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Year Ender 2025: विवादों से भरा रहा ये साल, राजस्थान में CS-ACS की छुट्टी, जासूसी का क्या था मामला? जानें
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, जयपुर
Published by: तरुणेंद्र चतुर्वेदी
Updated Mon, 29 Dec 2025 08:15 PM IST
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सार
Year Ender 2025: 2025 राजस्थान में सियासत और ब्यूरोक्रेसी दोनों के लिए ऐतिहासिक रहा। सत्ता और प्रशासन के गलियारों में ऐसी घटनाएं हुईं, जिन्होंने पूरे राज्य की राजनीति और प्रशासनिक व्यवस्था को झकझोर कर रख दिया। चलिए जानते हैं सिलसिलेवार तरीके से इन घटनाक्रमों को।
ईयर एंडर
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
राजस्थान में साल 2025 ब्यूरोक्रेसी और सियासत दोनों के लिए बेहद खास रहा। ऐसी कई बड़ी घटनाएं हुईं जो दशकों तक याद की जाएंगी। वह घटनाएं कौनसी रहीं जानिए इस रिपोर्ट में-सबसे पहले बात करें ब्यूरोक्रेसी के विवाद की तो दो बड़ी घटनाएं रहीं।
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पहली राजस्थान के मुख्य सचिव और सीएम के अतिरिक्त मुख्य सचिव की छुट्टी होना और दूसरी सोशल मीडिया फेम कलेक्टर टीना डाबी को लेकर छिड़ा विवाद रहा। सीएस, एसीएस की छुट्टी-ऐसा राजस्थान में पहली बार देखने को मिला जब ब्यूरोक्रेसी के दो शीर्ष अफसरों पर एक साथ गाज गिरी। राजस्थान की भजनलाल सरकार के गठन के बाद दिल्ली से राजस्थान मुख्य सचिव बनाकर भेजे गए आईएएस सुधांश पंत और मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के अतिरिक्त मुख्य सचिव शिखर अग्रवाल के बीच मनमुटाव की खबरें रह-रह कर आती रहीं। लेकिन साल के आखिर में ब्यूरोक्रेसी में अचानक धमाका हुआ। सुधांश पंत दिल्ली रवाना कर दिए गए और शिखर अग्रवाल की सीएमओ से छुट्टी हो गई। राजस्थान की सियासत में ऐसा पहली बार हुआ।
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टीना डाबी विवाद: सोशल मीडिया फेम और बाड़मेर की कलेक्टर टीना डाबी इस साल चर्चाओं में रही। टीना डाबी के खिलाफ छात्रों के प्रदर्शन में उन्हें 'रील स्टार' कहे जाने और उस पर हुई पुलिस कार्रवाई ने बड़ा सियासी रंग लिया, जिससे राजनीतिक गलियारों में हलचल मच गई और यह मुद्दा मीडिया में छाया रहा।
सियासत में विवादों की लाइन लगी रही
डोटासरा का विधानसभा में निलंबन: साल 2025 में राजस्थान की सियासत का पहला विवाद विधानसभा से शुरू हुआ। जब प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा और स्पीकर वासुदेव देवनानी के बीच भिडंत हो गई और डोटासरा और कांग्रेस के कई अन्य विधायकों को विधानसभा से निलंबित कर दिया गया। फरवरी माह में आहुत हुए विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान डोटासरा पर आसन पर अमर्यादित टिप्पणी करने का आरोप लगाया गया। हालांकि जिस टिप्पणी को लेकर डोटासरा को निलंबित किया गया उस समय सदन की कार्रवाई स्थगित थी। विधानसभा अध्यक्ष ने डोटासरा के लिए यहां तक कह दिया था कि यह विधायक रहने के लायक नहीं हैं। कांग्रेस विधायकों के निलंबन के विरोध में प्रदेश कांग्रेस ने विधानसभा का घेराव भी किया। बड़ी तादाद में कांग्रेस कार्यकर्ता और नेता विधानसभा का घेराव करने पहुंचे थे।
