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आतंक पर प्रहार: टीआरएफ कमांडर आफाक मारा गया, नागरिकों और पुलिस कर्मियों की हत्या में था शामिल
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, जम्मू
Published by: प्रशांत कुमार
Updated Thu, 18 Nov 2021 09:47 PM IST
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सार
हिजबुल कमांडर शाकिर 2018 से घाटी में सक्रिय था। पोम्बई में मारा गया एक अन्य आतंकी सुमैर नजर टीआरएफ का था, जबकि तीसरे आतंकी की अभी पहचान नहीं हुई है।

कुलगाम में मुठभेड़, फाइल फोटो
- फोटो : एएनआई
विस्तार
दक्षिण कश्मीर के कुलगाम जिले में अलग-अलग मुठभेड़ों में मारे गए पांच आतंकियों में द रजिस्टेंस फ्रंट (टीआरएफ) और हिजबुल मुजाहिदीन (एचएम) के जिला कमांडर शामिल थे। टीआरएफ कमांडर आफाक सिकंदर नागरिकों व पुलिस कर्मियों की हत्या में भी शामिल था। वह वर्ष 2018 से इलाके में सक्रिय था। आतंकियों के पास से एक एके-47 राइफल और एक पिस्तौल बरामद हुई है।
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पुलिस ने गुरुवार को बताया कि बुधवार को हुई मुठभेड़ में पोम्बई में तीन और गोपालपोरा में दो दहशतगर्द मारे गए। इनमें हिजबुल का शीर्ष आतंकी पोनीपोरा निवासी कुलगाम का जिला कमांडर शाकिर नजर व दो अन्य आतंकी टीआरएफ का जिला कमांडर शोपियां निवासी आफाक सिकंदर लोन और शोपियां के ही इरफान मुश्ताक लोन को सुरक्षाबलों ने मार गिराया। जबकि एक अन्य आतंकी की शिनाख्त अभी तक नहीं हुई है।
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पुलिस रिकॉर्ड के अनुसार, सिकंदर नागरिकों पर अत्याचार और सुरक्षाबलों पर हमले सहित कई आतंकी अपराध के मामलों में शामिल था। वह 7 अगस्त को पोम्बई क्रासिंग पर पुलिस कर्मी निसार अहमद वागे की हत्या, 9 सितंबर को नेहामा कुलगाम में गैर-स्थानीय मजदूर शंकर कुमार चौधरी की हत्या में शामिल था। इसके अलावा वह नेहामा में वह सीआरपीएफ की 18वीं बटालियन पर हुए ग्रेनेड हमले में भी शामिल था। उसने एसएचओ मंजगाम पर भी हमला किया, जिसमें चार पुलिस कर्मी घायल हो गए थे।
पोम्बई और गोपालपोरा मुठभेड़ों में बुधवार को हमने आतंकवादियों को आत्मसमर्पण करने का मौका दिया, लेकिन उन्होंने गोलीबारी शुरू कर दी और जवाबी कार्रवाई में मारे गए। -विजय कुमार, आईजी कश्मीर।