सीट का इतिहास
बसपा का अभेद्य दुर्ग है। 2012 के परिसीमन के बाद यह विधानसभा सीट अस्तित्व में आई। 2012 सपा की लहर में बसपा ने अपनी सीट बचाए रखी थी। 2017 के चुनाव में सुरक्षित सीट होने के कारण सुभासपा के कैलाश सोनकर विजयी हुए। पंचायत चुनाव की राजनीति करते थे। भाजपा से गठबंधन ने यह सीट सुभासपा को मिली थी। जिले की आठवीं विधानसभा है अजगरा। यह जिले के हिसाब से तो वाराणसी में है पर यह चंदौली संसदीय क्षेत्र का हिस्सा है। यहां पिछले दो बार से बसपा का वर्चस्व है। इस सीट को सैदपुर, पिंडरा और शिवपुर विधानसभा से थोड़े-थोड़े हिस्से को काटकर बनाया गया है। अजगरा विधानसभा में 3 ब्लॉक हैं। इसमें शामिल हरहुआ विकास खंड के 48 गांव, चोलापुर के 87 गांव और पिंडरा विकास खंड के 17 गांव को शामिल किया गया है। यह विधानसभा चंदौली संसदीय क्षेत्र का हिस्सा है।
कुल मतदाता : 335159
पुरुष मतदाता : 1,82,170
महिला मतदाता : 1,54,698
| जाति | मतदाता |
| एससी | 40 हजार |
| यादव | 40 हजार |
| पटेल | 35 हजार |
| राजपूत | 20 हजार |
| ब्राह्मण | 18 हजार |
| ठाकुर | 15 हजार |
कैलाश सोनकर (सुभासपा)
उम्र : 54
शिक्षा : 12वीं
क्षेत्र में पीएम मोदी की ओर से कराए गए विकास कार्य क्षेत्र में मुख्य मुद्दा है। विकास की कई योजनाओं से क्षेत्रवासियों को लाभ हुआ।
विधानसभा की पहचान मार्कंडेय महादेव मंदिर भटौली के दुर्गा मंदिर से है।
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