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दिवाली पर घर की सजावट से लेकर तिजोरी में धन रखने तक के 10 उपाय, मां लक्ष्मी जरूर करेंगी आपके घर वास
धर्म डेस्क, अमर उजाला
Published by: विनोद शुक्ला
Updated Thu, 16 Oct 2025 01:03 PM IST
सार
Diwali 2025: वास्तु के अनुसार लक्ष्मी आगमन के कुछ ऐसे उपाय हैं, जिन्हें अपनाने से धन, सुख और सौभाग्य स्थायी रूप से घर में बस जाते हैं। आइए जानते हैं दिवाली पर कौन-कौन से वास्तु उपाय करके माता लक्ष्मी को कर सकते हैं प्रसन्न।
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दिवाली पर कैसे करें मां लक्ष्मी को प्रसन्न
- फोटो : अमर उजाला
Diwali 2025: दीपावली केवल दीप सजाने या मिठाइयों का पर्व नहीं, बल्कि यह घर की ऊर्जा को शुद्ध और संतुलित करने का दिव्य अवसर है। वास्तुशास्त्र में दीपावली को ऐसा समय बताया गया है जब हम अपने घर के हर कोने से नकारात्मकता को दूर कर सकारात्मकता, सौभाग्य और समृद्धि को आमंत्रित कर सकते हैं। मां लक्ष्मी का आगमन तभी होता है जब घर स्वच्छ, सुव्यवस्थित और ऊर्जा से परिपूर्ण हो। वास्तु के अनुसार लक्ष्मी आगमन के कुछ ऐसे उपाय हैं, जिन्हें अपनाने से धन, सुख और सौभाग्य स्थायी रूप से घर में बस जाते हैं। आइए जानते हैं दिवाली पर कौन-कौन से वास्तु उपाय करके माता लक्ष्मी को कर सकते हैं प्रसन्न।
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दिवाली 2025 पवित्र तस्वीर
- फोटो : Adobe
1. घर की संपूर्ण सफाई से बनता शुभ वातावरण
वास्तु के अनुसार गंदगी, टूटी या बेकार वस्तुएं नकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती हैं। दीपावली से पहले घर के हर कोने की पूरी सफाई करें। जहां स्वच्छता होती है, वहीं लक्ष्मी का वास होता है।
2. झाड़ू का प्रतीक और उसका स्थान
नई झाड़ू खरीदकर उसे दक्षिण-पूर्व दिशा में रखें और इस पर पैर न लगाएं। झाड़ू को धन और सौभाग्य का प्रतीक माना गया है। यह घर से दुर्भाग्य और नकारात्मकता को दूर करती है।
वास्तु के अनुसार गंदगी, टूटी या बेकार वस्तुएं नकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती हैं। दीपावली से पहले घर के हर कोने की पूरी सफाई करें। जहां स्वच्छता होती है, वहीं लक्ष्मी का वास होता है।
2. झाड़ू का प्रतीक और उसका स्थान
नई झाड़ू खरीदकर उसे दक्षिण-पूर्व दिशा में रखें और इस पर पैर न लगाएं। झाड़ू को धन और सौभाग्य का प्रतीक माना गया है। यह घर से दुर्भाग्य और नकारात्मकता को दूर करती है।
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दिवाली के लिए खूबसूरत लक्ष्मी गणेश वाली रंगोली
- फोटो : Instagram
3. मुख्य द्वार की सजावट का महत्व
मुख्य द्वार को आम या अशोक के पत्तों के तोरण से सजाना शुभ होता है। इसके साथ लाल और पीले फूलों की जोड़ी अवश्य लगाएं, जो मंगल और सौभाग्य के प्रतीक हैं। स्वच्छ और सजे हुए द्वार से ही लक्ष्मी का आगमन होता है।
