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Kathua News: शहीद कैप्टन सुनील कुमार चौधरी की स्मृति में डीजल इंजन समर्पित
संवाद न्यूज एजेंसी, कठुआ
Updated Sun, 21 Dec 2025 02:15 AM IST
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शहीद कैप्टन सुनील चौधरी के नाम पर समर्पित किया गया इंजन सोशल मीडिया
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7/11 गोरखा राइफल्स के जांबाज अधिकारी थे कैप्टन सुनील कुमार चौधरी
26 जनवरी 2008 को उन्हें सेना मेडल से किया गया सम्मानित
कठुआ। कठुआ की धरती के वीर सपूत, कीर्ति चक्र और सेना मेडल से अलंकृत शहीद कैप्टन सुनील कुमार चौधरी की स्मृति में भारतीय रेल ने ट्रेन संख्या 40024 दिल्ली–सिलीगुड़ी एक्सप्रेस के डीजल लोकोमोटिव को समर्पित किया। भारतीय रेल की पहले से आने वाली पीढ़ियों को देशभक्ति और कर्तव्यनिष्ठा का संदेश देने वाला प्रेरणादायी कदम भी बन गया है। जब भी यह ट्रेन अपने गंतव्य की ओर दौड़ेगी, इंजन पर अंकित शहीद कैप्टन सुनील कुमार चौधरी का नाम यात्रियों और नागरिकों को उनके अदम्य साहस की याद दिलाएगा।
कैप्टन सुनील कुमार चौधरी 7/11 गोरखा राइफल्स के जांबाज अधिकारी थे। साल 2008 में असम में उल्फा आतंकियों के खिलाफ अभियान के दौरान उन्होंने अदम्य साहस का परिचय दिया। 26 जनवरी 2008 को उन्हें सेना मेडल से सम्मानित किया गया। इसके अगले ही दिन तिनसुकिया में आतंकियों की मौजूदगी का इनपुट मिलते ही उन्होंने जश्न छोड़ अपनी टीम के साथ अभियान में हिस्सा लिया। इस दौरान उन्होंने दो खूंखार आतंकियों को ढेर किया और तीसरे को घायल कर दिया, लेकिन इसी बीच उन्होंने देश की रक्षा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दे दी। शहीद के पिता कर्नल प्यारा लाल चौधरी ने बताया कि अदम्य साहस और वीरता का परिचय देते हुए राष्ट्र की रक्षा में अपना सर्वोच्च बलिदान देने वाले कैप्टन सुनील कुमार चौधरी को इस सम्मान के माध्यम से सदैव याद किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इंजन यात्रियों को लेकर जहां से भी गुजरेगा वहां लोगों में देशभक्ति की भावना का भी प्रसार करेगा।
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26 जनवरी 2008 को उन्हें सेना मेडल से किया गया सम्मानित
कठुआ। कठुआ की धरती के वीर सपूत, कीर्ति चक्र और सेना मेडल से अलंकृत शहीद कैप्टन सुनील कुमार चौधरी की स्मृति में भारतीय रेल ने ट्रेन संख्या 40024 दिल्ली–सिलीगुड़ी एक्सप्रेस के डीजल लोकोमोटिव को समर्पित किया। भारतीय रेल की पहले से आने वाली पीढ़ियों को देशभक्ति और कर्तव्यनिष्ठा का संदेश देने वाला प्रेरणादायी कदम भी बन गया है। जब भी यह ट्रेन अपने गंतव्य की ओर दौड़ेगी, इंजन पर अंकित शहीद कैप्टन सुनील कुमार चौधरी का नाम यात्रियों और नागरिकों को उनके अदम्य साहस की याद दिलाएगा।
कैप्टन सुनील कुमार चौधरी 7/11 गोरखा राइफल्स के जांबाज अधिकारी थे। साल 2008 में असम में उल्फा आतंकियों के खिलाफ अभियान के दौरान उन्होंने अदम्य साहस का परिचय दिया। 26 जनवरी 2008 को उन्हें सेना मेडल से सम्मानित किया गया। इसके अगले ही दिन तिनसुकिया में आतंकियों की मौजूदगी का इनपुट मिलते ही उन्होंने जश्न छोड़ अपनी टीम के साथ अभियान में हिस्सा लिया। इस दौरान उन्होंने दो खूंखार आतंकियों को ढेर किया और तीसरे को घायल कर दिया, लेकिन इसी बीच उन्होंने देश की रक्षा करते हुए अपने प्राणों की आहुति दे दी। शहीद के पिता कर्नल प्यारा लाल चौधरी ने बताया कि अदम्य साहस और वीरता का परिचय देते हुए राष्ट्र की रक्षा में अपना सर्वोच्च बलिदान देने वाले कैप्टन सुनील कुमार चौधरी को इस सम्मान के माध्यम से सदैव याद किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इंजन यात्रियों को लेकर जहां से भी गुजरेगा वहां लोगों में देशभक्ति की भावना का भी प्रसार करेगा।
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