{"_id":"686912a8e0eb7b70040fe354","slug":"monsoon-season-health-tips-risk-of-mosquito-borne-diseases-and-prevention-tips-2025-07-05","type":"photo-gallery","status":"publish","title_hn":"Health Alert: मानसून अपने साथ लाता है मच्छर जनित रोगों का खतरा, हजारों लोग होते हैं प्रभावित; आप कैसे बचें?","category":{"title":"Health & Fitness","title_hn":"हेल्थ एंड फिटनेस","slug":"fitness"}}
Health Alert: मानसून अपने साथ लाता है मच्छर जनित रोगों का खतरा, हजारों लोग होते हैं प्रभावित; आप कैसे बचें?
हेल्थ डेस्क, अमर उजाला, नई दिल्ली
Published by: अभिलाष श्रीवास्तव
Updated Sun, 06 Jul 2025 07:46 PM IST
सार
मानसून भले ही राहत और ठंडक लेकर आता हो, लेकिन यह बीमारियों का मौसम भी बन जाता है। साफ-सफाई, जागरूकता और थोड़ी सी सावधानी से आप इन मौसमी रोगों से खुद और अपने परिवार को बचा सकते हैं।
Monsoon And Disease: देश के अधिकतर हिस्सों में मानसून की शुरुआत हो चुकी है। कई राज्यों में तेज बारिश का भी असर देखा गया है। मानसून का ये मौसम तेज गर्मी के बाद राहत देने वाला तो होता है पर अपने साथ कई प्रकार की बीमारियां भी लेकर आता है जिसको लेकर सभी लोगों को सावधानी बरतते रहना चाहिए।
बारिश के मौसम में वातावरण में नमी, जलभराव और साफ-सफाई की कमी के चलते बीमारियों के मामले और इसके कारण स्वास्थ्य सेवाओं पर अतिरिक्त दबाव भी बढ़ जाता है। इस मौसम में सबसे ज्यादा खतरा मच्छरों और दूषित पानी के कारण संक्रमण फैलने लगता है। ये बीमारियां बच्चों, बुजुर्गों और कमजोर इम्युनिटी वाले लोगों को सबसे ज्यादा अपना शिकार बनाती हैं।
मच्छर जनित रोगों के कारण हर साल बड़ी संख्या में लोगों की मौतें भी हो जाती हैं जिसको लेकर सभी लोगों को पहले से सावधान हो जाना चाहिए।
Trending Videos
2 of 5
मच्छरों के कारण होने वाली बीमारियां
- फोटो : Freepik.com
क्या कहते हैं स्वास्थ्य विशेषज्ञ?
अमर उजाला से बातचीत में दिल्ली स्थित एक अस्पताल में इंटेंसिव केयर यूनिट के डॉक्टर अभिजात सिंह बताते हैं, मानसून भले ही राहत और ठंडक लेकर आता हो, लेकिन यह बीमारियों का मौसम भी बन जाता है। साफ-सफाई, जागरूकता और थोड़ी सी सावधानी से आप इन मौसमी रोगों से खुद और अपने परिवार को बचा सकते हैं। जल-जमाव के कारण मच्छरों का प्रजनन बढ़ जाता है, यही कारण है कि अगस्त से अक्तूबर तक के महीनों में अस्पताल में डेंगू-मलेरिया और चुकनगुनिया जैसी बीमारियों का जोखिम अधिक देखा जाता रहा है।
इन बीमारियों से बचाव के लिए सभी लोगों को पहले से सतर्क रहना चाहिए।
विज्ञापन
विज्ञापन
3 of 5
डेगू बुखार का खतरा
- फोटो : Adobe Stock
डेंगू का खतरा
डेंगू एडीज एजिप्टाई नामक मच्छर के काटने से होता है, जो दिन में ज्यादा सक्रिय रहते हैं। ये मच्छर साफ जमा पानी (जैसे कूलर, गमले, टंकी) में पनपते हैं। डेंगू के कारण तेज बुखार (104°F तक), सिर, आंखों के साथ मांसपेशियों और जोड़ों में तेज दर्द होता है, यही कारण है कि इसे हड्डी तोड़ बुखार भी कहते हैं।
इन लक्षणों के अलावा डेंगू के स्थिति में त्वचा पर लाल चकत्ते, उल्टी या मतली की भी दिक्कत होती है। अगर समय पर इलाज न हो तो ब्लड प्लेटलेट्स काउंट तेजी से कम हो सकता है जिससे रक्तस्राव और डेंगू हेमोरेजिक फीवर का भी खतरा हो सकता है। ये स्थिति जानलेवा मानी जाती है।
4 of 5
मलेरिया के कारण होने वाली समस्याएं
- फोटो : Adobe Stock
मलेरिया का न हो जाएं शिकार?
