पाकिस्तान से आ रही हवा घोंट रही हरियाणा का दम: ये शहर देश में सबसे अधिक प्रदूषित, 426 पहुंचा AQI
पाकिस्तान से आ रही प्रदूषित हवा से हरियाणा के शहरों में लोगों का दम घुट रहा है। गुरुवार को रोहतक में वायु गुणवत्ता सूचकांक 426 दर्ज किया गया जो देश में सबसे अधिक है। हवा की बेहद खराब श्रेणी में हरियाणा के चार शहर शामिल हैं। डिटेल में पढ़ें खबर...
 
                            विस्तार
पाकिस्तान की प्रदूषित हवा से हरियाणा का दम घुटने लगा है। दीपावली के बाद दूसरी बार वीरवार को हरियाणा के दो शहरों की हवा गंभीर श्रेणी में पहुंच गई, इनमें रोहतक और धारूहेड़ा की वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) क्रमश: 426 और 406 है। देशभर में सबसे प्रदूषित शहर रोहतक और दूसरे नंबर पर धारूहेड़ा ही है। इससे पूर्व दीपावली के एक दिन बाद 21 अक्तूबर को देशभर में सबसे प्रदूषित दोनों शहरों में पहले स्थान पर जींद और दूसरे स्थान पर धारूहेड़ा था, जहां एक्यूआई क्रमश: 421 और 412 था।
 
बेहर खराब श्रेणी में हरियाणा के चार शहर
इसी तरह बेहद खराब श्रेणी (300-400एक्यूआई) वाले शहरों में हरियाणा के चार शहर शामिल हैं। इनमें जींद 347, बहादुरगढ़ 344, सोनीपत 330 और बल्लभगढ़ का एक्यूआई 320 है। इसके अतिरिक्त दिल्ली 373, यूपी का बागपत 353 , गाजियाबाद 364, ग्रेटर नोएडा 330, नोएडा 372 और राजस्थान के भिवाड़ी का एक्यूआई 360 है।
29 अक्तूबर को पंचकूला था टॉप पर
29 अक्तूबर को देशभर के पांच बेहद खराब श्रेणी के शहरों में तीन हरियाणा के पंचकूला 334, चरखी दादरी 323 और बल्लभगढ़ 312 थे। देश में पंचकूला सबसे प्रदूषित व दूसरे स्थान पर चरखी दादरी प्रदूषित था। जबकि, खराब श्रेणी में धारूहेड़ा में 298, रोहतक में 268 और जींद का एक्यूआई 212 था। इसी तरह 28 अक्तूबर को बहादुरगढ़ का एक्यूआई 347, रोहतक का 346, सोनीपत का 343, धारूहेड़ा का 315 व बल्लभगढ़ का एक्यूआई 319 था। यही पांच शहर देशभर में सबसे प्रदूषित थे।
वहीं, वीरवार को खराब श्रेणी (200-300एक्यूआई) में भिवानी 264, गुरुग्राम 248, मानेसर 280 और पानीपत 283 है। जबकि अंबाला, फतेहाबाद, हिसार, करनाल, पलवल, सिरसा और यमुनानगर का प्रदूषण स्तर रिकॉर्ड नहीं हुए हैं।
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                पराली जलाने के चार मामले 
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                वीरवार को पराली जलाने के चार मामले आए हैं। ये अंबाला, फतेहाबाद, सिरसा और हिसार से समाने आए हैं। अभी तक प्रदेशभर में पराली जलाने के कुल 93 मामले आ चुके हैं।
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                हरियाणा को प्रदूषित करने वाले मुख्य कारण 
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                
                                                                                                                                 
                                                चंडीगढ़ पीजीआई में सामुदायिक चिकित्सा विभाग के प्रोफेसर रविंद्र खैवाल के मुताबिक पाकिस्तान में जमकर पराली जलाने की घटनाएं सेटेलाइट पर ट्रेस हो रही हैं। हवा के घुमाव के कारण पाकिस्तान से आने वाली जहरीली हवा हरियाणा के वातावरण में जहर घोल रही है। इसके साथ ही दिल्ली की हवा भी रोहतक से होकर धारूहेड़ा होते हुए राजस्थान की तरफ जा रही है, जबकि अंबाला से चंडीगढ़ की ओर हवा निकल रही है। इसके अतिरिक्त मौसम में बदलाव होकर ठंड बढ़ने से प्रदूषण बढ़ा है। वहीं, यातायात, औद्योगिक गतिविधियां, आगजनी की घटनाएं सहित स्थानीय कारण भी ठंड में प्रदूषण को तेजी से बढ़ा रहे हैं।