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Maharashtra: विपक्ष में दिखने लगी दरार! कांग्रेस नेता के बिना गठबंधन के चुनाव लड़ने वाले बयान पर बिफरी मनसे

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, मुंबई Published by: कीर्तिवर्धन मिश्र Updated Wed, 22 Oct 2025 05:33 PM IST
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सार

विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष वर्षा गायकवाड़ ने स्पष्ट किया कि जगताप की टिप्पणी उनकी व्यक्तिगत राय थी और यह पार्टी का आधिकारिक रुख नहीं दर्शाती।

Maharashtra MNS Leader slams Congress Leader Bhai Jagtap statement on Alliance Varsha Gaikwad clarifies news
भाई जगताप के बयान पर वर्षा गायकवाड़ ने दिया स्पष्टीकरण। - फोटो : ANI
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विस्तार
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महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) ने बुधवार को मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष भाई जगताप के उस बयान पर तीखी प्रतिक्रिया दी जिसमें उन्होंने कहा था कि आगामी नगरपालिका चुनावों के लिए कांग्रेस का राज ठाकरे की एमएनएस या उद्धव ठाकरे की शिवसेना (उद्धव-बालासाहेब ठाकरे) से कोई गठबंधन नहीं होगा। मनसे नेता यशवंत किलेदार ने जगताप के बयान को अनुचित और भ्रामक बताया। साथ ही उन पर कांग्रेस के ही नेता से विश्वासघात करने का आरोप लगाया। 
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उन्होंने कहा, “भाई जगताप केवल एक स्थानीय नेता हैं। कांग्रेस में अहम फैसले दिल्ली में हाईकमान लेता है। हमने न तो कभी कांग्रेस से गठबंधन का प्रस्ताव रखा और न ही ऐसा कोई सार्वजनिक बयान दिया। फिर वे बेवजह हमारा नाम क्यों घसीट रहे हैं?” किलेदार ने आरोप लगाया कि जगताप ने 2022 के विधान परिषद चुनावों के दौरान कांग्रेस नेता चंद्रकांत हांदोर के साथ विश्वासघात किया था।
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मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष को देनी पड़ी सफाई
इस पूरे विवाद पर प्रतिक्रिया देते हुए मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष वर्षा गायकवाड़ ने स्पष्ट किया कि जगताप की टिप्पणी उनकी व्यक्तिगत राय थी और यह पार्टी का आधिकारिक रुख नहीं दर्शाती। उन्होंने कहा, “हमारी समिति की बैठक में विभिन्न नेताओं और कार्यकर्ताओं ने अपने विचार रखे थे, लेकिन अंतिम निर्णय हमारी केंद्रीय नेतृत्व- मल्लिकार्जुन खड़गे, राहुल गांधी और सोनिया गांधी द्वारा लिया जाएगा, और हम उसी का पालन करेंगे।”

गायकवाड़ ने कहा कि महा विकास आघाडी (एमवीए) का गठन संविधान की रक्षा के साझा न्यूनतम कार्यक्रम के आधार पर हुआ था। एमवीए में कांग्रेस, शिवसेना (यूबीटी) और शरद पवार की एनसीपी (एसपी) शामिल हैं। हाल के महीनों में उद्धव ठाकरे और राज ठाकरे की कई मुलाकातों के बाद यह अटकलें तेज हो गई हैं कि दोनों दल आगामी स्थानीय निकाय चुनावों के लिए एक साथ आ सकते हैं।

गायकवाड़ ने कहा, “हम उन्हीं दलों के साथ रहेंगे जो संविधान में विश्वास रखते हैं और कानून-व्यवस्था का सम्मान करते हैं। जो ऐसा नहीं करते, उनसे कोई गठबंधन नहीं होगा।” उन्होंने आगे कहा, “लोकतंत्र में हर किसी को अपनी राय रखने का अधिकार है, लेकिन अंतिम निर्णय पार्टी की केंद्रीय नेतृत्व ही लेती है।”
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