डेंगू की ही तरह से मानसून के दिनों में मलेरिया रोग के मामले भी काफी बढ़ जाते हैं। ये एनॉफिलीज मादा मच्छर के काटने से होता है। यह मच्छर आमतौर पर गंदे पानी में पनपते हैं और डेंगू के मच्छरों से उल्टा, रात में ज्यादा काटते है। मलेरिया प्लास्मोडियम नाम के परजीवी से होता है, जो खून में पहुंचकर लाल रक्त कोशिकाओं को नुकसान पहुंचाता है।
मलेरिया के कारण बुखार के साथ ठंड लगने और पसीना आना (थरथराहट के साथ), सिर और मांसपेशियों में दर्द, कमजोरी और थकान की दिक्कत देखी जाती है। अगर बीमारी का इलाज न हो पाए औ ये गंभीर रूप ले लेता है तो इससे दिमाग, किडनी और लिवर की भी समस्याएं हो सकती हैं।
विज्ञापन
5 of 5
मच्छरों से बचाव के करें उपाय
- फोटो : Freepik.com
चिकनगुनिया को लेकर सावधानी जरूरी
चिकनगुनिया भी एडीज मच्छर, विशेष रूप से एडीज एजिप्टी और एडीज एल्बोपिक्टस के काटने से होता है। यह दिन में ज्यादा सक्रिय रहता है और साफ पानी में पनपता है। चिकनगुनिया के भी अधिकतर लक्षण डेंगू से मिलता-जुलते हो सकते हैं। इसके कारण अचानक तेज बुखार आने, जोड़ों में तेज दर्द होने, शरीर पर चकत्ते के साथ सिर दर्द और मांसपेशियों में दर्द हो सकता है।
इन बीमारियों से बचाव कैसे करें?
मानसून के दिनों में कुछ बातों का ध्यान रखकर इन बीमारियों से बच सकते हैं। इसके लिए घर के आसपास (कूलर, बर्तन, गमले) पानी इकट्ठा न होने दें। मच्छरों से बचाव के लिए पूरी बांह के कपड़े पहनें, मच्छरदानी और रिपेलेंट का प्रयोग करें। सुबह-शाम घर के कोनों में कीटनाशक छिड़कें। इसके अलावा बुखार आने पर या फिर सामान्य दवाओं से आराम न मिले तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
-------------- नोट: यह लेख डॉक्टर्स का सलाह और मेडिकल रिपोर्टस से एकत्रित जानकारियों के आधार पर तैयार किया गया है।
अस्वीकरण: अमर उजाला की हेल्थ एवं फिटनेस कैटेगरी में प्रकाशित सभी लेख डॉक्टर, विशेषज्ञों व अकादमिक संस्थानों से बातचीत के आधार पर तैयार किए जाते हैं। लेख में उल्लेखित तथ्यों व सूचनाओं को अमर उजाला के पेशेवर पत्रकारों द्वारा जांचा व परखा गया है। इस लेख को तैयार करते समय सभी तरह के निर्देशों का पालन किया गया है। संबंधित लेख पाठक की जानकारी व जागरूकता बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है। अमर उजाला लेख में प्रदत्त जानकारी व सूचना को लेकर किसी तरह का दावा नहीं करता है और न ही जिम्मेदारी लेता है। उपरोक्त लेख में उल्लेखित संबंधित बीमारी के बारे में अधिक जानकारी के लिए अपने डॉक्टर से परामर्श लें।
सबसे विश्वसनीयहिंदी न्यूज़वेबसाइट अमर उजाला पर पढ़ेंलाइफ़ स्टाइल से संबंधित समाचार (Lifestyle News in Hindi), लाइफ़स्टाइल जगत (Lifestyle section) की अन्य खबरें जैसेहेल्थ एंड फिटनेस न्यूज़ (Health and fitness news), लाइवफैशन न्यूज़, (live fashion news) लेटेस्टफूड न्यूज़इन हिंदी, (latest food news) रिलेशनशिप न्यूज़ (relationship news in Hindi) औरयात्रा (travel news in Hindi) आदि से संबंधित ब्रेकिंग न्यूज़ (Hindi News)।
एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें
Next Article
Disclaimer
हम डाटा संग्रह टूल्स, जैसे की कुकीज के माध्यम से आपकी जानकारी एकत्र करते हैं ताकि आपको बेहतर और व्यक्तिगत अनुभव प्रदान कर सकें और लक्षित विज्ञापन पेश कर सकें। अगर आप साइन-अप करते हैं, तो हम आपका ईमेल पता, फोन नंबर और अन्य विवरण पूरी तरह सुरक्षित तरीके से स्टोर करते हैं। आप कुकीज नीति पृष्ठ से अपनी कुकीज हटा सकते है और रजिस्टर्ड यूजर अपने प्रोफाइल पेज से अपना व्यक्तिगत डाटा हटा या एक्सपोर्ट कर सकते हैं। हमारी Cookies Policy, Privacy Policy और Terms & Conditions के बारे में पढ़ें और अपनी सहमति देने के लिए Agree पर क्लिक करें।