4. रंगोली का स्थान और आकृति
मुख्य द्वार पर गोलाकार, पुष्प, शंख या स्वास्तिक आकार की रंगोली बनाएं। अधूरी रंगोली अशुभ मानी जाती है क्योंकि यह पंचतत्वों का प्रतीक होती है। रंगोली घर की सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती है।
मुख्य द्वार को आम या अशोक के पत्तों के तोरण से सजाना शुभ होता है। इसके साथ लाल और पीले फूलों की जोड़ी अवश्य लगाएं, जो मंगल और सौभाग्य के प्रतीक हैं। स्वच्छ और सजे हुए द्वार से ही लक्ष्मी का आगमन होता है।
4. रंगोली का स्थान और आकृति
मुख्य द्वार पर गोलाकार, पुष्प, शंख या स्वास्तिक आकार की रंगोली बनाएं। अधूरी रंगोली अशुभ मानी जाती है क्योंकि यह पंचतत्वों का प्रतीक होती है। रंगोली घर की सकारात्मक ऊर्जा को बढ़ाती है।

दिवाली 2025 पवित्र तस्वीर
- फोटो : Adobe
5. मुख्य द्वार पर दीपक की ज्योति
लक्ष्मी का प्रवेश द्वार से होता है, इसलिए दाहिनी ओर घी का और बाईं ओर तेल का दीपक जलाएं। चौखट की रोशनी को कभी बुझने न दें । यह मां लक्ष्मी की स्थिरता का प्रतीक मानी जाती है।
6. पूजन की दिशा और व्यवस्था
लक्ष्मी-गणेश की स्थापना उत्तर-पूर्व या पूर्व दिशा में करें। पूजन के समय पूर्व दिशा की ओर मुख करके बैठें, क्योंकि यह दिशा शुभ ऊर्जा और सूर्य की पहली किरण का प्रतीक है।
लक्ष्मी का प्रवेश द्वार से होता है, इसलिए दाहिनी ओर घी का और बाईं ओर तेल का दीपक जलाएं। चौखट की रोशनी को कभी बुझने न दें । यह मां लक्ष्मी की स्थिरता का प्रतीक मानी जाती है।
6. पूजन की दिशा और व्यवस्था
लक्ष्मी-गणेश की स्थापना उत्तर-पूर्व या पूर्व दिशा में करें। पूजन के समय पूर्व दिशा की ओर मुख करके बैठें, क्योंकि यह दिशा शुभ ऊर्जा और सूर्य की पहली किरण का प्रतीक है।
Diwali 2025: दिवाली पर घी या तेल किसका दीपक जलाना है शुभ ?
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Diwali 2025
- फोटो : AdobeStock
7. दीपदान की परंपरा
दीपावली की रात विशेष रूप से इन स्थानों पर दीपक जलाना विशेष शुभ होता है — पहला तुलसी के पास, दूसरा जल स्रोत के पास और तीसरा मुख्य द्वार पर। पूजा घर में दीपक पूर्व या उत्तर दिशा में रखें।
8. तिजोरी की दिशा और दीप व्यवस्था
तिजोरी को दक्षिण-पश्चिम कोने में रखें और इसका मुख उत्तर दिशा की ओर हो। तिजोरी के पास दीपक जलाने से धन वृद्धि होती है, क्योंकि उत्तर दिशा कुबेर की दिशा मानी गई है।
दीपावली की रात विशेष रूप से इन स्थानों पर दीपक जलाना विशेष शुभ होता है — पहला तुलसी के पास, दूसरा जल स्रोत के पास और तीसरा मुख्य द्वार पर। पूजा घर में दीपक पूर्व या उत्तर दिशा में रखें।
8. तिजोरी की दिशा और दीप व्यवस्था
तिजोरी को दक्षिण-पश्चिम कोने में रखें और इसका मुख उत्तर दिशा की ओर हो। तिजोरी के पास दीपक जलाने से धन वृद्धि होती है, क्योंकि उत्तर दिशा कुबेर की दिशा मानी गई है।
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