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DFCCIL: 'डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर भारतीय रेलवे का गहना', अश्विनी वैष्णव बोले- परियोजना से माल ढुलाई हुई सस्ती

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली Published by: दीपक कुमार शर्मा Updated Fri, 15 Nov 2024 11:42 PM IST
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सार

रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने डीएफसीसीआईएल (डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड) के 19वें स्थापना दिवस पर पदाधिकारियों को बधाई दी। इस मौके पर उन्होंने बताया कि वर्तमान में इस कॉरिडोर पर 350 से अधिक मालगाड़ियां चल रही हैं, जिससे देश में माल ढुलाई की प्रक्रिया तेज और सस्ती हुई है। 

Ashwini Vaishnav described DFC as jewel of Indian Railways and says it has positive impact on logistics sector
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव - फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
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 रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने बृहस्पतिवार को डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर (डीएफसी) को 'भारतीय रेलवे का गहना' बताया। इस दौरान उन्होंने कहा कि यह परियोजना भारतीय रेलवे के लिए बहुत महत्वपूर्ण है, जिसने देश के लॉजिस्टिक्स क्षेत्र पर सकारात्मक असर डाला है। 

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रेल मंत्री वैष्णव ने डीएफसीसीआईएल (डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड) के 19वें स्थापना दिवस पर पदाधिकारियों को बधाई दी। इस मौके पर उन्होंने बताया कि वर्तमान में इस कॉरिडोर पर 350 से अधिक मालगाड़ियां चल रही हैं, जिससे देश में माल ढुलाई की प्रक्रिया तेज और सस्ती हुई है। 
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पहले के मुकाबले माल ढुलाई का समय हुआ आधा
भारत मंडपम में उत्सव के दौरान चलाए गए एक वीडियो संदेश में रेल मंत्री वैष्णव ने कहा कि पहले के मुकाबले माल ढुलाई का समय आधा हो गया है और मालगाड़ियों की गति भी बढ़ी है। इससे भारतीय रेलवे ने लॉजिस्टिक्स लागत को कम करने में अहम भूमिका निभाई है। उन्होंने उम्मीद जताई कि डीएफसी देश की सेवा करता रहेगा और भारतीय रेलवे का नेटवर्क और बेहतर तरीके से काम करेगा।

डीएफसीसीआईएल ने अपने दो दशक लंबे सफर को मनाते हुए यह स्थापना दिवस मनाया। इस अवसर पर रेलवे बोर्ड के अध्यक्ष और सीईओ सतीश कुमार, डीएफसीसीआईएल के प्रबंध निदेशक प्रवीण कुमार और अन्य महत्वपूर्ण लोग उपस्थित थे। 

रसद लागत 15 फीसदी से घटकर 9 पर पहुंची
इस मौके पर डीएफसीसीआईएल की ओर से एक बयान जारी किया गया। जिसमें कहा गया, 'डीएफसीसीआईएल ने स्वतंत्र भारत की सबसे बड़ी बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में से एक के रूप में अपने मिशन को आगे बढ़ाया है। निगम ने भारत के माल ढुलाई परिदृश्य में रेलवे की हिस्सेदारी बढ़ाने के अपने लक्ष्य की दिशा में महत्वपूर्ण प्रगति की है, जिसका लक्ष्य रसद लागत को 15% से घटाकर 9% से कम करना और घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय व्यापार दोनों को प्रोत्साहित करके भारत की आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देना है।'

सात राज्यों में काम कर रहा यह कॉरिडोर
यह कॉरिडोर सात राज्यों- पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान, गुजरात और महाराष्ट्र में काम कर रहा है, जिससे कई उद्योगों को फायदा हो रहा है, छोटे और मझोले उद्योगों (एमएसएमई) को समर्थन मिल रहा है, और युवाओं के लिए रोजगार के अवसर बन रहे हैं। 

डीएफसीसीआईएल के हैं दो प्रमुख कॉरिडोर
डीएफसीसीआईएल के दो प्रमुख कॉरिडोर- पूर्वी और पश्चिमी डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर देश के भीतर के इलाकों को उपभोक्ता केंद्रों और विदेशी बाजारों से जोड़ रहे हैं। 1,337 किलोमीटर लंबा पूर्वी डीएफसी पंजाब में लुधियाना को बिहार के सोननगर से जोड़ता है और 1,506 किलोमीटर लंबा पश्चिमी डीएफसी उत्तर प्रदेश के दादरी से नवी मुंबई में जेएनपीटी पोर्ट तक चलता है।

2024 में 96 फीसदी परियोजनाएं पूरी कीं
डीएफसीसीआईएल ने कहा कि 2024 में, डीएफसीसीआईएल ने अपनी 96 फीसदी परियोजनाएं पूरी कर ली हैं और यह भारतीय रेलवे के कुल माल ढुलाई भार का 13 फीसदी से अधिक पहले ही ले चुका है, हालांकि यह केवल 4 फीसदी रेलवे नेटवर्क को कवर करता है।

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