बाइडन ने बेसेरा को स्वास्थ्य मंत्री और भारतीय मूल के विवेक मूर्ति को चुना सर्जन जनरल

अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन ने सोमवार को कैलिफोर्निया के अटॉर्नी जनरल जेवियर बेसेरा को स्वास्थ्य मंत्री और भारतीय-अमेरिकी डॉ. विवेक मूर्ति को अपने सर्जन जनरल के तौर पर चुना है। डॉ एंथनी फाउची को कोविड-19 पर राष्ट्रपति के मुख्य चिकित्सा सलाहकार के रूप में नामित किया गया है, जबकि डॉ. रोशेल वालेंस्की को रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र के निदेशक और डॉ मार्सेला नुंज-स्मिथ को ‘कोविड-19 इक्विटी टास्क फोर्स’ का अध्यक्ष नामित किया गया है।

बाइडन ने कहा कि नेताओं की यह भरोसेमंद और निपुण टीम उच्चतम स्तर की अखंडता और प्रतिबद्धता के साथ अमेरिका की सबसे मुश्किल चुनौतियों में से एक कोविड को काबू में करने में सहायक सिद्ध होगी ताकि अमेरिकी काम पर लौट सकें और सामान्य ढंग से जीवन व्यतीत कर सकें। उन्होंने कहा कि विश्व स्तरीय चिकित्सा विशेषज्ञों और लोक सेवकों की यह टीम परीक्षण का विस्तार करने के लिए संघीय सरकार के हर संसाधन को जुटाने के लिए पहले दिन से तैयार हो जाएगी।
वहीं, नवनिर्वाचित उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने कहा, 'कोरोना वायरस महामारी को काबू में करने और हमारी अर्थव्यवस्था को खोलने के लिए हमें जिम्मेदारी के साथ इन विशेषज्ञों और नेताओं को सुनने की जरूरत है।'
बता दें कि बेसेरा किफायती स्वास्थ्य देखभाल संबंधी कानून के समर्थक रहे हैं और अब वह बाइडन प्रशासन में कोरोना वायरस के खिलाफ देश की मुहिम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे। सीनेट से मंजूरी मिलने के बाद बेसेरा (62) ऐसे पहले लैटिन अमेरिकी होंगे जो स्वास्थ्य और मानवीय सेवा विभाग का नेतृत्व करेंगे। उल्लेखनीय है कि पूर्व डेमोक्रेट सांसद बेसेरा ने वर्ष 2009-2010 के दौरान तत्कालीन राष्ट्रपति बराक ओबामा के स्वास्थ्य कानून को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
चीन ने अमेरिका के साथ संबंधों को दुरुस्त करने का आह्वान किया
चीन ने अमेरिका के निर्वाचित राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन में अमेरिका के साथ उसके तनावपूर्ण रिश्तों को सुधारने का सोमवार को आह्वान किया ताकि दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के बीच पारस्परिक विश्वास को फिर से बहाल किया जा सके और महीनों से चली आ रही दुश्मनी को खत्म किया जा सके। अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के चार साल का कार्यकाल अमेरिकी-चीन के संबंधों का सबसे बुरा दौर बताया जाता है। राष्ट्रपति शी चिनफिंग की अगुवाई वाली सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना (सीपीसी) को ट्रंप के नेतृत्व वाले प्रशासन से संबंध रखने के लिए जूझना पड़ा।
अमेरिका-चीन व्यापार परिषद के कारोबारी नेताओं की वीडियो बैठक को संबोधित करते हुए चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने कहा, 'शीर्ष प्राथमिकता यह है कि दोनों पक्षों को सभी तरह की रूकावटों और बाधाओं को दूर करने के लिए मिलकर काम करना चाहिए और चीन-अमेरिका के रिश्तों में सुचारु बदलाव करने चाहिए।' साउथ चाइना मॉर्निंग पोस्ट की खबर के मुताबिक, यी ने कहा, 'हमारे लोगों और दोनों देशों के लिए पारस्परिक लाभ की दिशा के आधार पर, हमें बातचीत को फिर से शुरू करने का प्रयास करना होगा और रिश्तों के इस अगले चरण में विश्वास को दोबारा स्थापित करना होगा।'
सभी स्तरों पर वार्ता फिर से शुरू करने की पैरवी करते हुए चीन के विदेश मंत्री ने कहा कि चीन और अमेरिका को उस दिशा में काम करना चाहिए जो दोनों देशों और उनके नागरिकों के हितों को पूरा करते हों। उन्होंने कहा, 'चीन-अमेरिका के रिश्तों में हाल के वर्षों में गंभीर दिक्कतें आई हैं। ये ऐसी थी जिन्हें हम देखना नहीं चाहते हैं और मेरा मानना है कि कारोबारी समुदाय समेत अमेरिकी समुदाय के कोई भी क्षेत्र इन्हें देखना नहीं चाहते हैं।' यी ने अनुरोध किया कि अमेरिका अपनी रणनीतिक धारणा को ठीक करे। उन्होंने उम्मीद जताई कि चीन को लेकर अमेरिका की नीति जल्द तर्कसंगत हो सकती है।
