरक्षा बलों की चिंता का एक बड़ा कारण बने हुए हैं। सुरक्षा बलों के मुताबिक, सेना द्वारा समय-समय पर यह दावा किया जाता रहा है कि अब सीमा पार से घुसपैठ काफी कम हो गई है।

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जब घुसपैठ नहीं तो कहां से आ रहे हैं आतंकी

जम्मू-कश्मीर पुलिस एवं वहां पर तैनात दूसरे केंद्रीय बलों का भी ऐसा ही दावा रहा है। ऐसे में सवाल यह उठता है कि जब घाटी में सीमा पार से आतंकियों की घुसपैठ नहीं हो रही है, तो फिर वहां पर स्थानीय आतंकियों के मुकाबले विदेशी दहशतगदों (पाकिस्तानी) की संख्या कैसे बढ़ गई है। ऐसा भी नहीं है कि यह आंकड़ा एकाएक सामने आया है। पिछले कई माह से विदेशी आतंकियों की संख्या 80 से 90 के बीच ही रही है। सुरक्षा बलों के साथ एनकाउंटर में मारे जाने वाले अधिकांश आतंकी, स्थानीय होते हैं। कभी-कभार ही कोई इक्का-दुक्का विदेशी दहशतगर्द, मुठभेड़ में मारा जाता है। जम्मू-कश्मीर पुलिस द्वारा जब कभी किसी हाइब्रिड आतंकी को पकड़ा जाता है तो वह भी स्थानीय ही निकलता है।

हाइब्रिड आतंकी बने खतरा

सुरक्षा बलों के एक वरिष्ठ अधिकारी बताते हैं, घाटी में अभी हाल-फिलहाल में कोई बड़ी घुसपैठ नहीं हुई है। संभव है कि ये सभी विदेशी आतंकी कई वर्षों से घाटी में कहीं पर छिपे हों। सुरक्षा बलों की वहां तक पहुंच न हो सकी हो। मौजूदा समय में वहां पर 135 आतंकी सक्रिय हैं। इनमें 53 स्थानीय और 82 विदेशी आतंकी हैं। जम्मू कश्मीर पुलिस, आईबी, आर्मी एवं अन्य एजेंसियां आतंकियों के ठिकाने तक पहुंचने का प्रयास कर रही हैं। इन आतंकियों को घाटी में किसी न किसी तरह की मदद तो मिल ही रही है। सीमा पार के आतंकी संगठन, पाकिस्तानी आतंकियों को बचाना चाहते हैं। वे ज्यादा से ज्यादा हाइब्रिड आतंकी तैयार कर रहे हैं। हाइब्रिड आतंकियों की मदद से ही टारगेट किलिंग की वारदात को अंजाम दिया जाता है।

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