पंजाब को अशांत करने की साजिश: ISI का नया पैंतरा, बेरोजगार व जेलों में बंद युवाओं को बना रहा आतंक का हथियार
बेरोजगार व जेलों में बंद युवाओं को आतंकी गतिविधियों के लिए हथियार बनाया जा रहा है। इसी तरह विदेश में बैठे खालिस्तान समर्थक संगठन भी इस नेटवर्क में शामिल हो गए हैं।
विस्तार
पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई लंबे समय से पंजाब को अशांत करने की साजिश रच रही है। विदेश में बैठे हैंडलरों के जरिये प्रदेश में आतंकी गतिविधियों को बढ़ावा दिया जा रहा है।
सीमा पार से विस्फोटक व हथियारों की सप्लाई बढ़ती जा रही है जिसे रोकना सरकार व सुरक्षा एजेंसियों के लिए चुनौती बनता जा रहा है। साथ ही आतंकी-गैंगस्टर गठजोड़ ने भी इस चुनौती को बढ़ा दिया है।
हाल ही में लुधियाना में पकड़े गए आतंकी मॉड्यूल के खुलासे के बाद यह पूरा गठजोड़ सामने आया है। इसके अनुसार मलयेशिया, फ्रांस, कनाडा, ब्रिटेन, जर्मनी और अमेरिका से पूरा नेटवर्क काम कर रहा है। नेटवर्क को मजबूत करने के लिए प्रदेश में छोटे-मोटे अपराधों में संलिप्त युवाओं को फंसाया जा रहा है।
मलयेशिया में बैठे हैंडलर आईएसआई के इशारे पर पंजाब में घनी आबादी वाले इलाकों में ब्लास्ट करने की साजिश रच रहे थे। इन हमलों की योजना विभिन्न जेलों में बंद कैदी बना रहे थे। आईएसआई की तरफ से इन संगठनों को हर संभव सहायता दी जाती है।
यह पहला मौका नहीं है कि जब आईएसआई इस तरह की नापाक साजिश सामने आई है। इससे पहले भी पाकिस्तान कि खुफिया एजेंसी पंजाब में आतंक फैलाने और माहौल बिगाड़ने के लिए लगातार साजिशें रचती रही है। पिछले महीने ही अमृतसर देहात पुलिस ने केंद्रीय एजेंसियों के साथ मिलकर एक खुफिया जानकारी के आधार पर दो आतंकी ऑपरेटिव को गिरफ्तार किया था। आरोपियों के नाम महकदीप सिंह उर्फ महक और आदित्य उर्फ आदी हैं। दोनों ही अमृतसर के रहने वाले हैं। पुलिस ने आरोपियों के कब्जे से एक रॉकेट प्रोपेल्ड ग्रेनेड (आरपीजी) भी बरामद किया था।
पुलिस जांच में सामने आया कि दोनों आरोपी पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई के एक ऑपरेटिव के संपर्क में थे जिसने यह हथियार भारत भेजा था। इसी तरह अमृतसर में पुलिस ने मई माह में पांच बदमाश गिरफ्तार किए थे। आरोपियों से हैंड ग्रेनेड, पिस्टल, मैगजीन और कारतूस मिले थे जिन्होंने थाने पर हैंड ग्रेनेड अटैक करने की योजना बनाई गई थी। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई, बब्बर खालसा इंटरनेशनल (बीकेआई) और गैंगस्टर जीवन फौजी के टेरर मॉड्यूल ने इसकी पूरी प्लानिंग की थी।
इस तरह काम कर रहा पूरा नेटवर्क
आईएसआई विदेशों में बैठे अपने हैंडलरों के जरिये पूरा नेटवर्क चला रही है। मलयेशिया, ब्रिटेन, अमेरिका, जर्मनी व अमेरिका मैं बैठे हैंडलर पंजाब में आतंकी घटनाओं को अंजाम देने की जिम्मेदारी अपने गुर्गों को सौंप रहे हैं। खुफिया एजेंसियों के अनुसार प्रदेश में जेलों में छोटे-मोटे अपराधों में बंद युवाओं को टारगेट किया जा रहा है। उनको आतंकी गतिविधियों में शामिल किया जा रहा है। उन्हें बाहर भेजने की सपने दिखाकर भी आतंक की दलदल में झोंका जा रहा है। खुफिया एजेंसियों के अनुसार आईएसआई सीमा पार से हथियार, विस्फोटक और धनराशि भेजकर पंजाब में स्लीपर सेल तैयार कर रही है। युवाओं की बड़े स्तर पर भर्ती और लॉजिस्टिक सपोर्ट तैयार करने की साजिश रची जा रही है। एजेंसियों को संदेह है कि मनी लांड्रिंग और हवाला चैनल के माध्यम से फंडिंग का नेटवर्क बनाने का प्रयास किया जा रहा है।
