{"_id":"6929aac39b28cb9e410ec1d6","slug":"op-sindoor-only-a-glimpse-of-india-s-future-joint-warfighting-integrated-defence-staff-chief-2025-11-28","type":"story","status":"publish","title_hn":"Op Sindoor: 'ऑपरेशन सिंदूर भविष्य की एक झलक मात्र', एयर मार्शल बोले- अब सिर्फ जमीन पर नहीं लड़े जा रहे युद्ध","category":{"title":"India News","title_hn":"देश","slug":"india-news"}}
Op Sindoor: 'ऑपरेशन सिंदूर भविष्य की एक झलक मात्र', एयर मार्शल बोले- अब सिर्फ जमीन पर नहीं लड़े जा रहे युद्ध
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: पवन पांडेय
Updated Fri, 28 Nov 2025 07:29 PM IST
सार
Integrated Defence Staff Chief: एयर मार्शल आशुतोष दीक्षित ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सीडीएस और तीनों सेनाओं के प्रमुख एक टीम की तरह काम कर रहे थे। उन्होंने कहा- यही भविष्य है। आगे एक थियेटर ऑपरेशंस रूम होगा जहां सभी सूचनाएं आएंगी और थिएटर कमांडर तुरंत फैसला ले पाएंगे।
विज्ञापन
एयर मार्शल आशुतोष दीक्षित, CISC
- फोटो : ANI
विज्ञापन
विस्तार
इंटीग्रेटेड डिफेंस स्टाफ के चीफ एयर मार्शल अशुतोष दीक्षित ने कहा है कि हाल ही में हुई ऑपरेशन सिंदूर के दौरान जो संयुक्त सैन्य कार्रवाई हुई, वह बस आने वाले समय में भारत की थियेटर कमांड्स कैसी काम करेंगी, उसकी सिर्फ एक झलक थी।
यह भी पढ़ें - DGP-IGP Conference: पहले दिल्ली तक सीमित थी ये कॉन्फ्रेंस, 2014 से दूसरे राज्यों को मिल रहा मेजबानी का अवसर
'थिएटर कमांडर की अगुवाई में काम करेंगी सेनाएं'
दिल्ली में राष्ट्रीय सुरक्षा शिखर सम्मेलन में बोलते हुए उन्होंने कहा कि भारत की रक्षा व्यवस्था अब तीन बड़े पड़ावों से गुजर रही है- पहले ज्वाइंटनेस, फिर इंटीग्रेशन, और अब थियेटराइजेशन। उनके मुताबिक, आने वाला समय ऐसा होगा जहां सेना, वायुसेना, नौसेना और साइबर-डोमेन किसी एक योजना के तहत, एक थिएटर कमांडर की अगुवाई में काम करेंगे।
थियेटर कमांड क्यों जरूरी?
एयर मार्शल दीक्षित ने कहा कि आज का युद्ध सिर्फ सीमा पर नहीं लड़ जाता, बल्कि यह अब साइबर, स्पेस, सूचना युद्ध, और समुद्र-आकाश-जमीन, सभी मोर्चों पर एक साथ लड़ा जाता है। उन्होंने बताया कि फोर्स डेवलपमेंट (यानि हथियार और रणनीति बनाना) की जिम्मेदारी सेवा मुख्यालयों पर होगी। फोर्स एप्लिकेशन (यानि युद्ध में उसका इस्तेमाल कैसे हो) यह काम थिएटर कमांडर संभालेंगे।
ऑपरेशन सिंदूर ने क्या सिखाया?
एयर मार्शल आशुतोष दीक्षित ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सीडीएस और तीनों सेनाओं के प्रमुख एक टीम की तरह काम कर रहे थे। उन्होंने कहा- यही भविष्य है। आगे एक थियेटर ऑपरेशंस रूम होगा जहां सभी सूचनाएं आएंगी और थिएटर कमांडर तुरंत फैसला ले पाएंगे।
यह भी पढ़ें - Manipur: मणिपुर में असम राइफल्स की टुकड़ी पर गोलीबारी, हमलावरों की खोज में जुटे सुरक्षाबल
भविष्य की लड़ाई- असमानता से जीत
उन्होंने यह भी कहा कि युद्ध हमेशा ताकत बराबर होने से नहीं, बल्कि असमानता पैदा करके जीते जाते हैं। उन्होंने 1971 के युद्ध में तांगैल पैराड्रॉप का उदाहरण दिया, जिसने पाकिस्तान की सेना को अचानक हिला दिया था। आज जमीन और समुद्र पर कई देशों की ताकत बराबर है- तो बढ़त अब इंटीग्रेशन, साइबर, टेक और तेज फैसलों से मिलेगी।
Trending Videos
यह भी पढ़ें - DGP-IGP Conference: पहले दिल्ली तक सीमित थी ये कॉन्फ्रेंस, 2014 से दूसरे राज्यों को मिल रहा मेजबानी का अवसर
विज्ञापन
विज्ञापन
'थिएटर कमांडर की अगुवाई में काम करेंगी सेनाएं'
दिल्ली में राष्ट्रीय सुरक्षा शिखर सम्मेलन में बोलते हुए उन्होंने कहा कि भारत की रक्षा व्यवस्था अब तीन बड़े पड़ावों से गुजर रही है- पहले ज्वाइंटनेस, फिर इंटीग्रेशन, और अब थियेटराइजेशन। उनके मुताबिक, आने वाला समय ऐसा होगा जहां सेना, वायुसेना, नौसेना और साइबर-डोमेन किसी एक योजना के तहत, एक थिएटर कमांडर की अगुवाई में काम करेंगे।
थियेटर कमांड क्यों जरूरी?
एयर मार्शल दीक्षित ने कहा कि आज का युद्ध सिर्फ सीमा पर नहीं लड़ जाता, बल्कि यह अब साइबर, स्पेस, सूचना युद्ध, और समुद्र-आकाश-जमीन, सभी मोर्चों पर एक साथ लड़ा जाता है। उन्होंने बताया कि फोर्स डेवलपमेंट (यानि हथियार और रणनीति बनाना) की जिम्मेदारी सेवा मुख्यालयों पर होगी। फोर्स एप्लिकेशन (यानि युद्ध में उसका इस्तेमाल कैसे हो) यह काम थिएटर कमांडर संभालेंगे।
ऑपरेशन सिंदूर ने क्या सिखाया?
एयर मार्शल आशुतोष दीक्षित ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान सीडीएस और तीनों सेनाओं के प्रमुख एक टीम की तरह काम कर रहे थे। उन्होंने कहा- यही भविष्य है। आगे एक थियेटर ऑपरेशंस रूम होगा जहां सभी सूचनाएं आएंगी और थिएटर कमांडर तुरंत फैसला ले पाएंगे।
यह भी पढ़ें - Manipur: मणिपुर में असम राइफल्स की टुकड़ी पर गोलीबारी, हमलावरों की खोज में जुटे सुरक्षाबल
भविष्य की लड़ाई- असमानता से जीत
उन्होंने यह भी कहा कि युद्ध हमेशा ताकत बराबर होने से नहीं, बल्कि असमानता पैदा करके जीते जाते हैं। उन्होंने 1971 के युद्ध में तांगैल पैराड्रॉप का उदाहरण दिया, जिसने पाकिस्तान की सेना को अचानक हिला दिया था। आज जमीन और समुद्र पर कई देशों की ताकत बराबर है- तो बढ़त अब इंटीग्रेशन, साइबर, टेक और तेज फैसलों से मिलेगी।
विज्ञापन
रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News apps, iOS Hindi News apps और Amarujala Hindi News apps अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.
विज्ञापन
विज्ञापन