{"_id":"6930914a59a67c603a05b66f","slug":"the-thread-of-economy-was-strengthened-by-sewing-clothes-hamirpur-hp-news-c-94-1-ssml1011-175580-2025-12-04","type":"story","status":"publish","title_hn":"Hamirpur (Himachal) News: कपड़ों की सिलाई कर मजबूत किया आर्थिकी का धागा","category":{"title":"City & states","title_hn":"शहर और राज्य","slug":"city-and-states"}}
Hamirpur (Himachal) News: कपड़ों की सिलाई कर मजबूत किया आर्थिकी का धागा
संवाद न्यूज एजेंसी, हमीरपुर (हि. प्र.)
Updated Thu, 04 Dec 2025 01:06 AM IST
विज्ञापन
बगारटी की पूजा देवी दुकान पर कपड़े सिलने का कार्य करते हुए। संवाद
विज्ञापन
हमीरपुर। बगारटी की रहने वाली पूजा देवी आज कई महिलाओं के लिए प्रेरणा बन चुकी हैं। आर्थिक तंगी से जूझ रही पूजा देवी ने महज एक सिलाई मशीन से अपना सफर शुरू किया और अब न सिर्फ खुद आत्मनिर्भर हैं, बल्कि अन्य महिलाओं को भी रोजगार की राह दिखा रही हैं।
पूजा देवी ने कुछ वर्ष पहले छोटे स्तर पर घर से ही कपड़े सिलने का काम शुरू किया था। शुरुआत में ग्राहकों की संख्या कम थी, लेकिन मेहनत, गुणवत्ता और समय पर काम पूरा करने के कारण उनकी पहचान तेजी से बढ़ी। धीरे-धीरे ऑर्डर बढ़ने लगे और उन्होंने अपने काम को आगे बढ़ाने के लिए बाजार में छोटी सी दुकान को किराये पर लिया और कारोबार शुरू किया।
दुकान में अब पूजा ब्लाउज, सूट, प्लाजो, बच्चों के कपड़े और डिजाइनर पहनावे के साथ विभिन्न प्रकार के बैग, हैंड पर्स तैयार कर रही हैं। इससे उन्हें प्रतिमाह 10 से 12 हजार, जबकि विवाह-शादियों के दौरान 15 हजार रुपये तक की आय हो जाती है। पूजा देवी ने बताया कि शुरुआती दौर में कार्य करने में कई परेशानियां आईं, लेकिन परिवार के सदस्यों के सहयोग के साथ कार्य को जारी रखा और अब एक साथ दो से तीन गांव की महिलाएं उनके पास अपने सूट सिलवाने के लिए छोड़ रही हैं।
घर पर बुजुर्ग सास, पति और दो बेटे कार्य करने के लिए हौसला देते हैं। पूजा देवी ने कारोबार शुरू करके ग्रामीण महिलाओं को न केवल सशक्तीकरण की दिशा दिखाई है, ब्लकि आत्मनिर्भर बनने के लिए प्रेरित किया है।
Trending Videos
पूजा देवी ने कुछ वर्ष पहले छोटे स्तर पर घर से ही कपड़े सिलने का काम शुरू किया था। शुरुआत में ग्राहकों की संख्या कम थी, लेकिन मेहनत, गुणवत्ता और समय पर काम पूरा करने के कारण उनकी पहचान तेजी से बढ़ी। धीरे-धीरे ऑर्डर बढ़ने लगे और उन्होंने अपने काम को आगे बढ़ाने के लिए बाजार में छोटी सी दुकान को किराये पर लिया और कारोबार शुरू किया।
विज्ञापन
विज्ञापन
दुकान में अब पूजा ब्लाउज, सूट, प्लाजो, बच्चों के कपड़े और डिजाइनर पहनावे के साथ विभिन्न प्रकार के बैग, हैंड पर्स तैयार कर रही हैं। इससे उन्हें प्रतिमाह 10 से 12 हजार, जबकि विवाह-शादियों के दौरान 15 हजार रुपये तक की आय हो जाती है। पूजा देवी ने बताया कि शुरुआती दौर में कार्य करने में कई परेशानियां आईं, लेकिन परिवार के सदस्यों के सहयोग के साथ कार्य को जारी रखा और अब एक साथ दो से तीन गांव की महिलाएं उनके पास अपने सूट सिलवाने के लिए छोड़ रही हैं।
घर पर बुजुर्ग सास, पति और दो बेटे कार्य करने के लिए हौसला देते हैं। पूजा देवी ने कारोबार शुरू करके ग्रामीण महिलाओं को न केवल सशक्तीकरण की दिशा दिखाई है, ब्लकि आत्मनिर्भर बनने के लिए प्रेरित किया है।

बगारटी की पूजा देवी दुकान पर कपड़े सिलने का कार्य करते हुए। संवाद