पंजाब पुलिस के खुफिया मुख्यालय को किया था टारगेट
9 मई, 2022 को मोहाली के सेक्टर-77 में स्थित पंजाब पुलिस के खुफिया मुख्यालय को निशाना बनाकर आरपीजी हमला किया गया था। जांच में सामने आया था कि इस हमले की साजिश के तार अंतरराष्ट्रीय स्तर पर जुड़े हुए थे जो पाकिस्तान की ओर इशारा कर रहे थे। पुलिस ने आरोप पत्र में 9 आरोपियों के नाम शामिल किए थे। साथ ही हमले के सिलसिले में वांछित आतंकवादी लखबीर सिंह लंंडा, हरजिंदर सिंह रिंदा और दीपक का भी नाम लिया था। इसी तरह दिसंबर 2022 में तरनतारन के सरहाली थाना पुलिस पर भी आरपीजी अटैक हुआ था जिसकी जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने की थी। एनआईए ने इस मामले में मोहाली की स्पेशल कोर्ट में दाखिल चार्जशीट में बड़ा खुलासा किया था। एनआईए ने कहा था कि हमले से पहले आरोपी गुरप्रीत सिंह उर्फ गोपी पाकिस्तान में बैठे आतंकी हरविंदर सिंह संधू उर्फ रिंदा और लखबीर सिंह उर्फ लंडा के संपर्क में था। उन्हीं के इशारे पर इस हमले को अंजाम दिया गया था। एनआईए के अनुसार जेल में रहकर गोपी ने बीकेआई के लिए के लिए युवाओं को भर्ती किया था। यही नहीं लखबीर के इशारे पर गोपी युवाओं के जरिये टारगेट किलिंग भी करवा रहा था।
विदेश में छिपे हैं पंजाब के मोस्ट वॉन्टेड आतंकी व गैंगस्टर
-पंजाब के मोस्ट वॉन्टेड आतंकी और गैंगस्टर विदेश में बैठे हैं और वहीं से पंजाब में आतंकी गतिविधियों को अंजाम दे रहे हैं। बीकेआई का हैंडलर आतंकी सतनाम सिंह उर्फ सत्ता फ्रांस में जबकि जसविंदर सिंह उर्फ मन्नू ग्रीस में बैठा है।
-इसी तरह सतिंदरजीत सिंह उर्फ गोल्डी बराड़ अमेरिका में है। गोल्डी बराड़ पंजाबी गायक सिद्धू मूसेवाला की हत्या का मास्टरमाइंड है। बिश्नोई गैंग से जुड़े बराड़ के आतंकवादी संगठन बब्बर खालसा से भी रिश्ते हैं।
-आतंकी अर्शदीप सिंह अर्श उर्फ डल्ला भागकर कनाडा पहुंच गया था। अमेरिका में छिपा बैठा अमृत बल भारत में हथियारों की तस्करी शामिल रहा है।-कनाडा में छिपा लंडा बब्बर खालसा इंटरनेशनल नामक आतंकी संगठन चलाता है। मोहाली में इंटेलिजेंस मुख्यालय और तरनतारन जिले के एक पुलिस स्टेशन पर आरपीजी हमले में लंडा का हाथ था।
-हरविंदर सिंह उर्फ रिंदा पंजाब के तरनतारन जिले का रहने वाला है। रिंदा ने छात्र राजनीति के तौर पर कॅरिअर शुरू किया था लेकिन यह आतंक की दुनिया में उतर गया। इस समय यह पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी आईएसआई के संरक्षण में पाकिस्तान में रह रहा है।
-गैंगस्टर रोहित गोदारा यूरोप में कहीं छिपा बैठा है जो मूल रूप से राजस्थान का रहने वाला है।
खालिस्तान समर्थक भी खराब कर रहे सूबे का माहौल
