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MP News: बच्चों को HIV संक्रमित रक्त चढ़ाने का मामला, तीन कर्मचारी सस्पेंड, पूर्व सिविल सर्जन को नोटिस जारी
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, सतना
Published by: सतना ब्यूरो
Updated Fri, 19 Dec 2025 12:48 PM IST
सार
सतना में थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों को एचआईवी संक्रमित रक्त चढ़ाने के मामले में स्वास्थ्य विभाग ने सख्त कार्रवाई की है। ब्लड बैंक प्रभारी समेत तीन कर्मचारियों को निलंबित किया गया, जबकि सिविल सर्जन से जवाब तलब किया गया है। राज्य व केंद्रीय टीमें जांच में जुटी हैं।
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सतना जिला चिकित्सालय।
- फोटो : अमर उजाला
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विस्तार
सतना जिले में थैलेसीमिया से पीड़ित बच्चों को एचआईवी संक्रमित रक्त चढ़ाए जाने के मामले में स्वास्थ्य विभाग ने सख्त रुख अपनाया है। प्राथमिक जांच रिपोर्ट सामने आने के बाद ब्लड बैंक प्रभारी सहित तीन कर्मचारियों को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। साथ ही सिविल सर्जन से जवाब तलब किया है।
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मामले पर अब लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा की गई इस कार्रवाई में ब्लड बैंक प्रभारी डॉ. देवेंद्र पटेल, लैब टेक्नीशियन रामभाई त्रिपाठी और नंदलाल पांडेय को निलंबित किया गया है। वहीं, तत्कालीन सिविल सर्जन डॉ. मनोज शुक्ला को शो-कॉज नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण मांगा गया है। यह कदम राज्य स्तरीय जांच समिति की प्रारंभिक रिपोर्ट के बाद उठाया गया है।
स्टेट टीम ने 11 घंटे तक की जांच
जांच में स्वास्थ्य आयुक्त तरुण राठी के निर्देश पर गठित छह सदस्यीय राज्य स्तरीय टीम ने जिला अस्पताल में करीब 11 घंटे तक गहन जांच की। इस दौरान वर्ष 2023 से अब तक किए गए सभी ब्लड ट्रांसफ्यूजन से जुड़े दस्तावेज और रिकॉर्ड खंगाले गए। जांच में केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) के दो सेंट्रल ड्रग इंस्पेक्टर भी शामिल रहे।
12 रजिस्टर जब्त, 200 डोनर जांच के घेरे में
जांच टीम ने ब्लड संग्रहण और वितरण से जुड़े करीब 12 रजिस्टर जब्त किए हैं। ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों तरह के रिकॉर्ड को सील कर लिया गया है। सूत्रों के अनुसार, एचआईवी संक्रमित पाए गए बच्चों से जुड़े लगभग 200 रक्तदाता अब जांच के दायरे में आ चुके हैं, जिससे मामले की गंभीरता और बढ़ गई है।
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अस्पताल के विभिन्न विभागों का निरीक्षण
राज्य ब्लड ट्रांसफ्यूजन काउंसिल के अधिकारियों ने जिला अस्पताल के एआरटी सेंटर, आईसीटीसी और थैलेसीमिया-हीमोफीलिया वार्ड का निरीक्षण किया। नर्सिंग स्टाफ से ट्रांसफ्यूजन प्रक्रिया, जांच प्रोटोकॉल और सेफ्टी गाइडलाइंस की जानकारी ली गई, साथ ही एआरटी सेंटर में उपलब्ध दवाओं की स्थिति का भी जायजा लिया गया।
ब्लड की कालाबाजारी की आशंका तेज
जांच के दौरान यह आशंका भी जताई गई है कि संक्रमित रक्त दलालों के माध्यम से सप्लाई किया गया हो सकता है। इसी को देखते हुए निजी नर्सिंग होम्स और अस्पतालों से भी ब्लड ट्रांसफ्यूजन का ब्योरा मांगा गया है। आयुष्मान हॉस्पिटल और बिरला अस्पताल में भी टीम ने पड़ताल की है।
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नाको की टीम करेगी स्वतंत्र जांच
मामले पर नेशनल एड्स कंट्रोल ऑर्गनाइजेशन (नाको) की चार सदस्यीय टीम सतना पहुंचकर अलग से जांच करेगी टीम के दौरे को देखते हुए ब्लड बैंक, एआरटी सेंटर और आईसीटीसी से जुड़े सभी कर्मचारियों की छुट्टियां अस्थायी रूप से रद्द कर दी गई हैं।
मामले पर प्रशासन भी अलर्ट, सकती के साथ होगा काम
मामल पर जिम्मेदारों का कहा कि डोनर्स की संख्या अधिक होने के कारण जांच में समय लगेगा केंद्र और राज्य स्तर पर अलग-अलग टीमें जांच कर रही हैं, इसलिए किसी निष्कर्ष पर पहुंचने से पहले सभी तथ्यों की पुष्टि की जाएगी फिलहाल अभी कार्यवाही जारी है।

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