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Fact Check: झूठा है रॉ से जुड़े होने के कारण सात बांग्लादेशी वायु सेना अधिकारियों को बर्खास्त करने का दावा

फैक्ट चेक डेस्क , अमर उजाला Published by: अस्मिता त्रिपाठी Updated Wed, 06 Aug 2025 07:58 PM IST
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सार

Fact Check: सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर कर दावा किया जा रहा है कि बांग्लादेश के सात वायु सेना अधिकारियों को भारतीय खुफिया एजेंसी से जुड़े होने के कारण बर्खास्त किया गया है। हमने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को गलत पाया है। 

Claims of sacking seven Bangladeshi Air Force officers for being associated with RAW are false, read the full
फैक्ट चेक - फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
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सोशल मीडिया पर इन दिनों एक पोस्ट वायरल हो रही है। पोस्ट को शेयर करके दावा किया गया है कि भारतीय खुफिया एजेंसी रिसर्च एंड एनालिसिस विंग (रॉ) से जुड़ें होने के कारण बांग्लादेश ने अपने सात वायु सेना अधिकारियों को बर्खास्त कर दिया है।

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अमर उजाला ने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को गलत पाया है। हमने पाया कि बांग्लादेश के किसी भी वायु सेना अधिकारी को बर्खास्त नहीं किया गया है। कोई भी बांग्लादेशी सैन्य अधिकारी भारतीय खुफिया एजेंसी रॉ से नहीं जुड़ा है। 

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क्या है दावा

सोशल मीडिया पर एक पोस्ट शेयर कर दावा किया जा रहा है कि बांग्लादेश के सात वायु सेना अधिकारियों को रॉ से जुड़े होने के कारण बर्खास्त कर दिया गया है। 

ग्लोबल डिफेंस इनसाइट (@Defense_Talks) नाम के एक्स यूजर ने लिखा “ब्रेकिंग — बांग्लादेश वायु सेना जासूसी मामला: बांग्लादेश वायु सेना के सात वरिष्ठ अधिकारियों को भारत की खुफिया एजेंसी, रॉ के साथ कथित तौर पर सहयोग करने के आरोप में बर्खास्त कर दिया गया है। स्क्वाड्रन लीडर अब्दुल्ला इब्ने अल्ताफ का कोर्ट मार्शल किया गया है और उन्हें 10 साल जेल की सजा सुनाई गई है। वह वर्तमान में काशिमपुर जेल की एक उच्च सुरक्षा वाली कोठरी में बंद हैं। छह अन्य अधिकारियों को जबरन सेवानिवृत्त कर दिया गया है। • एयर वाइस मार्शल एम.ए. अवल हुसैन • एयर वाइस मार्शल ज़ाहिदुल सईद • एयर कमोडोर मोहम्मद अमीनुल हक • ग्रुप कैप्टन अब्दुल्ला अल फारूक • ग्रुप कैप्टन मोहम्मद शमीम • विंग कमांडर सैयद मोहम्मद”। पोस्ट का लिंक आप यहां और आर्काइव लिंक यहां देख सकते हैं।

इसी तरह के कई अन्य दावों के लिंक आप यहां और यहां देख सकते हैं। इनके आर्काइव लिंक आप यहां और यहां देख सकते हैं।

पड़ताल 

हमने दावे की पड़ताल करने के लिए कीवर्ड की मदद से सर्च किया। इस दौरान हमें बांग्लादेशी अखबार डेली सन की एक रिपोर्ट मिली। यह रिपोर्ट 4 अगस्त 2025 को प्रकाशित की गई है। रिपोर्ट में बताया गया है। इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (आईएसपीआर) ने कहा है, "वायु सेना के भीतर "रॉ" नेटवर्क से संबंधित रिपोर्ट भ्रामक है। सोमवार को आईएसपीआर ने कहा कि 4 अगस्त को, "एयर फोर्स के अंदर रॉ नेटवर्क लीक" शीर्षक से एक रिपोर्ट "दैनिक अमर देश" समाचार पत्र के प्रिंट संस्करण, यूट्यूब चैनल और ऑनलाइन पोर्टल पर प्रकाशित हुई थी। रिपोर्ट में, जिन अधिकारियों के खिलाफ विदेशी खुफिया एजेंसियों के साथ जुड़ें होने के आरोप लगाए गया है वह निराधार हैं।" 

इसके बाद हमें  द फाइनेंशियल टुडे की रिपोर्ट मिली। यह रिपोर्ट 5 अगस्त 2025 को प्रकाशित की गई है। रिपोर्ट में बताया गया है कि इंटर-सर्विसेज पब्लिक रिलेशंस (आईएसपीआर) ने वायु सेना के भीतर "रॉ" नेटवर्क से संबंधित रिपोर्ट में भ्रामक बताया है। आईएसपीआर ने कहा कि 4 अगस्त को,  दैनिक अमर देश अखबार में "एयर फोर्स के अंदर रॉ नेटवर्क लीक" शीर्षक से एक रिपोर्ट  प्रकाशित हुई थी, जो कि झूठी थी। 

पड़ताल का नतीजा 

हमने अपनी पड़ताल में वायरल दावे को गलत पाया है। बांग्लादेश के किसी भी वायु सैनिक को रॉ से जुड़े होने के आरोप में बर्खास्त नहीं किया गया है। इसे शेयर कर लोगों में भ्रम फैलाने की कोशिश की जा रही है।

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