खालिस्तान समर्थक भी सूबे का माहौल खराब करने का प्रयास कर रहे हैं। कनाडा व अमेरिका में पैर जमाने के बाद लगातार साजिशें रच रहे हैं। पिछले लोकसभा चुनाव में खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह के सांसद बनने के बाद से ही खुफिया एजेंसियां बॉर्डर बेल्ट में खास नजर रखे हुए हैं। शिरोमणि अकाली दल वारिस पंजाब दे के गठन के बाद कट्टरपंथियों के हौसले बढ़ गए हैं। 23 फरवरी 2023 को अमृतपाल श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी के पावन स्वरूप के साथ समर्थक की रिहाई के लिए अपने समर्थकों सहित अजनाला थाने का घेराव किया था। पुलिस ने उसे रोकने की कोशिश की तो उग्र भीड़ ने बैरिकेड तोड़ डाले और तलवारों व बंदूकों के साथ थाने पर हमला कर दिया जिसमें एसपी समेत छह पुलिसकर्मी जख्मी हो गए। इसके बाद ही अमृतपाल चर्चा में आया था और अप्रैल 2023 में पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया था जिसके बाद से ही वह नेशनल सिक्योरिटी एक्ट के तहत असम की डिब्रूगढ़ जेल में बंद हैं।
बढ़ती जा रहीं चुनाैतियां : चट्टोपाध्याय
पहले प्रदेश में सीमा पार से नशीले पदार्थों की सप्लाई अधिक होती थी और हथियारों की कम। अब कुछ समय से देखा जा रहा है कि नशीले पदार्थों के साथ-साथ हथियारों और विस्फोटकों की सप्लाई भी बढ़ी है। यह पंजाब के लिए चिंता का विषय है। निश्चित ताैर पर यह मंसूबा पंजाब की शांति को भंग करने का ही है। इसमें कोई दोराय नहीं है कि इस सिंडिकेट को बढ़ावा देने में बाहरी नेटवर्क के साथ-साथ स्थानीय नेटवर्क भी मजबूती से काम कर रहा है। कई नामी लोग भी इसमें शामिल हो सकते हैं। पंजाब के बेरोजगार, नशे की गिरफ्त में फंसे लोग, गैंगस्टर, रुपयों के लिए कुछ भी करने को तैयार बदमाश, गरीब व लालची प्रवृत्ति के लोग, इन सभी सिंडिकेट इसलिए फंसाता है ताकि इनके जरिये पंजाब में दहशत फैलाने की घटनाओं को अंजाम दिया जा सके। पुलिस व अन्य सुरक्षा एजेंसियां इन लोगों के नेटवर्क को तोड़ने में जुटी हुई हैं मगर माैजूदा परिस्थितियां देखें तो यह बड़ी चुनाैती बनता जा रहा है। -सिद्धार्थ चट्टोपाध्याय, डीजीपी (सेवानिवृत्त), पंजाब
पंजाब के लिए अलग नजरिये से सोचना होगा : गर्ग
क्राॅस बाॅर्डर टेररिज्म पंजाब समेत पूरे देश के लिए बड़ा खतरा बनता जा रहा है। दिल्ली में आतंकी वारदात के बाद तो चिंता और बढ़नी लाजिमी है। पंजाब एक बड़ा बाॅर्डर स्टेट है, लिहाजा इसकी सुरक्षा के लिए प्रदेश समेत केंद्र सरकार को भी और गंभीरता बढ़ानी होगी। देश विरोधी बाहरी ताकतें प्रदेश के लोगों को अपना सॉफ्ट टारगेट बनाकर उनका इस्तेमाल आतंक फैलाने में करते हैं। ऐसा क्यों हो रहा है, यह सोचना पड़ेगा। क्यों पंजाब के लोग उनके झांसे में आ रहे हैं। इस पर सरकार को एक अलग नजरिये से मंथन करने की जरूरत है। बाॅर्डर स्टेट होने के नाते पंजाब की मूल समस्या को समझना बहुत जरूरी है। युवाओं को बरगलाने और देश विरोधी ताकतों का मोहरा बनने से रोकने के लिए क्या प्रयास किए जा सकते हैं, उस दिशा में सरकारों को बढ़ना होगा। बाहरी लोगों की ताकत उनका यहां फैला स्थानीय नेटवर्क है, इसी नेटवर्क को तोड़ना होगा। -डॉ. प्यारा लाल गर्ग, पूर्व डीन, पीयू
आईएसआई पंजाब का माहौल खराब करने का प्रयास कर रही है लेकिन पंजाब पुलिस सीमा पार आतंकवाद को खत्म करने में जुटी हुई है। लुधियाना पुलिस ने आईएसआई की साजिश को नाकाम किया है जिसमें घनी आबादी वाले एरिया में ग्रेनेड अटैक करने की तैयारी की जा रही थी। -गौरव यादव, डीजीपी, पंजाब।