अमेरिका-सऊदी संबंध: सीआईए निदेशक ने की प्रिंस सलमान से गुप्त मुलाकात, लेकिन हासिल क्या हुआ?
प्रिंस सलमान सऊदी पत्रकार जमाल खशोगी की हत्या के मामले में बाइडेन की टिप्पणियों से भी नाराज हैं। बाइडेन ने इसके लिए सलमान को दोषी ठहराया था। वॉल स्ट्रीट जर्नल के मुताबिक सितंबर 2021 में अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवान ने सलमान से मुलाकात की थी...
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इस खबर ने पूरी पश्चिम एशिया में हलचल मचा दी है कि अप्रैल में अमेरिकी खुफिया एजेंसी सीआईए के प्रमुख ने अचानक सऊदी अरब की यात्रा की थी। ये खबर मंगलवार को अमेरिकी अखबार वॉल स्ट्रीट जर्नल ने छापी। उसके बाद पूरे पश्चिम एशिया के मीडिया में यह चर्चित हो गई। वॉल स्ट्रीट जर्नल के मुताबिक सीआईए के निदेशक विलियम बर्न्स ने जेद्दाह आकर सऊदी प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान से बातचीत की। दोनों के बीच अमेरिका और सऊदी अरब के आपसी रिश्तों पर बातचीत हुई।
हाल में अमेरिका और सऊदी अरब के रिश्तों में तनाव की खबरें आती रही हैं। यूक्रेन पर रूसी हमले के कुछ ही दिन बाद ये खबर आई थी कि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन प्रिंस सलमान से बात करना चाहते थे, लेकिन उन्होंने इससे इनकार कर दिया। फिर ये खबर आई कि सऊदी अरब ने चीन में निवेश बढ़ाने का फैसला किया है। साथ ही उसने चीन को तेल की बिक्री चीनी मुद्रा युवान में करने का निर्णय भी लिया है। इनके आधार पर ये राय बनी कि अमेरिका और सऊदी अरब के संबंध इस समय सबसे खराब दौर में हैं।
सलमान राष्ट्रपति बाइडन की यमन नीति से नाराज
एक अमेरिकी अधिकारी ने वॉल स्ट्रीट जर्नल को बताया कि विलियम बर्न्स की प्रिंस सलमान से बातचीत इसके पहले उनके साथ हुई तमाम अमेरिकी वार्ताओं की तुलना में बेहतर रही। लेकिन उस मुलाकात को गोपनीय रखा गया। विश्व बाजार में कच्चे तेल की बढ़ी महंगाई को नियंत्रित करने के लिए अमेरिका चाहता है कि सऊदी अरब तेल का उत्पादन बढ़ाए। लेकिन सऊदी अरब ने अब तक ऐसा करने के लिए राजी नहीं हुआ है। बताया जाता है कि प्रिंस सलमान राष्ट्रपति बाइडन की यमन नीति से नाराज हैं। यमन में सऊदी सेना के नेतृत्व में युद्ध चल रहा है।
प्रिंस सलमान सऊदी पत्रकार जमाल खशोगी की हत्या के मामले में बाइडेन की टिप्पणियों से भी नाराज हैं। बाइडेन ने इसके लिए सलमान को दोषी ठहराया था। वॉल स्ट्रीट जर्नल के मुताबिक सितंबर 2021 में अमेरिकी राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार जेक सुलिवान ने सलमान से मुलाकात की थी। बताया जाता है कि जब उस बैठक में सुलिवान ने खशोगी हत्याकांड को लेकर दबाव बनाने की कोशिश की, तो प्रिंस सलमान भड़क गए। बताया जाता है कि तभी सलमान ने सुलिवान से कह दिया था कि अब अमेरिका यह भूल जाए कि ओपेक (तेल उत्पादक देशों के संगठन) उसके कहने पर तेल का उत्पादन बढ़ाएगा।
रूस के साथ ओपेक
यूक्रेन संकट खड़ा होने के बाद अमेरिका ने तेल का उत्पादन बढ़ाने के लिए ओपेक से संपर्क किया। लेकिन ओपेक इसके लिए राजी नहीं हुआ। इसके बजाय ओपेक के सदस्य देशों ने रूस के साथ संबंध बनाए रखने का फैसला किया है। बताया जाता है कि इससे बाइडन प्रशासन नाराज है। नाराजगी जताने के लिए ही अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकेन मार्च में अपनी पश्चिम एशिया यात्रा के दौरान सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात नहीं गए।
लेकिन अब सामने आया है कि इस बीच सीआईए प्रमुख ने सऊदी अरब के नेतृत्व से सीधी बातचीत की। लेकिन अब तक उसका कोई ठोस नतीजा सामने नहीं दिखा है। सऊदी अरब या ओपेक ने अभी तक कोई ऐसे संकेत नहीं दिए हैं, जिससे लगे कि वे तेल उत्पादन या रूस से अपने रिश्तों के मामले में अपनी नीति बदलने वाले हैं।