Bharat Band: पश्चिम बंगाल और ओडिशा में दिखा भारत बंद का असर, सात प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया
ट्रेड यूनियनों और किसान संगठनों की ओर से बुलाए गए भारत बंद का असर देश के कई हिस्सों में देखने को मिल रहा है। बंद का असर पश्चिम बंगाल के, जाधवपुर जलपाईगुड़ी और ओडिशा के कई जिलों में सुबह ही देखने को मिला। स्थिति बिगड़ने से पहले पुलिस ने सात प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लेकर कोतवाली थाने में भेज दिया।
बुधवार सुबह से ही पश्चिम बंगाल के कोलकाता, जलपाईगुड़ी समेत कई जिलों और ओडिशा के कई जिलों में भारत बंद को लेकर तनावपूर्ण माहौल देखने को मिला। बंद समर्थक शहर के प्रमुख स्थानों पर जमा हो गए। बस स्टैंड, पोस्ट ऑफिस और अन्य महत्वपूर्ण जगहों पर विरोध प्रदर्शन किया गया। प्रदर्शनकारियों ने बस सेवाओं को रोकने की कोशिश की, जिससे स्थानीय स्तर पर तनाव की स्थिति बन गई।
स्थिति बिगड़ने से पहले पुलिस ने बंद समर्थकों को चारों ओर से घेर लिया और सात प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लेकर कोतवाली थाने ले जाया गया। बंद का असर कुछ समय के लिए दैनिक जनजीवन पर भी देखने के लिए मिला। एक स्थानीय महिला ने कहा, "मैं स्कूल में काम करती हूं, और अब वहां जा रही हूं। स्कूल बंद है, लेकिन सरकारी बस चलेगी। मैं इसी भरोसे पर घर से निकली थी।"
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) यानी सीपीआई (एम) की छात्र इकाई एसएफआई और युवा इकाई डीवाईएफआई के कार्यकर्ता शांतीपाड़ा स्थित नॉर्थ बंगाल स्टेट ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन डिपो पर जुटे। यह जगह जलपाईगुड़ी से लंबी दूरी की बस सेवाओं के लिए प्रमुख केंद्र है।
बंद को लेकर सीपीआई(एम) जलपाईगुड़ी जिला नेता प्रदीप डे ने कहा, "हमारे कार्यकर्ता अलग-अलग जगहों पर भारत बंद के समर्थन में सड़क पर उतरे हैं। यह बंद लोगों की जायज मांगों के समर्थन में बुलाया गया है और हमें जनता से सपोर्ट मिल रहा है।
कोलकाता में प्रदर्शन कर रहे वामपंथी दलों के यूनियनों ने 10 केंद्रीय ट्रेड यूनियनों द्वारा बुलाए गए 'भारत बंद' में भाग लिया, जिसमें आरोप लगाया गया कि केंद्र सरकार आर्थिक सुधारों को आगे बढ़ा रही है जो श्रमिकों के अधिकारों को कमजोर करते हैं।
#WATCH | West Bengal | Kolkata Police tries to douse a fire as left parties' unions participate in the 'Bharat Bandh' called by 10 central trade unions, alleging that the central government is pushing economic reforms that weaken workers' rights. pic.twitter.com/4MqDBOu4VJ
— ANI (@ANI) July 9, 2025
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प्रदीप डे ने राज्य सरकार पर गंभीर आरोप भी लगाए। उन्होंने कहा, "राज्य सरकार बंद को विफल करने के लिए पुलिस बल का इस्तेमाल कर रही है ताकि भाजपा को खुश किया जा सके। कई जगहों पर पुलिस ने जबरन बल का प्रयोग करने की कोशिश की है।"
#WATCH | Bhubaneswar, Odisha | CITU president, Khordha District, Suresh Routray says, " Modi govt is supporting only Adani and Ambani but not the labourers. We are demanding a minimum pension of Rs 9000 per month..." pic.twitter.com/imr5dD8p38
— ANI (@ANI) July 9, 2025
ओडिशा के खोरधा जिले के सीआईयूटी अध्यक्ष सुरेश राउत्रे ने कहा कि मोदी सरकार केवल अदाणी और अंबानी का समर्थन कर रही है, लेकिन मजदूरों का नहीं। हम न्यूनतम 9000 रुपये प्रति माह पेंशन की मांग कर रहे हैं।