पंजाब में 235 प्रत्याशियों की जमानत जब्त, 226 को 1% से भी कम मिले वोट, आंकड़े हैरान करने वाले
पंजाब के 13 लोकसभा सीटों पर चुनावी मैदान में खड़े 226 प्रत्याशियों को एक फीसदी से भी कम वोट मिले। इसमें 90 फीसदी प्रत्याशी बतौर आजाद उम्मीदवार थे, जबकि 10 फीसदी में बसपा, कम्युनिस्ट पार्टी, आम आदमी पार्टी जैसे राजनीतिक दलों के उम्मीदवार थे।
आजाद उम्मीदवारों को भी तमाम प्रयासों व खर्च के बावजूद नोटा से भी कम वोट मिले। जबकि पंजाब के 10 लोकसभा क्षेत्रों में एक फीसदी से अधिक लोगों ने प्रत्याशियों को नकारते हुए नोटा का इस्तेमाल किया।
चुनाव आयोग द्वारा जारी आंकड़ों के मुताबिक, चुनावी मैदान में 278 उम्मीदवार थे। इनमें भाजपा, शिअद, कांग्रेस, आप, बसपा समेत अन्य प्रादेशिक पार्टियों के उम्मीदवार सांसद बनने के लिए उतरे थे। आजाद उम्मीदवारों ने नुक्कड़ नाटक से लेकर छोटी जनसभा व सोशल मीडिया तक मुहिम चलाकर लोगों को अपने पक्ष में वोट देने की अपील की लेकिन लोगों का भरोसा जीतने में नाकाम रहे।
नतीजतन, आजाद उम्मीदवारों को एक फीसदी से भी कम मतदान मिला। अमृतसर में 26, गुरदासपुर में 11, पटियाला में 21, बठिंडा में 24, फिरोजपुर में 18, लुधियाना में 18, संगरूर में 20, फरीदकोट में 16, फतेहगढ़ साहिब में 16, आनंदपुर साहिब में 22, होशियारपुर में 04, खडूर साहिब में 15 और जालंधर में 15 उम्मीदवारों को एक फीसदी से कम वोट मिले और इनकी जमानत जब्त हो गई।
235 उम्मीदवारों की जमानत हुई जब्त
मोदी लहर के बीच कांग्रेस अपनी आठ सीट बचाने में कामयाब रही लेकिन प्रदेश में 235 उम्मीदवारों की जमानत जब्त हो गई। इसमें आम आदमी पार्टी के भी 12 उम्मीदवार शामिल थे। चुनावी मैदान में उतरे पंजाब एकता पार्टी के अध्यक्ष सुखपाल सिंह खैरा, आम आदमी पार्टी के विधायक प्रो. बलजिंदर कौर, पूर्व डिप्टी स्पीकर बीर दविंदर सिंह जैसे बड़े नेताओं की भी जमानत जब्त हुई है। बता दें कि उम्मीदवारों को जमानत राशि बचाने के लिए कुल वैध वोट का छठां भाग हासिल करना जरूरी होता है।
नेताओं ने नाखुश मतदाताओं ने दबाया नोटा
पंजाब के 13 लोकसभा सीटों पर करीब दो फीसदी लोगों ने मतदाताओं को नकार दिया। सभी सीटों पर मतदाताओं ने चुनावी मैदान में खड़े उम्मीदवार की जगह नोटा के विकल्प को प्रमुखता दी। लोगों ने लाइन में लगकर मताधिकार का इस्तेमाल किया लेकिन किसी उम्मीदवार के पक्ष में वोट देना कबूल नहीं किया।
सूबे की 13 लोकसभा सीटों में से सबसे अधिक नोटा का बटन फरीदकोट सीट पर दबा। यहां पर 19 हजार 246 लोगों ने नोटा का बटन दबाया। खंडूर साहिब लोकसभा क्षेत्र में पर सबसे कम नोटा दबाया गया। इस सीट पर केवल 5 हजार 130 लोगों ने नोटा का बटन दबाया।
किस सीट पर दबा कितना नोटा
अमृतसर-8763,गुरदासपुर- 9560, पटियाला-11110,बठिंडा- 13323,फिरोजपुर- 14891,लुधियाना- 10538, संगरूर-6490,फरीदकोट-19246, फतेहगढ साहिब-13045, श्री आनंदपुर साहिब- 17135, होशियारपुर- 12868,श्री खंडूर साहिब- 5130, जालंधर- 12324 लोगों ने नोटा दबाया।