वर्दी पर दाग: महिला दरोगा-सिपाही पकड़े गए घूस लेते, मुकदमे से मां-पिता का नाम हटाने पर मांगे दो लाख; Video
Ghaziabad Viral Video: दहेज मामले में नाम हटाने के एवज में दो लाख रुपये की मांग करने वाली पिंक बूथ इंचार्ज प्रिया सिंह और सिपाही शाहिद को एंटी करप्शन टीम ने 50 हजार रुपये लेते गिरफ्तार किया। शिकायत पर जाल बिछाकर कार्रवाई की गई।
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जनपद हापुड़ के गांव खड़खड़ी के रहने वाले रजनीश त्यागी ने बताया कि मुरादनगर थाने में उनके खिलाफ 12 अक्टूबर को दहेज उत्पीड़न का मुकदमा दर्ज हुआ था। मुकदमे की विवेचना पिंक बूथ इंचार्ज महिला दरोगा प्रिया सिंह के पास थी। रजनीश का आरोप है कि पिंक बूथ इंचार्ज उनकी मां कुसुम त्यागी और पिता संजीव त्यागी का मुकदमे से नाम हटाने के लिए दो लाख रुपये मांग रही थी। लेनदेन की डील सिपाही शाहिद कर रहा था। मांग पूरी नहीं होने पर कुसुम और संजीव को मुकदमे में आरोपी बनाने की धमकी दी जा रही थी। काफी प्रयास के बाद एक लाख रुपये में सौदा तय हो गया। पचास हजार रुपये पहले और पचास हजार काम होने के बाद देना तय हुआ।
भ्रष्टाचार निवारण संगठन मेरठ इकाई (एंटी करप्शन) की टीम ने जाल बिछाकर पकड़ा
रजनीश त्यागी ने रिश्वत मांगने की शिकायत मेरठ यूनिट के एंटी करप्शन विभाग में की। इसके बाद एंटी करप्शन में प्रभारी कृष्णापाल सिंह के नेतृत्व में एंटी करप्शन टीम का गठन किया। टीम ने पिंक बूथ इंचार्ज और सिपाही को पकड़ने की योजना बनाई। पिंक बूथ इंचार्ज और सिपाही ने रजनीश को शनिवार को रिश्वत के पैसे लेने मुरादनगर थाने बुलाया।
योजना के तहत रजनीश त्यागी को कैमिकल्स लगे नोटो की गड्डी देकर मुरादनगर थाने भेजा गया। रजनीश त्यागी ने मुरादनगर थाने पहुंचकर पिंक बूथ इंचार्ज प्रिया सिंह व सिपाही दरोगा को जैसे ही 50 हजार रुपए दिए वैसे ही एंटी करप्शन की टीम ने दोनों को रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ लिया। टीम पिंक बूथ इंचार्ज और सिपाही को लेकर मोदीनगर थाने लेकर पहुंची और रिपोर्ट दर्ज कराकर रकम सील कर दी।