Surrey Firing: 'कनाडा के पीएम कार्नी को देना होगा जवाब, कपिल के कैफे पर हमला हालात बिगड़ने के बहुत बुरे संकेत'
कनाडा के सरे शहर में कॉमेडियन कपिल शर्मा के कैप्स कैफे पर फायरिंग की घटना ने हलचल मचा दी है। इस हमले की जिम्मेदारी बब्बर खालसा इंटरनेशनल से जुड़े आतंकी हरजीत सिंह लाडी ने ली है। अब ऐसे में कनाडाई पत्रकार डैनियल बोर्डमैन ने इसे हिंसा के नए चरण की शुरुआत बताया। उन्होंने कहा कि यह प्रधानमंत्री मार्क कार्नी के लिए पहली बड़ी सुरक्षा चुनौती है। उन्होंने चेताया कि यदि तुरंत सख्त कार्रवाई नहीं हुई, तो चरमपंथ और भी बढ़ेगा।

विस्तार
कनाडा के सरे शहर में कॉमेडियन कपिल शर्मा के नए खुले कैफे 'कैप्स कैफे' पर गोलियां चलीं। इस गोलीकांड को लेकर कनाडा के साथ-साथ भारत में भी चर्चा तेज है। इस हमले की जिम्मेदारी भारत के सबसे वांछित आतंकवादियों में से एक हरजीत सिंह लाडी ने ली है। हरजीत, बब्बर खालसा इंटरनेशनल से भी जुड़ा हुआ है। जो कनाडा और भारत दोनों में आतंकवादी संगठन की सूची में शामिल है। कैफे पर कई राउंड गोलियां चली गनीमत रही कि इस हमले में कोई भी घायल नहीं हुआ।

कनाडाई पत्रकार डैनियल बोर्डमैन की प्रतिक्रिया
इस हमले के बाद कनाडाई पत्रकार डैनियल बोर्डमैन ने इसे कनाडा में हिंसा बढ़ने का बुरा संकेत कहा। उन्होंने बताया कि यह सिर्फ एक एकल घटना नहीं बल्कि पिछले वक्त में चरमपंथी हिंसा का अगला चरण है। उन्होंने कैनाडा के नए प्रधानमंत्री मार्क कार्नी के सामने यह पहला बड़ा सुरक्षा परीक्षण बताया, क्योंकि अब तक सरकार ने ऐसे हमलों को नियंत्रित नहीं किया।
बोर्डमैन ने कहा कि पिछले कुछ समय में कनाडा में गिरजाघरों, यहूदी स्कूलों और मंदिरों पर हमला हुआ है, साथ ही खालिस्तानी चरमपंथियों द्वारा कई हिंसात्मक घटनाएं भी हुईं। उन्होंने बताया कि जब चरमपंथी इस तरह खुलेआम सोशल मीडिया पर अपनी जिम्मेदारी लेते हैं, तो यह आतंकवाद की एक नई लहर दिखाता है।
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सरकार को करनी होगी तेजी से कार्रवाई
बोर्डमैन ने चेतावनी दी कि अगर पुलिस और सरकार तेजी से कार्रवाई नहीं करेंगे, तो यह हिंसा बढ़ती जाएगी। उन्होंने कहा कि सिर्फ देरी या जिम्मेदारी टालने की स्थिति में हिंसा और बढ़ेगी। उन्होंने आगे बताया कि कनाडा में क्राइम रिपोर्टिंग अमेरिकी तरीके से खुलकर नहीं होती, बल्कि मामला डिटेंट के बाद ही सार्वजनिक किया जाता है। लेकिन अब मार्क कार्नी की भूमिका अहम होगी कि क्या वे जल्दी गिरफ्तारी और कड़ी सजा की कार्रवाई करेंगे?
शांति बनाम उग्रवाद, क्या कहा बोर्डमैन ने?
इसके साथ ही बोर्डमैन ने यह भी कहा है कि अगर जस्टिन ट्रूडो अभी प्रधानमंत्री होते, तो शायद कुछ भी न होता, लेकिन कार्नी के सरकार में बेहतर कार्रवाई की उम्मीद है। इस हमले के पीछे चूंकि बाबर खालसा नामक आतंकी समूह की भूमिका सामने आई है, इसलिए इसे एक राजनीतिक और क्रूर घटना माना जा रहा है।
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अब सबकी नजर कनडाई सरकार पर
ऐसे में अब सबकी नजरें कनाडाई सरकार, पुलिस और अदालतों पर टिकी हैं कि कैरेनी की सरकार क्या कर सकती है। क्या वे इस हमले को तेज कार्रवाई और जवाबी कदम से निपटेंगी, या यह मामला धूल धूसरित हो जाएगा? यह हमला कनाडा के लिए एक स्पष्ट सुरक्षा और चरमपंथ विरोधी नीतियों का परीक्षण साबित होगी।
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