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Ujjain News: उज्जैन-जावरा ग्रीनफील्ड रोड के विरोध में 62 गांवों के किसान उग्र, अफसर को बनाया बंधक
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, उज्जैन
Published by: उज्जैन ब्यूरो
Updated Tue, 25 Nov 2025 05:17 PM IST
सार
सरकार द्वारा उज्जैन-जावरा ग्रीनफील्ड हाईवे की ऊंचाई जमीन से 10–15 फीट रखने के फैसले से नाराज किसानों ने एमपीआरडीसी कार्यालय का चैनल बंद कर अफसर को बंधक बना लिया।
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किसानों का विरोध प्रदर्शन जारी
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
उज्जैन-जावरा ग्रीनफील्ड रोड के निर्माण को लेकर ग्रामीणों का विरोध अब उग्र हो गया है। लगभग 5017 करोड़ रुपए की लागत से बनाए जा रहे 99 किलोमीटर लंबे हाईवे को लेकर 62 गांवों के प्रतिनिधियों ने सोमवार को एमपीआरडीसी कार्यालय पर पहुंचकर अफसर को बंधक बना लिया। ग्रामीणों ने कार्यालय का चैनल बंद कर चेतावनी देते हुए कहा कि अगर हमारी मांगें नहीं मानी गईं, तो गांव की तरफ सड़क बनाने की कोशिश मत करना। जान चली जाए तो भी हम अपनी जमीन नहीं छोड़ेंगे।
जानकारी के अनुसार सरकार इस ग्रीनफील्ड हाईवे को जमीन से 10 से 15 फीट ऊंचाई पर बना रही है। इसी कारण से ग्रामीणों में नाराजगी है। उनका कहना है कि ऊंचा हाईवे बनने से गांवों का संपर्क टूट जाएगा और खेती तथा स्थानीय मार्गों पर असर पड़ेगा। किसानों का आरोप है कि उन्होंने इस संबंध में कलेक्टर, कमिश्नर, विधायक और सांसद तक से शिकायत की लेकिन किसी ने उनकी समस्या का समाधान नहीं किया। आखिरकार मजबूर होकर उन्होंने एमपीआरडीसी कार्यालय में प्रदर्शन किया।
प्रदर्शन के दौरान अफसरों को समझाने की कोशिश की गई, जिसके बाद ग्रामीण शांत हुए और कार्यालय से लौट गए। हालांकि जाते-जाते उन्होंने साफ चेतावनी दी कि यदि हमारी बात नहीं सुनी गई तो सड़क निर्माण रोक देंगे, चाहे जान चली जाए। हमारे पूर्वजों की जमीन पर कोई कब्जा नहीं कर सकता।
ये भी पढ़ें: Indore News: मां का अंतिम संस्कार छोड़कर ड्यूटी पर डटी बीएलओ नीलू गौड़, इंदौर में पेश की अनोखी मिसाल
एमपीआरडीसी इंजीनियर दीपक शर्मा ने बताया कि उन्होंने किसानों की समस्याओं को जमीन पर बैठकर सुना है और उनकी सभी मांगें भोपाल मुख्यालय को भेज दी गई हैं। निर्णय वहीं से लिया जाएगा।
यह है किसानों की मांगें
विरोध कर रहे किसानों ने अपनी मांगें बताईं कि उज्जैन से जावरा तक बनने वाली 99 किमी हाईवे को जमीन से 10-15 फीट ऊंचाई से बनाने के बजाय अन्य सामान्य फोरलेन की तरह बनाया जाए ताकि क्षेत्र के गांवों को भी इसका लाभ मिले। भूमि अधिग्रहण से पहले किसानों को वर्तमान बाजार मूल्य के आधार पर मुआवजा दिया जाए।
पहले भी हुआ था विरोध
उज्जैन-जावरा के मध्य 4 लेन पेव्हड सोल्डर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस कंट्रोल हाईवे में किसानों की जमीन का अधिग्रहण को लेकर एसडीएम कार्यालय घट्टिया में ग्राम झिरनिया, सारोला, तुमड़ावदा, पुरीखेड़ा, मजरा, आजमपुरा, सोड़ंग, विनायगा, धुलमुह के किसानों ने एसडीएम राजाराम करजरे को आवेदन देकर पहले भी आपत्ति दर्ज करवाई थी।
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जानकारी के अनुसार सरकार इस ग्रीनफील्ड हाईवे को जमीन से 10 से 15 फीट ऊंचाई पर बना रही है। इसी कारण से ग्रामीणों में नाराजगी है। उनका कहना है कि ऊंचा हाईवे बनने से गांवों का संपर्क टूट जाएगा और खेती तथा स्थानीय मार्गों पर असर पड़ेगा। किसानों का आरोप है कि उन्होंने इस संबंध में कलेक्टर, कमिश्नर, विधायक और सांसद तक से शिकायत की लेकिन किसी ने उनकी समस्या का समाधान नहीं किया। आखिरकार मजबूर होकर उन्होंने एमपीआरडीसी कार्यालय में प्रदर्शन किया।
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प्रदर्शन के दौरान अफसरों को समझाने की कोशिश की गई, जिसके बाद ग्रामीण शांत हुए और कार्यालय से लौट गए। हालांकि जाते-जाते उन्होंने साफ चेतावनी दी कि यदि हमारी बात नहीं सुनी गई तो सड़क निर्माण रोक देंगे, चाहे जान चली जाए। हमारे पूर्वजों की जमीन पर कोई कब्जा नहीं कर सकता।
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एमपीआरडीसी इंजीनियर दीपक शर्मा ने बताया कि उन्होंने किसानों की समस्याओं को जमीन पर बैठकर सुना है और उनकी सभी मांगें भोपाल मुख्यालय को भेज दी गई हैं। निर्णय वहीं से लिया जाएगा।
यह है किसानों की मांगें
विरोध कर रहे किसानों ने अपनी मांगें बताईं कि उज्जैन से जावरा तक बनने वाली 99 किमी हाईवे को जमीन से 10-15 फीट ऊंचाई से बनाने के बजाय अन्य सामान्य फोरलेन की तरह बनाया जाए ताकि क्षेत्र के गांवों को भी इसका लाभ मिले। भूमि अधिग्रहण से पहले किसानों को वर्तमान बाजार मूल्य के आधार पर मुआवजा दिया जाए।
पहले भी हुआ था विरोध
उज्जैन-जावरा के मध्य 4 लेन पेव्हड सोल्डर ग्रीनफील्ड एक्सप्रेस कंट्रोल हाईवे में किसानों की जमीन का अधिग्रहण को लेकर एसडीएम कार्यालय घट्टिया में ग्राम झिरनिया, सारोला, तुमड़ावदा, पुरीखेड़ा, मजरा, आजमपुरा, सोड़ंग, विनायगा, धुलमुह के किसानों ने एसडीएम राजाराम करजरे को आवेदन देकर पहले भी आपत्ति दर्ज करवाई थी।