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Delhi Blast: पांच लाख में खरीदी AK-47, डीप फ्रीजर में रखे विस्फोटक; दिल्ली ब्लास्ट की जांच में बड़ा खुलासा

एएनआई, नई दिल्ली Published by: विजय पुंडीर Updated Sat, 22 Nov 2025 12:24 PM IST
सार

सूत्रों के अनुसार, गिरफ्तार आरोपी डॉ. मुझम्मिल ने फरीदाबाद से पकड़े जाने से पहले 2,500 किलोग्राम से अधिक अमोनियम नाइट्रेट जुटाया था और इसके साथ ही पांच लाख से ज्यादा में एके-47 राइफल खरीदी थी। यह हथियार बाद में आरोपी अदील के लॉकर से बरामद किया गया।

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Delhi blast case: AK-47 bought for more than Rs 5 lakh, deep freezer used for explosives
दिल्ली में हुए धमाके में जले वाहन - फोटो : पीटीआई
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विस्तार
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दिल्ली में 10 नवंबर को हुए आत्मघाती कार ब्लास्ट की जांच में खुफिया एजेंसियों को कई चौंकाने वाले सबूत मिले हैं। जांच में कई बड़े खुलासे हुए हैं। आतंकी मॉड्यूल द्वारा पांच लाख रुपये से अधिक कीमत में एके-47 राइफल की खरीद और विस्फोटकों को रखने के लिए डीप फ्रीजर का इस्तेमाल किया था। सूत्रों ने समाचार न्यूज एजेंसी एएनआई को यह जानकारी दी है।

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सूत्रों के अनुसार, गिरफ्तार आरोपी डॉ. मुझम्मिल ने फरीदाबाद से पकड़े जाने से पहले 2,500 किलोग्राम से अधिक अमोनियम नाइट्रेट जुटाया था और इसके साथ ही पांच लाख से ज्यादा में एके-47 राइफल खरीदी थी। यह हथियार बाद में आरोपी अदील के लॉकर से बरामद किया गया। एक खुफिया अधिकारी के अनुसार, यह हथियार खरीद इस मॉड्यूल की तैयारी और फंडिंग के स्तर को दिखाती है।

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खुफिया अधिकारियों ने बताया कि डॉ. उमर बम बनाने के वीडियो, मैनुअल और ओपन-सोर्स कंटेंट ऑनलाइन देख रहा था। उसने बम बनाने में इस्तेमाल होने वाले रसायन नूंह समेत कई जगहों से खरीदे, जबकि इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स के भागीरथ पैलेस और फरीदाबाद के एनआईटी मार्केट से जुटाए। जांच में यह भी सामने आया है कि उमर ने विस्फोटक मिश्रण को स्टोर और प्रोसेस करने के लिए एक डीप फ्रीजर खरीदा था। एक अधिकारी ने बताया कि फ्रीजर का इस्तेमाल मिश्रण को स्थिर और प्रोसेस करने के लिए किया गया। जो यह दिखाता है कि तैयारी कितनी व्यवस्थित और तकनीकी थी।

सूत्रों के अनुसार, इस सफेदपोश आतंकी मॉड्यूल के प्रत्येक आरोपी का अलग-अलग हैंडलर से संपर्क था। डॉ. मुजम्मिल का हैंडलर अलग था, जबकि ब्लास्ट के आरोपी डॉ. उमर किसी दूसरे हैंडलर को रिपोर्ट कर रहा था। दो खास हैंडलर, मंसूर और हाशिम के नाम सामने आये हैं, जो एक सीनियर हैंडलर के अंडर काम कर रहे थे, जिसके बारे में बाताया जा रहा है कि वह मॉड्यूल की सारी गतिविधियों पर नजर बनाए हुए था। खुफिया एजेंसियों का मानना है कि मॉड्यूल कई स्थानों पर विस्फोटक जमा कर एक साथ कई हमलों की योजना बना रहा था। अब तक बरामद सामग्री और डिजिटल साक्ष्यों से यही संकेत मिल रहे हैं।

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