विधानसभा जासूसी कैमरे के आरोप
मानसून सत्र के दौरान विधानसभा में जासूसी कैमरे के आरोपों ने राजस्थान के राजनीतिक रण को देश भर में चर्चाओं में ला दिया। विधानसभा की ‘ना’ पक्ष लॉबी में हिडन कैमरों के जरिए कांग्रेस विधायकों की जासूसी के आरोप के मामले को लेकर भी कांग्रेस ने सदन में खूब हंगामा किया। कई दिन तक सदन में हंगामा हुआ, गतिरोध बना, हंगामें के चलते बार-बार कार्यवाही स्थगित हुई। कांग्रेस ने इस मामले की जांच की मांग की। इस मामले को लेकर राज्यपाल को कांग्रेस के एक प्रतिनिधिमंडल ने ज्ञापन भी दिया। साथ ही विधानसभा स्पीकर पर भी आरोप लगाए थे कि वो हिडन कैमरों के जरिए कांग्रेस विधायकों की बातचीत को सुनते हैं। कांग्रेस की महिला विधायकों से भी प्रेस कांफ्रेंस करके विधानसभा स्पीकर पर आरोप लगाए।
अंता उपचुनाव की हार, वसुंधरा के लिए बड़ा झटका
अंता विधानसभा सीट पर उपचुनाव में भी कांग्रेस पार्टी को फायदा हुआ और यहां पर कांग्रेस पार्टी के प्रत्याशी प्रमोद जैन भाया ने 15000 वोटों से जीत दर्ज की। बीजेपी प्रत्याशी मोरपाल सुमन हार गए। लेकिन यहां असल झटका लगा बीजेपी के स्टार फेस वसुंधरा राजे को। अंदरखाने यह चर्चाएं भी चलीं की बीजेपी के अंदर से ही वसुंधरा राजे को डैमेज करने का खेल चलाया गया। भजनलाल सरकार के लिए भी अंता के चुनाव की हार बड़ा झटका रही। इस सीट को जीतने के लिए सरकार और संगठन के स्तर पर पूरी ताकत झौंकी गई। खुद सीएम भजनलाल शर्मा ने यहां रैलियां और रोड शो किए थे।
फोन टैपिंग पर अपने ही मंत्री से घिरी सरकार
भजनलाल सरकार पर उनके ही मंत्री ने जासूसी के आरोप लगा दिए। कृषि मंत्री किरोड़ीलाल मीणा ने कहा कि अब भी मेरे फोन टैप हो रहे हैं। मेरी जासूसी की जा रही है। अब भी कह रहा हूं कि फोन टैप हो रहा है, उसे सुधारो। बराबर मेरे पीछे सीआईडी लगी हुई है। मैं मेरे मुख्यमंत्री-मंत्रियों को कहता रहता हूं कि सांप को तो पकड़ लिया, लेकिन सांप की मैय्या को तो पकड़ो। किरोड़ीलाल मीणा ने जालोर में भी कहा कि उनका आज भी फोन टैप हो रहा है, सीआईडी पीछे लगी है। विधानसभा में गुरुवार को ही सरकार की तरफ से दिए गए जवाब में गृह राज्य मंत्री जवाहर सिंह बेढम ने कहा था कि किरोड़ीलाल मीणा का फोन टैप नहीं हुआ। अब किरोड़ी ने सरकार के जवाब के चौथे ही दिन फिर फोन टैप होने का दावा कर जवाब पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
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मेवाराम जैन की वापसी से कांग्रेस में हलचल
पूर्व विधायक मेवाराम जैन की कांग्रेस में वापसी ने पश्चिमी राजस्थान की राजनीति में हलचल पैदा कर दी है। अश्लील वीडियो वायरल होने के कारण छह साल पहले पार्टी से निष्कासित किए गए जैन को पूर्व सीएम अशोक गहलोत की सिफारिश और राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की मंजूरी के बाद पार्टी में शामिल किया गया। वापसी के बाद समर्थकों ने आतिशबाजी कर खुशी मनाई, जबकि विरोधी गुट ने ‘महिलाओं का अपमान नहीं सहेगी कांग्रेस’ और ‘बलात्कारी को स्वीकार नहीं’ जैसे नारे लगाकर विरोध जताया। यहां तक की मेवाराम जैन के पोस्टर्स भी सड़कों पर लगाए गए।