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Bihar News: 22 साल बाद फरार महिला नक्सली गिरफ्तार, गोवर्धना थाना विस्फोट मामले में थी मुख्य आरोपी
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, बेतिया
Published by: शबाहत हुसैन
Updated Thu, 15 May 2025 10:21 PM IST
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सार
Bihar: गोबरहिया थानाध्यक्ष रामानंद प्रसाद ने बताया कि मीनाक्षी की गिरफ्तारी पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई थी। उन्होंने कहा कि उसे जल्द ही न्यायालय में पेश किया जाएगा। पुलिस अधिकारियों ने इस गिरफ्तारी को नक्सली नेटवर्क के खिलाफ बड़ी कामयाबी बताया है।

आरोपी महिला
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
बिहार के पश्चिम चंपारण जिले में पुलिस को एक बड़ी सफलता हाथ लगी है। वर्ष 2003 में डायनामाइट से थाने को उड़ाने की सनसनीखेज नक्सली वारदात में शामिल महिला नक्सली मीनाक्षी को 22 साल बाद गिरफ्तार कर लिया गया है। मीनाक्षी पश्चिम चंपारण जिले के गोवर्धना थाना क्षेत्र के चंपापुर गांव की रहने वाली है।

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जानकारी के अनुसार, मई 2003 में नक्सलियों ने गोवर्धना थाना पर हमला कर पूरी इमारत को डायनामाइट से उड़ा दिया था। इस हमले ने पूरे राज्य में खलबली मचा दी थी। मामले में कुल 27 नक्सलियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई थी, जिनमें मीनाक्षी भी प्रमुख अभियुक्त थी। घटना के बाद से ही वह फरार चल रही थी।
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गुप्त सूचना के आधार पर एसटीएफ और गोबरहिया थाना पुलिस की संयुक्त टीम ने छापेमारी कर मीनाक्षी को उसके मायके, लौकरिया थाना क्षेत्र के सुंदरपुर गांव से गिरफ्तार किया। बताया गया कि पुलिस को लंबे समय से उसकी तलाश थी और उसके खिलाफ न्यायालय से गिरफ्तारी वारंट भी जारी था। फरार रहने के कारण उसके खिलाफ कुर्की-जब्ती की कार्रवाई भी की गई थी।
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गोबरहिया थानाध्यक्ष रामानंद प्रसाद ने बताया कि मीनाक्षी की गिरफ्तारी पुलिस के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई थी। उन्होंने कहा कि उसे जल्द ही न्यायालय में पेश किया जाएगा। पुलिस अधिकारियों ने इस गिरफ्तारी को नक्सली नेटवर्क के खिलाफ बड़ी कामयाबी बताया है। एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि यह गिरफ्तारी हमारी निरंतर निगरानी, खुफिया सूचना तंत्र और संयुक्त कार्रवाई की सफलता है।
गौरतलब है कि 2003 में गोवर्धना थाना को उड़ाने की यह घटना राज्य की सबसे गंभीर नक्सली घटनाओं में मानी जाती है। इसने सरकार और सुरक्षा एजेंसियों को झकझोर दिया था। अब इतने वर्षों बाद इस मामले में एक प्रमुख आरोपी की गिरफ्तारी से उम्मीद है कि केस को आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी।