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BHU: दो महीने के बच्चे का सिकुड़ गया था दिल का वॉल्व, चिकित्सकों ने की जटिल सर्जरी; बचा ली जिंदगी
अमर उजाला नेटवर्क, वाराणसी।
Published by: अमन विश्वकर्मा
Updated Thu, 14 Aug 2025 02:40 PM IST
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सार
Varanasi News: सरसुंदरलाल चिकित्सालय में पहली बार ऐसी सर्जरी हुई है। बच्चा अब स्वस्थ्य बताया जा रहा है। पिछले सप्ताह हुई तीन घंटे की सर्जरी के बाद अभिभावकों ने चिकित्सकों का आभार जताया है।

सर्जरी करने वाली टीम।
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
IMS BHU: आईएमएस बीएचयू में डॉक्टरों की टीम ने दो माह के बच्चे के दिल के सिकुड़े वाॅल्व को सर्जरी कर तार के माध्यम से फैलाया। कार्डियोलॉजी विभाग के अध्यक्ष प्रो. विकास अग्रवाल के निर्देशन वाली डॉक्टरों की टीम ने पिछले सप्ताह बच्चे की सर्जरी की। तीन घंटे की सर्जरी के बाद अब बच्चा स्वस्थ है।

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बीएचयू में इतनी कम उम्र वाले किसी भी मरीज की यह पहली सर्जरी है। दो माह के एक बच्चे को सही तरीके से सांस न लेने की समस्या लेकर परिजन बीएचयू आए। यहां डॉक्टरों ने जांच की तो पता चला कि उसके दिल का वॉल्व सिकुड़ा हुआ था। इस पर सर्जरी का निर्णय लिया गया। बच्चे का बलून एओर्टिक वॉल्वुलोप्लास्टी (बीएवी) कर सिकुड़न को दूर किया गया। तार के माध्यम से वाल्व को फैलाया गया।
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विभागाध्यक्ष ने बताया कि टीम में डॉ. प्रतिभा राय, डॉ. मोहन, डॉ. विकास और डॉ. प्रताप के साथ प्रो. एपी सिंह, डॉ. संजीव और डॉ. प्रतिमा शामिल रहे। प्रो. विकास अग्रवाल ने बताया कि इस तरह के मामले में सर्जरी बहुत जटिल होती है। बीएवी में जटिलता कम होती है। एओर्टिक स्टेनोसिस, जिसमें एओर्टिक वॉल्व संकरी हो जाती है। इससे शिशुओं में हृदय विफलता, दूध पीने में कठिनाई और वजन न बढ़ने जैसी समस्याएं होती है।