Himachal Cloudburst: बादल फटने के तीन दिन बाद रामपुर-तकलेच सड़क बहाल, सेब से लदे वाहन दौड़े
रामपुर-तकलेच सड़क को यातायात के लिए बहाल कर दिया गया है। यहां पर बागवानों के सेब से लदे ट्रक और पिकअप आदि वाहन फंसे हुए थे। सड़क बहाल होते ही आवाजाही शुरू हो पाई।
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उपतहसील तकलेच के डमराली में 16 अगस्त की रात को बादल फटने से बाधित रामपुर-तकलेच सड़क को यातायात के लिए बहाल कर दिया गया है। सड़क बहाल होते ही सेब से लदे वाहनों और पथ परिवहन निगम की बस सेवा शुरू होने से हजारों लोगों सहित बागवानों ने राहत की सांस ली है।
रविवार को उपायुक्त शिमला अनुपम कश्यप और एसपी संजीव गांधी सड़क बहाल होने के बाद तकलेच में निरीक्षण करने पहुंचे। यहां पर बागवानों के सेब से लदे ट्रक और पिकअप आदि वाहन फंसे हुए थे। सड़क बहाल होते ही आवाजाही शुरू हो पाई। उपायुक्त ने लोक निर्माण विभाग को निर्देश दिए हैं कि डमराली तक पहुंचने वाले मार्ग की बहाली के कार्य में तीव्रता लाई जाए। इसके अलावा स्थानीय पंचायत को भी प्रभावित हुए रास्तों का एस्टिमेट बनाने के निर्देश दिए हैं।
बादल फटने की घटना के कारण क्षेत्र में सड़क ध्वस्त होने के अलावा कई जगह कल्वर्ट टूट गए हैं। उन्होंने कहा कि तकलेच तक मार्ग बहाल हो चुका है। यहां पर फंसे ट्रकों को रवान कर दिया गया है। डमराली तक सड़क खोलने का कार्य चल रहा है। मशीन की मदद से कटिंग करके मार्ग तैयार किया जा रहा है। इस दौरान एसडीएम रामपुर निशांत तोमर, डीएसपी नरेश शर्मा, लोक निर्माण विभाग, जल शक्ति विभाग, विद्युत बोर्ड सहित स्थानीय पंचायत के प्रतिनिधि मौजूद रहे।
सर्च ऑपरेशन में शामिल टीमों का जताया आभार
उपायुक्त और पुलिस अधीक्षक ने समेज त्रासदी में लापता लोगों की तलाश में चलाए गए सर्च ऑपरेशन के लिए एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, आर्मी और सीआईएसएफ की टीमों का विशेष आभार जताया। उपायुक्त ने बताया कि इस बड़े सर्च ऑपरेशन में सभी टीमों का काम काबिलेतारीफ रहा है। 85 किलोमीटर के क्षेत्र में सर्च ऑपरेशन चलाया गया। टीम के हर सदस्य ने सर्च ऑपरेशन में अहम भूमिका निभाई है। अभी तक कई शवों को बरामद किया जा चुका है। कई शव परिजनों को सौंप दिए है। कुछ शवों का डीएनए मिलान जारी है। एनडीआरएफ यूनिट के कोटला कैंप, सीआईएसएफ के झाकड़ी और आर्मी के अवेरीपट्टी कैंप के जवानों के साथ उपायुक्त और एसपी ने बैठक कर आभार जताया है।