गौरतलब है कि इस महीने के शुरू में बाइडन ने कहा था कि ट्रंप प्रशासन द्वारा चीनी सामान पर लगाए गए दंडात्मक आयात शुल्क को हटाने के लिए तत्काल कदम नहीं उठाएंगे, बल्कि एक व्यापार समझौते पर मौजूदा चरण की समीक्षा करेंगे और अमेरिकी सहयोगियों से सलाह लेंगे। इससे चीन की उम्मीदें धुंधला गई थीं।
ट्वीट के कारण विरोध का सामना कर रहीं ओएमबी के लिए नामित नीरा टंडन
अमेरिका के अगले राष्ट्रपति के तौर पर निर्वाचित जो बाइडन द्वारा प्रबंधन एवं बजट कार्यालय (ओएमबी) के निदेशक पद पर नामित भारतीय मूल की नीरा टंडन को रिपब्लिकन पार्टी और वामपंथ की ओर झुकाव रखने वाले कुछ डेमोक्रेटिक नेताओं के खिलाफ 'आक्रामक और विवादित' ट्वीट के कारण विरोध का सामना करना पड़ रहा है। रिपब्लिकन पार्टी के कुछ वरिष्ठ नेताओं ने टंडन को नामित किए जाने का सार्वजनिक रूप से विरोध किया है। इस बीच, कुछ सुधारवादी डेमोक्रेट का मानना है कि टंडन का नामांकन इस बात की परीक्षा होगा कि वामपंथी बाइडन के इस चयन को चुनौती देंगे या नहीं।
राष्ट्रपति चुनाव में डेमोक्रेटिक उम्मीदवार रह चुकीं हिलेरी क्लिंटन की करीबी सहयोगी रहीं टंडन ने अमेरिका की पूर्व विदेश मंत्री के डेमोक्रेटिक आलोचकों के खिलाफ आक्रामक टिप्पणियां की थीं। वामपंथी सीनेटर बर्नी सैंडर्स के लिए भाषण लिखने का काम कर चुके डेविड सिरोटा ने कहा कि यदि टंडन (वामपंथियों की) चुनौती के बिना ओएमबी के लिए चुन ली जाती हैं, तो इसका अर्थ यह होगा, कि सुधारवादी बाइडन को चुनौती ही नहीं देना चाहते। सैंडर्स ने टंडन को नामित किए जाने के खिलाफ सार्वजनिक तौर पर कुछ नहीं कहा है, लेकिन एलिजाबेथ वारेन और शेरोड ब्राउन जैसे उदारवादी सीनेटरों ने अपना समर्थन जताया है।
दूसरी ओर, रिपब्लिकन सीनेटर, सीनेट के कई सदस्यों के खिलाफ नीरा की पुरानी ‘‘आक्रामक एवं अपमानजनक’’ टिप्पणियों से नाराज हैं। उल्लेखनीय है कि 50 वर्षीय टंडन की नियुक्ति को अगर सीनेट की मंजूरी मिल जाती है तो अमेरिका के प्रबंधन एवं बजट कार्यालय का नेतृत्व करने वाली पहली अश्वेत एवं भारतीय मूल की महिला होंगी। ओएमबी की जिम्मेदारी अमेरिकी राष्ट्रपति के विचारों को कार्यपालिका की सभी शाखाओं में लागू कराने एवं देखरेख की होती है। यह खासतौर पर राष्ट्रपति की नीतिगत बैठकों, बजट, प्रबंधन, नियामक उद्देश्य और एजेंसियों की स्थायी जिम्मेदारी को पूरा करने में मदद करता है।
टंडन का करियर पेशेवर परिवारों को आर्थिक विकास के आधार पर मदद करने और असमानता को दूर करने की नीतियों को बनाने पर केंद्रित रहा है। प्रभावशाली सीनेटर और सीनेट इंडिया कॉकस के सह अध्यक्ष जॉन कार्निन ने टंडन के नामांकन को बाइडन का अब तक का सबसे खराब नामांकन करार दिया है। उन्होंने कहा, 'मेरा मानना है कि सीनेट के सदस्यों खासतौर पर हमारे पक्ष के सदस्यों के खिलाफ उनकी 'आक्रामक और अपमानजनक' टिप्पणियां उनके नाम की पुष्टि करने की राह में मुश्किल खड़ी करेंगी।' उन्होंने आरोप लगाया कि नीरा ने रिपब्लिकन सदस्यों की आलोचना करने वाले ट्वीट सहित एक हजार से अधिक ट्वीट हटाए हैं।
टंडन के ट्विटर पर 3,13,400 फॉलोअर हैं और वह इस मंच पर काफी सक्रिय है। उल्लेखनीय है कि पूर्व में नीरा टंडन रिपब्लिकन सीनेटरों और राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की कड़ी आलोचक रही हैं। अमेरिका में रिपब्लिकन पार्टी की नेता निक्की हेली ने कहा कि बाइडन द्वारा प्रबंधन और बजट कार्यालय की निदेशक के तौर पर नीरा टंडन को नामित करने का फैसला काफी चिंतित करने वाला है क्योंकि उन्होंने अतीत में कई गलत निर्णय लिए थे। रिपब्लिकन व्हिप सीनेटर जॉन थुने ने आरोप लगाया कि टंडन ने पूर्व में कुछ मामलों पर पक्षपाती रवैया अपनाया था। उधर, बाइडन ने टंडन को नामित करने के अपने फैसले का बचाव किया है।