Delhi: कोर्ट ने मांगी नरेश बाल्यान की मेडिकल रिपोर्ट, आप नेता का आरोप, जेल में नहीं मिल रही चिंता की दवा
विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा ने मंडोली जेल के अधिकारियों को 28 मार्च तक रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया, जब बाल्यान ने दावा किया कि उन्हें डॉक्टर की तरफ से सुझाई गई चिंता की दवा नहीं दी जा रही है।
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राउज एवेन्यू कोर्ट ने बृहस्पतिवार को मंडोली जेल अधिकारियों को महाराष्ट्र संगठित अपराध नियंत्रण अधिनियम (मकोका) के तहत गिरफ्तार आप नेता नरेश बाल्यान की चिकित्सा स्थिति पर एक रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया।
विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा ने मंडोली जेल के अधिकारियों को 28 मार्च तक रिपोर्ट दाखिल करने का निर्देश दिया, जब बाल्यान ने दावा किया कि उन्हें डॉक्टर की तरफ से सुझाई गई चिंता की दवा नहीं दी जा रही है। इस बीच, न्यायाधीश ने बाल्यान की न्यायिक हिरासत 16 अप्रैल तक बढ़ा दी। अदालत ने 15 जनवरी को बाल्यान को जमानत देने से इनकार कर दिया था, जिन्हें 4 दिसंबर को इस मामले में गिरफ्तार किया गया था। उन्हें जबरन वसूली के एक मामले में जमानत दी गई थी।
दिल्ली पुलिस ने 8 जनवरी को उनकी जमानत याचिका का विरोध करते हुए कहा कि वह संगठित अपराध सिंडिकेट में मददगार थे। पुलिस ने कहा कि अगर जमानत दी गई, तो बाल्यान गवाहों को प्रभावित कर सकते हैं, सबूत नष्ट कर सकते हैं और चल रही जांच को बाधित कर सकते हैं।
विशेष सरकारी वकील अखंड प्रताप सिंह ने दलील दी कि गवाहों ने कबूल किया है कि आरोपी बाल्यान कपिल सांगवान के संगठित अपराध सिंडिकेट में षड्यंत्रकारी है। उसने अपराध करने के बाद सिंडिकेट के एक सदस्य को गिरफ्तारी से बचने के लिए खर्च के लिए पैसे मुहैया कराए हैं। अभियोजक ने दिल्ली के विभिन्न हिस्सों में कथित सिंडिकेट सदस्यों के खिलाफ दर्ज 16 एफआईआर का हवाला दिया। साथ ही, दावा किया कि इसने समाज में तबाही मचा दी है और भारी मात्रा में अवैध संपत्ति अर्जित की है।