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पाकिस्तान: 'कुलभूषण जाधव को नहीं मिल रही कोई राहत' इमरान सरकार ने विपक्ष के आरोपों का दिया जवाब

वर्ल्ड डेस्क, अमर उजाला, इस्लामाबाद Published by: संजीव कुमार झा Updated Sat, 20 Nov 2021 10:45 AM IST
सार

पाकिस्तान की संसद ने 'अंतरराष्ट्रीय न्याय अदालत (समीक्षा और पुनर्विचार) विधेयक, 2020' को मंजूरी दे दी है। यह कुलभूषण जाधव को देश के उच्च न्यायालयों में अपनी सजा की अपील करने की अनुमति देगा।

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Pakistan Law Minister Farogh Nasim to Opposition on Kulbhushan Jadhav issue, says, its matter of national security and red line
कुलभूषण जाधव (फाइल फोटो) - फोटो : social media
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विस्तार
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पाकिस्तान के कानून मंत्री फरोग नसीम ने शुक्रवार को विपक्ष के उस आरोप को खारिज कर दिया जिसमें कहा जा रहा था कि मौत की सजा पाए भारतीय कुलभूषण जाधव को समीक्षा का अधिकार देने वाला नया कानून किसी व्यक्ति विशेष के लिए लाया गया है। फरोग नसीम ने कहा कि  यह मामला राष्ट्रीय सुरक्षा और देश की लाल-रेखा से जुड़ा है।  नसीम ने इस्लामाबाद में संवाददाताओं से कहा कि विपक्ष द्वारा लगाए गए आरोप बिल्कुल गलत हैं। उन्होंने कहा कि इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस (समीक्षा एवं पुनर्विचार) विधेयक किसी व्यक्ति विशेष के लिए नहीं है और कानून के दायरे में आने वाले किसी भी व्यक्ति पर लागू होगा। पाकिस्तान सरकार द्वारा लाए गए कानून से जाधव को अपनी सजा के विरुद्ध अपील करने की अनुमति मिल सकती है। 

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जानें क्या है मामला
बता दें कि पाकिस्तान की संसद ने 'अंतरराष्ट्रीय न्याय अदालत (समीक्षा और पुनर्विचार) विधेयक, 2020' को मंजूरी दे दी है। यह कुलभूषण जाधव को देश के उच्च न्यायालयों में अपनी सजा की अपील करने की अनुमति देगा।  कानून बनने के बाद अब कुलभूषण जाधव को आईसीजे जैसी उच्च अदालतों में मौत की सजा के खिलाफ अपील करन की आजादी मिल जाएगी। जाधव को पाकिस्तान की मिलिट्री कोर्ट की तरफ से मौत की सजा मिली थी। इस विधेयक को पाकिस्तान के कानून और न्याय मंत्री फरोघ नसीम की तरफ से पेश किया गया था। 
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भारतीय नौसेना के रिटायर्ड अधिकारी कुलभूषण जाधव की मौत की सजा मामले की सुनवाई कर रहे इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने भारत से कानूनी कार्यवाही में सहयोग करने के लिए कहा है। कोर्ट ने इसी साल पांच मई को पाकिस्तान के कानून एवं न्याय मंत्रालय की याचिका पर सुनवाई शुरू की थी, जिसमें जाधव के लिए वकील नियुक्त करने की मांग की थी।

कुलभूषण जाधव को साल 2017 में मिली थी सजा
सेवानिवृत्त भारतीय नौसेना अधिकारी कुलभूषण जाधव (50) को पाकिस्तानी सैन्य अदालत ने अप्रैल, 2017 में जासूसी करने और आतंकवाद फैलाने के आरोप में फांसी की सजा सुनाई थी। भारत ने इसके खिलाफ इंटरनेशनल कोर्ट ऑफ जस्टिस (आईसीजे) में अपील की थी।

भारत का कहना है कि जाधव नौसेना से सेवानिवृत्ति के बाद व्यापार कर रहे हैं और उनके इसी सिलसिले में ईरान जाने पर पाकिस्तानी खुफिया एजेंसी ने उन्हें झूठे इल्जाम में फंसाने के लिए वहां से अगवा किया था। भारत ने पाकिस्तान पर जाधव तक राजनयिक पहुंच उपलब्ध नहीं कराने का भी आरोप लगाया था। आईसीजे ने जुलाई, 2019 में पाकिस्तान को जाधव मामले की दोबारा समीक्षा करने, उसे सैन्य अदालत के खिलाफ अपील का मौका देने और भारत को उस तक राजनयिक पहुंच उपलब्ध कराने का आदेश दिया था।

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