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Himachal: आयुष विभाग 12 आयुर्वेदिक अस्पतालों में पंचकर्मा तकनीशियन पाठ्यक्रम शुरू करेगा

अमर उजाला ब्यूरो, शिमला। Published by: Krishan Singh Updated Thu, 13 Nov 2025 03:50 PM IST
सार

स्वास्थ्य और चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ने केरल राज्य की तर्ज पर पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों में प्रशिक्षण के अवसरों का विस्तार करने का निर्णय लिया है। 

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Himachal:  AYUSH department to start Panchakarma Technician course in 12 Ayurvedic hospitals
पंचकर्म और पेरासर्जिकल प्रक्रिया से इलाज। - फोटो : संवाद
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विस्तार
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हिमाचल प्रदेश में स्वास्थ्य और चिकित्सा पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ने केरल राज्य की तर्ज पर पारंपरिक चिकित्सा प्रणालियों में प्रशिक्षण के अवसरों का विस्तार करने का निर्णय लिया है। आयुष विभाग अगले शैक्षणिक सत्र से राज्य भर के 12 आयुर्वेदिक अस्पतालों में एक वर्षीय पंचकर्मा तकनीशियन पाठ्यक्रम शुरू करेगा, जिसमें 252 विद्यार्थियों को प्रवेश मिलेगा। वर्तमान में प्रदेश में इस पाठ्यक्रम के लिए केवल 36 सीटें उपलब्ध हैं। हालांकि, मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू के निर्देशों के बाद विभाग अब कुल प्रवेश क्षमता को बढ़ाकर 252 सीटें करेगा, जिससे बढ़ते स्वास्थ्य क्षेत्र में युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे।

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एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि राजीव गांधी राजकीय स्नातकोत्तर आयुर्वेदिक महाविद्यालय एवं अस्पताल पपरोला (कांगड़ा) और क्षेत्रीय आयुर्वेदिक अस्पताल छोटा शिमला में वर्तमान में पंचकर्मा तकनीशियन पाठययक्रम में 18-18 सीटें हैं। नई विस्तार योजना के तहत पपरोला में प्रवेश क्षमता बढ़ाकर 36 और छोटा शिमला में 24 कर दी जाएगी। इसके अतिरिक्त, आगामी शैक्षणिक सत्र से 12 नए संस्थान यह पाठ्यक्रम शुरू करेंगे। इनमें बिलासपुर, चंबा, हमीरपुर, कांगड़ा, कुल्लू, मंडी, सोलन, ऊना और नाहन स्थित जिला आयुर्वेदिक अस्पताल, साथ ही नालागढ़, देहरा और रामपुर स्थित आयुर्वेदिक अस्पताल शामिल हैं, जिनमें से प्रत्येक में 16-16 सीटें हैं।
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सरकार का लक्ष्य समग्र स्वास्थ्य सेवा की बढ़ती मांग को पूरा करने और प्रदेश को एक स्वास्थ्य एवं चिकित्सा पर्यटन केंद्र के रूप में स्थापित करने के लिए राज्य में कुशल पंचकर्मा तकनीशियनों का एक समूह विकसित करना है। प्रवक्ता ने कहा कि प्रदेश पंचकर्मा प्रक्रियाओं में प्रयुक्त की जाने वाली प्राकृतिक जड़ी-बूटियों से समृद्ध है। मुख्यमंत्री ने विभाग को छात्रों की संख्या बढ़ाने और स्वास्थ्य पर्यटन क्षेत्र में अवसरों का पूरा लाभ उठाने के निर्देश दिए हैं।

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