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SC: 'सहमति बनाएं या फिर हम कुलपतियों की नियुक्ति करेंगे', सुप्रीम कोर्ट की केरल सीएम और राज्यपाल को दो टूक
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: नितिन गौतम
Updated Fri, 05 Dec 2025 04:00 PM IST
सार
केरल के दो विश्वविद्यालयो में कुलपतियों की नियुक्ति के विवाद पर सुप्रीम कोर्ट ने तल्ख टिप्पणी की है। सुप्रीम कोर्ट ने राज्यपाल और मुख्यमंत्री से कहा है कि या तो वे आम सहमति बना लें वरना सुप्रीम कोर्ट कुलपतियों की नियुक्ति कर देगा।
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सुप्रीम कोर्ट (फाइल तस्वीर)
- फोटो : ANI
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विस्तार
सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि अगर कुलपतियों की नियुक्ति को लेकर राज्यपाल और केरल के मुख्यमंत्री के बीच सहमति नहीं बनती है तो फिर सुप्रीम कोर्ट इसमें दखल देगा। जस्टिस जेबी पारदीवाला और जस्टिस पीबी वराले की पीठ ने एपीजे अब्दुल कलाम टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी और यूनिवर्सिटी ऑफ डिजिटल साइंसेज इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी के कुलपतियों की नियुक्ति से जुड़े मामले पर सुनवाई के दौरान यह टिप्पणी की।
सुनवाई के दौरान क्या हुआ
पीठ ने गवर्नर की ओर से पेश अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणी और मुख्यमंत्री की ओर से पेश वरिष्ठ वकील जयदीप गुप्ता से इस मुद्दे का कोई आपसी सहमति वाला हल निकालने को कहा। वेंकटरमणी ने कहा कि जस्टिस (रिटायर्ड) सुधांशु धूलिया कमेटी ने दो नामों की सिफारिश की थी और राज्यपाल ने दो नाम चुने थे। अटॉर्नी जनरल ने कहा, 'मुख्यमंत्री को कुछ नामों को लेकर थोड़ी दिक्कत है। कुछ नाम कॉमन हैं।' इस पर वकील जयदीप गुप्ता ने कहा कि 'जो नाम मुख्यमंत्री को मंजूर नहीं है, उस पर राज्यपाल सहमत हैं। मुझे लगता है कि इस कोर्ट को कोई हल निकालना होगा।'
सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
जस्टिस पारदीवाला ने कहा कि जस्टिस धूलिया की अगुवाई वाली कमेटी ने दोनों विश्वविद्यालयों के लिए चार-चार नामों की सिफारिश की है और राज्यपाल और मुख्यमंत्री को दोनों बैच से सबसे काबिल उम्मीदवारों को नियुक्त करना चाहिए। पीठ ने इसके बाद कहा कि अगर 9 दिसंबर तक आम सहमति नहीं बनती है तो फिर अदालत दखल देगी और खुद नियुक्ति करेगी। सुप्रीम कोर्ट ने कहा, 'मंगलवार तक आम सहमति बना लें या हम कुलपतियों की नियुक्ति करेंगे और मामला सुलझा लेंगे।'
ये भी पढ़ें- SC: मंदिर में दीया जलाने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंची तमिलनाडु सरकार, उच्च न्यायालय के आदेश को दी चुनौती
इससे पहले 28 नवंबर को, सर्वोच्च अदालत ने केरल के राज्यपाल के दो यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर की नियुक्ति पर धूलिया कमेटी की रिपोर्ट को न देखने पर गंभीर एतराज जताया और कहा कि यह सिर्फ़ एक मामूली कागज नहीं है। सुप्रीम कोर्ट ने केरल के गवर्नर से एक हफ्ते के अंदर रिपोर्ट पर फैसला लेने और 5 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट को फ़ैसले से अवगत कराने को कहा था। सर्वोच्च अदालत ने यह आदेश तब दिया जब गुप्ता ने शिकायत की कि मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने जस्टिस धूलिया पैनल की रिपोर्ट के आधार पर APJ अब्दुल कलाम टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी और यूनिवर्सिटी ऑफ़ डिजिटल साइंसेज़, इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी के वाइस चांसलर के अपॉइंटमेंट के लिए अपनी सिफारिशें गवर्नर-कम-चांसलर को भेजी थीं, लेकिन अब तक कोई फ़ैसला नहीं लिया गया है।
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सुनवाई के दौरान क्या हुआ
पीठ ने गवर्नर की ओर से पेश अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणी और मुख्यमंत्री की ओर से पेश वरिष्ठ वकील जयदीप गुप्ता से इस मुद्दे का कोई आपसी सहमति वाला हल निकालने को कहा। वेंकटरमणी ने कहा कि जस्टिस (रिटायर्ड) सुधांशु धूलिया कमेटी ने दो नामों की सिफारिश की थी और राज्यपाल ने दो नाम चुने थे। अटॉर्नी जनरल ने कहा, 'मुख्यमंत्री को कुछ नामों को लेकर थोड़ी दिक्कत है। कुछ नाम कॉमन हैं।' इस पर वकील जयदीप गुप्ता ने कहा कि 'जो नाम मुख्यमंत्री को मंजूर नहीं है, उस पर राज्यपाल सहमत हैं। मुझे लगता है कि इस कोर्ट को कोई हल निकालना होगा।'
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सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी
जस्टिस पारदीवाला ने कहा कि जस्टिस धूलिया की अगुवाई वाली कमेटी ने दोनों विश्वविद्यालयों के लिए चार-चार नामों की सिफारिश की है और राज्यपाल और मुख्यमंत्री को दोनों बैच से सबसे काबिल उम्मीदवारों को नियुक्त करना चाहिए। पीठ ने इसके बाद कहा कि अगर 9 दिसंबर तक आम सहमति नहीं बनती है तो फिर अदालत दखल देगी और खुद नियुक्ति करेगी। सुप्रीम कोर्ट ने कहा, 'मंगलवार तक आम सहमति बना लें या हम कुलपतियों की नियुक्ति करेंगे और मामला सुलझा लेंगे।'
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इससे पहले 28 नवंबर को, सर्वोच्च अदालत ने केरल के राज्यपाल के दो यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर की नियुक्ति पर धूलिया कमेटी की रिपोर्ट को न देखने पर गंभीर एतराज जताया और कहा कि यह सिर्फ़ एक मामूली कागज नहीं है। सुप्रीम कोर्ट ने केरल के गवर्नर से एक हफ्ते के अंदर रिपोर्ट पर फैसला लेने और 5 दिसंबर को सुप्रीम कोर्ट को फ़ैसले से अवगत कराने को कहा था। सर्वोच्च अदालत ने यह आदेश तब दिया जब गुप्ता ने शिकायत की कि मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने जस्टिस धूलिया पैनल की रिपोर्ट के आधार पर APJ अब्दुल कलाम टेक्नोलॉजिकल यूनिवर्सिटी और यूनिवर्सिटी ऑफ़ डिजिटल साइंसेज़, इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी के वाइस चांसलर के अपॉइंटमेंट के लिए अपनी सिफारिशें गवर्नर-कम-चांसलर को भेजी थीं, लेकिन अब तक कोई फ़ैसला नहीं लिया गया है।
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