Jharkhand: पुलिस-गृह मंत्रालय की टीम को बड़ी सफलता, 15000 म्यूल खातों से करोड़ों की साइबर धोखाधड़ी का भंडाफोड़
झारखंड ने I4C के साथ मिलकर 15,000 से ज्यादा म्यूल बैंक खातों से जुड़े साइबर ठगी नेटवर्क का पर्दाफाश किया है। 10 लाख से अधिक की लेनदेन वाले 40 खातों पर FIR दर्ज की गई, अब तक 7 गिरफ्तारियां हुई हैं। ये खाते फर्जी निवेश योजनाओं के जरिए करोड़ों की ठगी में इस्तेमाल हो रहे थे।
विस्तार
झारखंड पुलिस की अपराध अनुसंधान विभाग (सीआईडी) ने केंद्रीय गृह मंत्रालय के तहत भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र (I4C) के साथ मिलकर एक बड़े साइबर ठगी नेटवर्क का भंडाफोड़ किया है। इस नेटवर्क में 15,000 से अधिक म्यूल बैंक खातों के इस्तेमाल का पता चला है। बता दें कि म्यूल खाता (Mule Accounts) ऐसा बैंक खाता होता है जिसका उपयोग अपराधी अवैध पैसे को इधर-उधर करने, धोखाधड़ी की कमाई छिपाने या मनी लॉन्ड्रिंग के लिए करते हैं। ये खाते कुछ मामलों में खाता धारक की जानकारी के बिना और कभी-कभी उसकी मिलीभगत से इस्तेमाल किए जाते हैं।
झारखंड के डीजीपी ने दी जानकारी
मामले में झारखंड के डीजीपी अनुराग ठाकुर ने जानकारी दी कि इन खातों का उपयोग फर्जी निवेश योजनाओं के जरिए धोखाधड़ी से कमाई गई रकम को छिपाने और घुमाने के लिए किया गया। इस संबंध में पिछले महीने एक एफआईआर दर्ज की गई थी। सीआईडी ने I4C पोर्टल से मिले इनपुट के आधार पर दस लाख रुपये या उससे अधिक की लेनदेन करने वाले लेयर-1 म्यूल खातों पर विशेष अभियान चलाया। इस दौरान 40 बैंक खातों को चिन्हित कर 29 जुलाई को FIR दर्ज की गई। अब तक 7 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है।
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कई राज्यों में फैला नेटवर्क
इसके साथ ही जांच में पाया गया है कि यह साइबर ठगी का नेटवर्क देश के कई राज्यों तक फैला हुआ है। ये बैंक खाते बिहार, ओडिशा, यूपी, बंगाल, गुजरात, केरल, एमपी, हिमाचल, छत्तीसगढ़, तमिलनाडु, कर्नाटक, आंध्र प्रदेश और दिल्ली में दर्ज निवेश धोखाधड़ी से जुड़े मामलों में उपयोग किए गए हैं।
गिरफ्तार आरोपियों की पहचान
गिरफ्तार आरोपियों में रांची के रौशन कुमार शामिल हैं, जिनके बैंक खाते से ₹10.2 करोड़ की लेनदेन हुई। कोडरमा के राजेन्द्र कुमार साव के खाते से ₹67 लाख, पलामू के प्रण रंजन सिन्हा के खाते से ₹1.6 करोड़, और जामताड़ा के जीतेन्द्र कुमार के खाते से ₹5.1 करोड़ की ठगी की राशि अलग-अलग राज्यों में भेजी गई। सबसे बड़ी रकम रांची के सतीश कुमार के खाते से सामने आई, जिसमें ₹6.2 करोड़ की धोखाधड़ी का लेन-देन हुआ।
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इसके अलावा जांच के दौरान पुलिस ने आरोपियों के पास से 8 मोबाइल फोन, 12 सिम कार्ड, 9 एटीएम कार्ड, 4 पासबुक, 9 चेकबुक, एक व्यवसाय पंजीकरण प्रमाण पत्र और व्हाट्सएप चैट रिकॉर्ड जब्त किए हैं। यह कार्रवाई झारखंड सीआईडी द्वारा साइबर अपराध के खिलाफ देशभर में चल रही मुहिम का एक महत्वपूर्ण और बड़ा कदम माना जा रहा है।