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जीपी ने भाई का करा दिया था तबादला, नाराज भाई अब लड़ रहा चुनाव - चन्नी
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मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने अपने भाई के चुनाव लड़ने पर कहा कि जब मेरा भाई बस्सी पठाना में एसएमओ था तब विधायक गुरप्रीत सिंह जीपी के साथ अनबन हो गई थी। जिसके बाद विधायक ने वहां से उनका तबादला करवा दिया था। इस नाराजगी के कारण भाई ने बस्सी पठाना से जीपी के खिलाफ आजाद चुनाव लड़ने की घोषणा की है।
चंडीगढ़ में पत्रकारों से वार्ता करते हुए मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने कहा कि वह एक संयुक्त परिवार में रहते हैं। उनका भाई हमेशा उनके साथ ही रहा है। इस बार एक परिवार एक टिकट के कारण उनके भाई को पार्टी ने प्रत्याशी नहीं बनाया। साथ ही जीपी को प्रत्याशी बनाए जाने को लेकर भाई में नाराजगी है। हालांकि वह मेरे भाई हैं, इसलिए बस्सी पठाना से विधायक और भाई को बिठाकर बात की जाएगी, दोनों में संधि कराने का प्रयास किया जाएगा। इस मामले को विपक्ष बगावत का तूल दे रहा है, हालांकि इसमें ऐसी कोई बात नहीं है।
2017 के फंड का हिसाब दे आप
2017 के चुनाव में आप ने पंजाब के विकास के नाम पर एनआरआई से अरबों रुपये लिए थे। उनकी पार्टी सत्ता में तो आई नहीं तो फिर उन्होंने उस पैसे का क्या किया। आखिर वह पैसा कहां हैं। पार्टी को इसका हिसाब देना चाहिए। पार्टी के मुख्यमंत्री चेहरे पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस इसको लेकर कोई सर्वे नहीं करा रही है।
मान का नहीं, मेरा नाम है सर्वे में
आप के मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर हो रहे सर्वे पर चन्नी ने तंज कसते हुए कहा कि आप जो सर्वे करा रही है, उस सर्वे में भगवंत मान का नहीं, बल्कि मेरा नाम बतौर मुख्यमंत्री आ रहा है। आप के सर्वे में राज्य की जनता से सीएम के चेहरे को लेकर उनकी पहली पसंद पूछी जा रही है, पहली पसंद के सवाल में भी चरणजीत सिंह चन्नी का नाम आ रहा है।
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चंडीगढ़ में पत्रकारों से वार्ता करते हुए मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने कहा कि वह एक संयुक्त परिवार में रहते हैं। उनका भाई हमेशा उनके साथ ही रहा है। इस बार एक परिवार एक टिकट के कारण उनके भाई को पार्टी ने प्रत्याशी नहीं बनाया। साथ ही जीपी को प्रत्याशी बनाए जाने को लेकर भाई में नाराजगी है। हालांकि वह मेरे भाई हैं, इसलिए बस्सी पठाना से विधायक और भाई को बिठाकर बात की जाएगी, दोनों में संधि कराने का प्रयास किया जाएगा। इस मामले को विपक्ष बगावत का तूल दे रहा है, हालांकि इसमें ऐसी कोई बात नहीं है।
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2017 के फंड का हिसाब दे आप
2017 के चुनाव में आप ने पंजाब के विकास के नाम पर एनआरआई से अरबों रुपये लिए थे। उनकी पार्टी सत्ता में तो आई नहीं तो फिर उन्होंने उस पैसे का क्या किया। आखिर वह पैसा कहां हैं। पार्टी को इसका हिसाब देना चाहिए। पार्टी के मुख्यमंत्री चेहरे पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस इसको लेकर कोई सर्वे नहीं करा रही है।
मान का नहीं, मेरा नाम है सर्वे में
आप के मुख्यमंत्री चेहरे को लेकर हो रहे सर्वे पर चन्नी ने तंज कसते हुए कहा कि आप जो सर्वे करा रही है, उस सर्वे में भगवंत मान का नहीं, बल्कि मेरा नाम बतौर मुख्यमंत्री आ रहा है। आप के सर्वे में राज्य की जनता से सीएम के चेहरे को लेकर उनकी पहली पसंद पूछी जा रही है, पहली पसंद के सवाल में भी चरणजीत सिंह चन्नी का नाम आ रहा है।