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BrahMos: अकेले 'ब्रह्मोस' करेगा पीएम मोदी के रक्षा निर्यात के लक्ष्य को पूरा, 2025 तक का है टारगेट
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: संजीव कुमार झा
Updated Tue, 18 Oct 2022 11:53 AM IST
सार
ब्रह्मोस एयरोस्पेस के अध्यक्ष अतुल डी राणे ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2025 तक रक्षा निर्यात में 41 हजार करोड़ रुपये प्राप्त करने का लक्ष्य दिया है।
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पीएम मोदी
- फोटो : Social Media
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विस्तार
ब्रह्मोस एयरोस्पेस के अध्यक्ष अतुल डी राणे ने रक्षा क्षेत्र में सुधार को लेकर मंगलवार को बड़ी जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि भारतीय सैन्य क्षमता को और मजबूत करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2025 तक रक्षा निर्यात में 41 हजार करोड़ रुपये प्राप्त करने का लक्ष्य दिया है। हम उम्मीद कर रहे हैं कि अकेले ब्रह्मोस एयरोस्पेस उस समय तक इस आंकड़े को हासिल करने में सक्षम होगा। उन्होंने कहा कि हम फिलीपींस से अधिक ऑर्डर प्राप्त करने की उम्मीद कर रहे हैं और हम निर्यात के लिए वियतनाम, मलेशिया और कई अन्य देशों से बात कर रहे हैं।
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पिछले छह महीनों में 8000 करोड़ रुपये का हुआ रक्षा निर्यात: राजनाथ सिंह
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के अनुसार देश का रक्षा निर्यात चालू वित्त वर्ष के पहले छह महीनों में 8,000 करोड़ रुपये रहा है। वहीं प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार आने के बाद भारत के रक्षा क्षेत्र ने कुल 30 हजार करोड़ रुपये मूल्य का निर्यात किया है। उन्होंने कहा कि भारत अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रक्षा डिजाइन, विकास एवं विनिर्माण के वैश्विक मानकों को हासिल करने की राह पर तेजी से आगे बढ़ रहा है।
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दुनिया के कई देशों में बढ़ी ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की मांग
भारत के ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की मांग दुनिया के कई देशों में बढ़ी है इसलिए रक्षा निर्यात में यह अहम योगदान कर रहा है। वियतनाम के अलावा फिलिपींस, इंडोनेशिया, दक्षिण अफ्रीका, चिली और ब्राजील समेत 15 देश अब तक ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल में अपनी दिलचस्पी दिखा चुके हैं। बीते पांच वर्षों से भारत के ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल की धाक दुनिया में है। वियतनाम बीते पांच वर्षों से ब्रह्मोस मिसाइल की मांग कर रहा है। हनोई ने तो ब्रह्मोस खरीदने का आवेदन वर्ष 2011 से कर रखा है।
ब्रह्मोस की खूबियां
- ब्राह्मोस एक संयुक्त उद्यम (JV)कार्यक्रम के तहत भारत और रूस द्वारा विकसित दुनिया की सबसे तेज और सबसे घातक क्रूज मिसाइल है।
- उड़ान के माध्यम से सुपरसोनिक गति (2.8 मच तक) के साथ 290 किमी की सीमा
- हवा, जमीन, समुद्र और पानी के नीचे के प्लेटफार्मों से लॉन्च किया जा सकता है
- उड़ान प्रक्षेपवक्र की विस्तृत श्रृंखला
- कम उड़ान समय के परिणामस्वरूप न्यून लक्ष्य फैलाव और जल्दी जुड़ाव।
- प्रभाव में बहुत अधिक गतिज ऊर्जा के कारण उच्च विनाश क्षमता
- समुद्र और जमीन के लक्ष्यों के खिलाफ उच्च प्रभावशीलता