एनीमिया यानी कि खून की कमी, महिलाओं में होने वाली एक आम समस्या है, विशेषकर भारतीय महिलाओं में इसका जोखिम अधिक पाया जाता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञ मानते हैं कि आहार में आयरन-फोलेट जैसे पोषक तत्वों की कमी या फिर कुछ अंतर्निहित स्वास्थ्य स्थितियां जिसके कारण शरीर में इन पोषक तत्वों का अवशोषण नहीं हो पाता है उसके कारण एनीमिया की समस्या हो सकती है। इसके अलावा जिन लोगों में एनीमिया होती है, अगर इसका समय पर निदान और इलाज न किया जाए तो यह शरीर में कई प्रकार की अन्य बीमारियों को बढ़ाने का कारण भी बन सकती है।
Health Risk: महिलाओं में प्रजनन समस्याओं की बड़ी वजह है ये आम दिक्कत, कहीं आप भी तो नहीं हैं शिकार?
- एनीमिया की स्थिति क्या प्रजनन क्षमता को भी प्रभावित कर सकती है। जिन लोगों में खून की कमी है क्या वह स्वस्थ बच्चे को जन्म दे सकते हैं?
- एनीमिया वाली महिलाओं को ओवुलेशन में परेशानी होती है और ओवुलेशन नहीं होने से गर्भवती होना लगभग असंभव हो जाता है।
शरीर के कार्यों के लिए आयरन महत्वपूर्ण
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, आयरन शरीर में कई महत्वपूर्ण कार्य करता है, कोशिकाओं के विकास और निर्माण में इसकी भूमिका मानी जाती है। शोध इस तरफ इशारा करते हैं कि शरीर में आयरन की कमी प्रजनन विकार, जन्म के समय कम वजन, समय से पहले प्रसव और यहां तक कि गर्भपात तक का कारण बन सकती है।
एनीमिया वाली महिलाओं को ओवुलेशन में परेशानी होती है और ओवुलेशन नहीं होने से गर्भवती होना लगभग असंभव हो जाता है।
एनीमिया का प्रजनन पर असर
स्वास्थ्य विशेषज्ञ कहते हैं, आयरन की कमी होने पर गर्भाशय-अंडाशय जैसे आवश्यक अंगों तक ऑक्सीजन युक्त रक्त की मात्रा कम हो जाती है, यह स्थिति अंडे की गुणवत्ता में खराबी और प्रजनन की अन्य जटिलताओं को बढ़ाने वाली हो सकती है। हालांकि, वर्तमान शोध बताते हैं कि लगभग 50 प्रतिशत गर्भवती महिलाओं को पर्याप्त आयरन नहीं मिल रहा है।
महिलाओं की तरह पुरुषों में भी एनीमिया होने पर प्रजनन और शुक्राणुओं से संबंधित दिक्कत होने का खतरा रहता है।
सही निदान और उपचार जरूरी
यदि आपमें खून की कमी का निदान होता है तो डॉक्टर की सलाह पर इसका सही उपचार और नियमित परीक्षण करना बहुत महत्वपूर्ण है। आयरन की कमी से होने वाला एनीमिया तब होता है जब आपके शरीर में फेरिटिन या हीमोग्लोबिन का स्तर कम होता है, या दोनों कम होते हैं। अध्ययनों में पाया गया है कि जो महिलाएं गर्भावस्था के दौरान आयरन की खुराक लेती हैं, उनमें एनीमिया और इसके कारण होने वाली समस्याओं और बच्चे के जन्म की जटिलताओं को भी कम किया जा सकता है।
आयरन वाली चीजों का करें सेवन
यदि आपको खून की कमी नहीं भी है तो भी आहार की पौष्टिकता का ध्यान रखें, इसमें पर्याप्त मात्रा में आयरन वाली चीजों को जरूर शामिल करें। हरी पत्तेदार सब्जियां, नट्स आदि के माध्यम से आसानी से शरीर के लिए आवश्यक आयरन की पूर्ति की जा सकती है। गर्भावस्था में डॉक्टर की सलाह पर आयरन की गोलियों का सेवन करें, जिससे अगले चरणों में इससे संबंधित समस्याओं को कम किया जा सके।
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नोट: यह लेख मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है।
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