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ED: भारतमाला परियोजना की जमीन में धोखाधड़ी से लिया मुआवजा, दस्तावेजों में यूं की गई हेराफेरी
डिजिटल ब्यूरो ,अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: अस्मिता त्रिपाठी
Updated Wed, 31 Dec 2025 03:53 PM IST
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सार
भारतमाला योजना के तहत रायपुर-विशाखापत्तनम राजमार्ग परियोजना के लिए जिस भूमि का अधिग्रहण किया गया, उसमें कई लोगों ने अवैध मुआवजा ले लिया। ये काम, सरकारी कर्मियों की मिलीभगत से हुआ है। राजस्व से जुड़े दस्तावेजों में हेराफेरी की गई।
ईडी
- फोटो : ANI
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विस्तार
भारतमाला योजना के तहत रायपुर-विशाखापत्तनम राजमार्ग परियोजना के लिए जिस भूमि का अधिग्रहण किया गया, उसमें कई लोगों ने अवैध मुआवजा ले लिया। ये काम, सरकारी कर्मियों की मिलीभगत से हुआ है। राजस्व से जुड़े दस्तावेजों में हेराफेरी की गई। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), रायपुर क्षेत्रीय कार्यालय ने दो दिन पहले इस मामले में रायपुर और महासमुंद में स्थित दस परिसरों में छापेमारी की है। ये परिसर आरोपी हरमीत सिंह खानुजा और अन्य लोगों के बताए गए हैं।
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ईडी ने रायपुर स्थित एसीबी/ईओडब्ल्यू द्वारा तत्कालीन एसडीओ (राजस्व), अभानपुर, रायपुर के निर्भय साहू और अन्य के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम, 1988 व भारतीय दंड संहिता, 1860 की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज एफआईआर के आधार पर इस केस की जांच शुरू की थी। आरोप है कि अभियुक्तों ने सरकारी अधिकारियों के साथ मिलीभगत करके रायपुर-विशाखापत्तनम राजमार्ग परियोजना के लिए जिस भूमि का अधिग्रहण किया गया, उसमें सरकारी अभिलेखों में हेराफेरी करके अवैध मुआवजा प्राप्त किया था।
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ईडी की जांच में पता चला है कि आरोपियों ने कुछ सरकारी कर्मचारियों के साथ आपराधिक साजिश रचकर, भारतमाला परियोजना के तहत अधिग्रहित भूमि के लिए धोखाधड़ी से अतिरिक्त मुआवजा प्राप्त किया। उन्होंने परिवार के सदस्यों के बीच पिछली तारीखों में बड़े भू-भागों का जानबूझकर बंटवारा किया। भूमि अधिग्रहण से पहले कई छोटे-छोटे भूखंड दिखाने के लिए भूमि का यह कृत्रिम विभाजन किया गया था, जिससे मुआवजे की व्यवस्था का दुरुपयोग करके अधिक मुआवजा प्राप्त किया जा सके।
राजस्व अभिलेखों में हेरफेर करके इन विभाजनों को अधिग्रहण प्रक्रिया से पहले का दिखाया गया, जिसके परिणामस्वरूप बढ़ा हुआ अवैध मुआवजा स्वीकृत और वितरित किया गया। इस प्रकार प्राप्त अतिरिक्त अवैध मुआवजा अपराध की आय (पीओसी) थी। इससे सरकारी खजाने को अनुचित नुकसान हुआ तथा आरोपियों को इसके अनुरूप अवैध लाभ हुआ। ईडी ने तलाशी अभियान में 40 लाख रुपये नकद, डिजिटल उपकरण और कई आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए हैं। साथ ही, अनुसूचित अपराध के कमीशन से प्राप्त पीओसी से संबंधित व्यक्तियों के नाम पर अर्जित कई चल और अचल संपत्तियां भी तलाशी अभियान के दौरान बरामद की गईं।