सब्सक्राइब करें
Hindi News ›   Uttarakhand ›   Dehradun News ›   Earthquake Sensors will be installed in Uttarakhand and Himalayan states earthquake app new version

Earthquake: उत्तराखंड सहित अन्य हिमालयी राज्यों में लगेंगे सेंसर, ऑटोमेटेड अपडेट होगा भूकंप एप का नया वर्जन

न्यूज डेस्क, अमर उजाला, देहरादून Published by: रेनू सकलानी Updated Sat, 19 Nov 2022 09:28 AM IST
विज्ञापन
सार

बीते दिनों नेपाल सहित उत्तराखंड में आए भूकंप का असर दिल्ली तक रहा है। वरिष्ठ आपदा प्रबंधन विशेषज्ञ ने बताया कि जब सभी हिमालयी राज्यों मेें लगे सेंसर आपस में कनेक्ट हो जाएंगे तो काफी हद तक इस प्रणाली से भूकंप आने की स्थिति में अधिक से अधिक लोगों को अलर्ट किया जा सकेगा।

Earthquake Sensors will be installed in Uttarakhand and Himalayan states earthquake app new version
Earthquake - फोटो : ANI
विज्ञापन

विस्तार
Follow Us

उत्तराखंड में प्रारंभिक भूकंप चेतावनी प्रणाली को और बेहतर बनाने के लिए यहां लगे सेंसर की संख्या बढ़ाई जाएगी। भूकंप विशेषज्ञों का कहना है कि इतने भर से काम नहीं चलेगा। भूकंपीय दृष्टि से संवेदनशील सभी हिमालयी राज्यों में सेंसर लगाए जाने की आवश्यकता है। हालांकि, इस दिशा में राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के स्तर से प्रयास शुरू हो गए हैं।

loader
Trending Videos


वरिष्ठ आपदा प्रबंधन विशेषज्ञ, विश्व बैंक परियोजना गिरीश जोशी ने बताया कि बीते दिनों नेपाल सहित उत्तराखंड में आए भूकंप का असर दिल्ली तक रहा है। ऐसे में यदि जम्मू-कश्मीर, हिमाचल या नार्थ ईस्ट के किसी राज्य में भूकंप आता है तो उसका असर उत्तराखंड तक भी दिखाई देगा। इसके लिए सभी हिमायली राज्यों में प्रारंभिक भूकंप चेतावनी प्रणाली आधारित सेंसर लगाए जाने की आवश्यकता है।
विज्ञापन
विज्ञापन


जोशी ने बताया कि जब सभी हिमालयी राज्यों मेें लगे सेंसर आपस में कनेक्ट हो जाएंगे तो काफी हद तक इस प्रणाली से भूकंप आने की स्थिति में अधिक से अधिक लोगों को अलर्ट किया जा सकेगा। उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के स्तर इसके प्रयास शुरू हो गए हैं। संभव है कि आने वाले दिनों में यह प्रणाली सभी हिमालयी राज्यों में भी अपनाई जाए। 

भूकंप अलर्ट एप को जोड़ा जाएगा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से 
भूकंप विशेषज्ञ गिरीश जोशी ने बताया कि उत्तराखंड में काम कर रहे भूकंप अलर्ट एप को और अधिक अपग्रेड किया जाएगा। इसके लिए इसे आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से जोड़ा जाएगा। इसका प्रस्ताव भी केंद्र को भेजा गया है। ऐसा होने से अलर्ट मिलने के समय को और कम किया जा सकेगा। बीते दिनों पिथौरागढ़ में आए भूकंप की तरंगों को देहरादून पहुंचने में 46 सेकेंड लगे थे। आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के बाद इस समय में पांच से सात सेकेंड की और कमी लाई जा सकेगी।

ऑटोमेटेड होगा एप का नया वर्जन 
उत्तराखंड में सेंसर बढ़ाने के साथ ही सॉफ्टवेयर को भी अपडेट किया जाएगा। इसके बाद एप को बार-बार अपडेट नहीं करना पड़ेगा। भूकंप एप का नया वर्जन ऑटोमेटेड अपडेट होगा।

सेल्फ ब्रॉडकास्ट की दिशा में कर रहे काम 
आने वाले समय में ‘उत्तराखंड भूकंप अलर्ट’ एप को सेल्फ ब्रॉडकास्ट के स्तर तक ले जाया जाएगा। भूकंप विशेषज्ञ गिरीश जोशी ने बताया कि तमाम देशों में यह तकनीक अपनाई जा रही है। इस तकनीक में भूकंप आने पर मोबाइल में एक बीप बजने लगती है, जो तब तक बजती रहती है, जब तक की आप उसे खुद बंद नहीं करते। इस दौरान फोन की दूसरी सारी एप्लीकेशन खुद-ब-खुद बंद हो जाती हैं। उन्होंने बताया कि इस तकनीक को अपनाने की दिशा में अभी एक साल का समय लगेगा। तब अलर्ट के लिए किसी एप को डाउनलोड करने की आवश्यकता भी नहीं रहेगी। उत्तराखंड में आने वाली फ्लोटिंग पॉपुलेशन को इसका सबसे अधिक फायदा होगा। 

ये भी पढ़ें...Dehradun News:  तीन बार उपभोक्ताओं पर महंगी बिजली का भार लादा, अब फिर UPCL की है ये तैयारी

नवंबर में उत्तराखंड और इसकी सीमा से लगे नेपाल में आए भूकंप का ब्योरा 

  •  6 नवंबर को टिहरी गढ़वाल में सुबह 8.33 मिनट पर 4.5 मेग्नीट्यूड 
  •  8 नवंबर को नेपाल में रात 8.52 मिनट पर 4.9 मेग्नीट्यूड
  • 8 नवंबर को नेपाल में रात 9.41 मिनट पर 3.5 मेग्नीट्यूड
  •  9 नवंबर को नेपाल में रात 1.75 मिनट पर 6.3 मेग्नीट्यूड
  •  9 नवंबर को नेपाल में रात 3.15 मिनट पर 3.6 मेग्नीट्यूड
  • 9 नवंबर को पिथौरागढ़ में सुबह 6.27 मिनट पर 4.3 मेग्नीट्यूड
  • 12 नवंबर पौड़ी गढ़वाल में शाम 4.25 पर 3.4 मेग्नीट्यूड
  • 12 नवंबर नेपाल में शाम 7.57 मिनट पर 5.4 मेग्नीट्यूड 
विज्ञापन
विज्ञापन

रहें हर खबर से अपडेट, डाउनलोड करें Android Hindi News App, iOS Hindi News App और Amarujala Hindi News APP अपने मोबाइल पे|
Get all India News in Hindi related to live update of politics, sports, entertainment, technology and education etc. Stay updated with us for all breaking news from India News and more news in Hindi.

विज्ञापन
विज्ञापन

एड फ्री अनुभव के लिए अमर उजाला प्रीमियम सब्सक्राइब करें

Next Article

एप में पढ़ें

Followed